Hardoi News: परिषदीय विद्यालय के बच्चों के लिये जारी हुआ 15 करोड़ का बजट, जानें क्या मिल रहीं सुविधाएँ

Hardoi News: परिषदीय विद्यालय में बच्चे साबुन से हाथ धोये या ना धोये लेकिन उनके गुरु व उनके बच्चे जरूर परिषदीय विद्यालय की धनराशि से आए हैंड वॉश से हाथ धो रहे होंगे।

Report :  Pulkit Sharma
Update: 2023-12-11 06:28 GMT

हरदोई परिषदीय विद्यालय के बच्चों के लिये जारी हुआ 15 करोड़ का बजट (न्यूजट्रैक)

Hardoi News: क्या कभी सोचा है कि प्राथमिक विद्यालय के बच्चे भी हैंड वॉश से हाथ धोकर खाना खा रहे हैं। विद्यालयों में फिनायल से पोछा लगा रहा है और टॉयलेट क्लीनर से शौचालय को साफ किया जा रहा है। ऐसा सुनना ही काफी अटपटा लगता है। लेकिन ऐसा हुआ है और यह कर दिखाया है हरदोई के परिषदीय विद्यालयों ने। विद्यालय द्वारा दिए गए खर्च में इन सब बातों को दर्शाया है। यदि दी गई आख्या की जांच की जाए तो इसमें भी घोटाले का जिन्न निकल कर बाहर आएगा।

परिषदीय विद्यालय वैसे भी अपनी अवस्थाओं को लेकर सवालों के घेरे में रहते हैं। जहां बच्चे झाड़ू लगाते हैं तो कहीं गंदगी का अंबार नजर आता है। बच्चों को गुणवत्तापूर्ण भोजन तक विद्यालय बच्चो को दे नहीं पा रहे तो बच्चे हैंड वॉश से हाथ क्या धोएंगे। जनपद के एक दो विद्यालयों को अगर छोड़ दे तो अधिकांश विद्यालय में हैंड वॉश तो दूर सही से साबुन भी नजर नहीं आएगा। परिषदीय विद्यालय को प्रतिवर्ष कंपोजिट ग्रांट के रूप में धनराशि आवंटित की जाती है जिसमें इस प्रकार के खर्चे विद्यालय कर सकते हैं। इस बार परिषदीय विद्यालय को 15 करोड़ की धनराशि स्थानांतरित की जा रही है जिससे कि आगे भी विद्यालय में पढ़ने वाले बच्चों को यह सब सुविधा मिल सके।

छात्र संख्या के आधार पर मिलती है धनराशि

परिषदीय विद्यालय में बच्चे साबुन से हाथ धोये या ना धोये लेकिन उनके गुरु व उनके बच्चे जरूर परिषदीय विद्यालय की धनराशि से आए हैंड वॉश से हाथ धो रहे होंगे। जनपद में 3446 परिषदीय विद्यालय संचालित है। इसमें लगभग चार लाख 39 हज़ार 245 विद्यार्थी पंजीकृत हैं। सरकार की ओर से बच्चों को अच्छी शिक्षा देने के साथ ही अन्य संसाधनों की कमी ना हो इसके लिए प्रत्येक स्कूल को कंपोजिट ग्रैंड के रूप में एक धनराशि दी जाती है।

प्रत्येक परिषदीय विद्यालय को वर्ष 2018 के बाद छात्र संख्या के आधार पर धनराशि कंपोजिट ग्रांट के रूप में दी जाती है। इसके साथ ही विद्यालयों के रंगाई पुताई व अन्य निर्माण कार्य कायाकल्प के तहत प्राप्त बजट से कराए जाते हैं। इसके लिए विद्यालय का कंपोजिट ग्रांट का प्रयोग विद्यालय को लेकर की खर्च किया जाता है। शिक्षा विभाग की ओर से कंपोजिट ग्रांड को लेकर जो निर्देश जारी है उनके अनुसार 10फीसदी धनराशि साफ सफाई पर प्रत्येक विद्यालय के लिए दी जाती है जिसमें टॉयलेट क्लीनर, फिनायल, हैंडवाश, झाड़ू, डस्टबिन, नेल कटर, फास्ट एंड बॉक्स का सामान, दवाइयां, जूनियर विद्यालय के प्रयोगशाला की सामग्री, समेत अन्य प्रकार के कार्यों को सम्मिलित किया गया है।

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