Jalaun News : स्वास्थ्य विभाग ने अस्पताल को किया सील, गर्भवती महिला की मौत के बाद हुई कार्रवाई

Jalaun News : जालौन में पिछले दिनों एक प्रसूता की मौत मामले को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने बड़ी कार्रवाई करते हुए अस्पताल को सील कर दिया। इस दौरान अस्पताल के डॉक्टर एवं स्टाफ नहीं मिला।

Report :  Afsar Haq
Update: 2024-08-28 11:28 GMT

Jalaun News : जालौन में पिछले दिनों एक प्रसूता की मौत मामले को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने बड़ी कार्रवाई करते हुए अस्पताल को सील कर दिया। इस दौरान अस्पताल के डॉक्टर एवं स्टाफ नहीं मिला। वहीं, मंगलवार को कोंच उप जिला अधिकारी भी अस्पताल में जांच करने पहुंची थी, जहां डॉक्टर गायब मिले थे। वहीं, जांच अधिकारी ने बताया कि पीड़ित की शिकायत पर पहले ही मामला दर्ज कर दिया गया है। स्वास्थ्य विभाग जांच कर अपनी कार्रवाई कर रहा है।

बता दें कि यह पूरा मामला कोच तहसील के नगर में बने जीपीएस अस्पताल का है, जहां 23 अगस्त को कोतवाली क्षेत्र के ग्राम गोरा करनपुर निवासी 35 वर्षीय गर्भवती महिला सुमन पत्नी मंगल सिंह दोपहर में प्रसव कराने के लिए आई हुई थी। कुछ घंटे एडमिट करने के बाद हालत बिगड़ने पर मरीज को उरई जाने की सलाह दी थी, जिसके बाद महिला उरई स्थित कमला नर्सिंग होम पहुंची थी। यहां पर जांच के दौरान उसके पेट में बच्चे की मौत हो जाने की बात कह कर उसे झांसी रेफर कर दिया गया था, लेकिन रास्ते में ही सुमन की मौत हो गई थी। इस मामले को लेकर पति मंगल सिंह ने शिकायती पत्र देकर कार्रवाई किए जाने की मांग की थी। वहीं, पुलिस ने मृतका का पोस्टमार्टम कराया था। इसी सिलसिले में मंगलवार को एसडीएम ज्योति सिंह अस्पताल पहुंचीं थीं। उनके साथ सीएचसी अधीक्षक डॉ. अनिल शाक्य, नायब तहसीलदार सुधीर कुमार सिंह, कोतवाल अरुण कुमार राय भी मौजूद रहे।

प्रसूता की मौत के बाद हुई कार्रवाई

अस्पताल में जब टीम पहुंच तो वहां स्टाफ गायब मिला, जिससे अभिलेखों की जांच नहीं हो सकी। बुधवार को सुबह स्वास्थ्य विभाग के अपर चिकित्सा अधिकारी अरविंद कुमार पूरे दल बल के साथ जीपीएस अस्पताल पहुंचे, जहां पर उन्होंने जांच पड़ताल करने के बाद अस्पताल को सील कर दिया है। उन्होंने बताया कि पिछले दिनों प्रसूता की मौत के मामले में पीड़ित मृतक के पति मंगल सिंह की ओर से मामला दर्ज कराया गया था। इस मामले में स्वास्थ्य विभाग जांच करने के लिए आया था, स्टाफ गायब मिला था।  वहीं, अभिलेखों में क्लीनिक व मेडिकल डाॅ. अक्षय यादव के नाम से रजिस्टर्ड है। क्लीनिक में इलाज के दौरान डॉक्टर की उपस्थिति अनिवार्य होती है। तभी मरीज का इलाज किया जाता है। उन्होंने बताया कि अस्पताल को सील कर दिया गया है। जांच रिपोर्ट जिला प्रशासन को सौंप दी जाएगी, उसके बाद आगे की करवाई की जाएगी। कार्रवाई के दौरान उप जिलाधिकारी ज्योति सिंह के अलावा स्वास्थ्य विभाग और भारी पुलिस बल तैनात रहा।

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