Hardoi: कार्यमुक्ती के बाद लाखां के कार्य की दे दी मंजूरी, जाँच में खुली पोल, कार्यवाही की संस्तुति

Hardoi: मामला सामने आने के बाद जिलाधिकारी मंगला प्रसाद सिंह ने मामले में रोक लगा दी और पूरे मामले की जांच कराई तो भ्रष्टाचार का मामला उजागर हुआ जिसके बाद जिला अधिकारी ने शासन को कार्रवाई के लिए संस्तुति कर दी है।

Report :  Pulkit Sharma
Update:2024-11-16 16:38 IST

कार्यमुक्ती के बाद लाखां के कार्य की दे दी मंजूरी (न्यूजट्रैक)

Hardoi News: उत्तर प्रदेश में जीरो टॉलरेंस की बात कहने वाली भाजपा सरकार में लगातार अधिकारी भ्रष्टाचार में संलिप्त पाए जा रहे हैं। अधिकारियों पर कोई ठोस कार्रवाई न होने के चलते अधिकारी लगातार भ्रष्टाचार कर रहे हैं। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ से सटे हरदोई जनपद में आए दिन भ्रष्टाचार निकलकर सामने आ रहा है। कभी अधिकारियों के रिश्वत लेते तो कभी अधिकारियों की कारगुजारी के मामले सामने आ रहे हैं हालांकि अब तक के मामलों में सिर्फ एक मामले को छोड़कर किसी में भी सख्त कार्यवाही नहीं हुई है।

एक बार फिर हरदोई में भ्रष्टाचार का मामला निकलकर सामने आया जहां तबादला होने के बाद भी वीडियो ने वित्तीय और प्रशासनिक स्वीकृति जारी कर दी। मामला सामने आने के बाद जिलाधिकारी मंगला प्रसाद सिंह ने मामले में रोक लगा दी और पूरे मामले की जांच कराई तो भ्रष्टाचार का मामला उजागर हुआ जिसके बाद जिला अधिकारी ने शासन को कार्रवाई के लिए संस्तुति कर दी है।

बिजनौर में तैनात है अधिकारी

हरदोई जनपद के शाहाबाद और भरखनी विकासखंड में तैनात ग्राम विकास अधिकारी ने तबादले के बाद कार्य मुक्त होने के बाद भी मनरेगा कार्यो की वित्तीय प्रशासनिक स्वीकृति दे दी जो कि अब खंड विकास अधिकारी के लिए मुसीबत बन गई है। मौजूदा समय में बिजनौर में तैनात पीसीएस कैडर के अवसर मनवीर सिंह हरदोई जनपद में शाहाबाद और भरखनी में खंड विकास अधिकारी के पद पर शासन द्वारा मनवीर सिंह का तबादला 24 जनवरी 2024 को बिजनौर के लिए कर दिया था।

तबादला सूची जारी होने के बाद 30 जनवरी को वह जनपद से कार्य मुक्त हो गए थे। इसके बाद भी मनवीर सिंह ने 30/31 जनवरी की रात को शाहाबाद विकासखंड के मनरेगा कार्यो की वित्तीय व प्रशासनिक स्वीकृति जारी कर दी थी। मामला उजागर होने के बाद जिलाधिकारी मंगला प्रसाद सिंह ने पूरे मामले की जांच कराई। जाँच में प्रथमदृष्टया गड़बड़ी की पुष्टि हुई जिसमें शासन को कार्रवाई के लिए संस्तुति की गई थी। शासन ने आरोप पत्र जारी कर मुरादाबाद के संयुक्त विकास आयुक्त को विस्तृत जांच के लिए नामित कर दिया है।

कार्य मुक्ति के बाद खंड विकास अधिकारी द्वारा आठ ग्राम पंचायत के 29 कार्यों पर खर्च होने वाले 83 लाख रुपए शाहाबाद विकासखंड की चार ग्राम पंचायत में मनरेगा कार्यो के 10 आगणनो को वित्तीय और प्रशासनिक स्वीकृत कार्य मुक्त होने के बाद दिए जाने की पुष्टि हुई थी। इन कार्यों पर 32 लाख 16 हज़ार 914 रुपए खर्च होने थे। इसी तरह भरखनी विकासखंड के चार गांव के 19 आगणनो को भी स्वीकृति दी थी इन कार्यों पर 51 लाख 9 हज़ार 992 रुपए खर्च होने की स्वीकृति दी गई थी। तबादला आदेश आने के बाद भी एक करोड रुपए के कार्यों को वित्तीय और प्रशासनिक स्वीकृति दी गई थी।

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