UP By Elections: क्या विरोधी भेद पाएंगे भाजपा का लखनऊ पूर्वी किला, दिलचस्प मुकाबले की उम्मीद
Lucknow East Assembly: 2002 विधानसभा चुनाव में भाजपा के विद्या सागर गुप्ता ने सपा के रविदास महरोत्रा को कड़े मुकाबले में 339 मतों से हराया था। 2007 में भी भाजपा को कड़ी चुनौती मिली थी। वर्तमान सपा महानगर अध्यक्ष फाखिर सिद्दीकी को 2007 में 631 वोटों से हराकर विद्या सागर गुप्ता तीसरी बार विधायक बने थे।
UP By Elections: आगामी लोकसभा चुनावों के साथ उत्तर प्रदेश की चार विधानसभा सीटों पर भी उपचुनाव होने जा रहे हैं। इसमें राजधानी की लखनऊ पूर्वी विधानसभा सीट भी शीमिल है। इस सीट पर रोचक मुकाबले की उम्मीद है। लोगों पर भी काफी जिम्मेदारी है। वह लोकसभा सांसद के साथ विधायक भी चुनेंगे।
भाजपा के पास किला बचाने की चुनौती
भारतीय जनता पार्टी के सामने चालीस साल के अपने अभेद किले को बचाने की चुनौती है। हालांकि विपक्ष का दावा है कि इस बार किले में सेंध मार दी जाएगी। जैसे-जैसे मतदान की तारीख करीब आ रही है वैसे-वैसे इस क्षेत्र में चुनाव दिलचस्प होता रहा है। लखनऊ पूर्वी विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव में रोचक मुकाबले के आसार बन रहे हैं। कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के पास गंवाने को ज्यादा कुछ नहीं है। 1991 से लेकर अब तक हुए आठ चुनावों में भाजपा ने जीत हासिल की है।
दो बार सपा ने दी कड़ी चुनौती
1991 से 2022 तक लखनऊ पूर्वी विधानसभा में आठ चुनाव हुए हैं। इन सभी चुनावों में भाजपा ने जीत दर्ज की। सपा और कांग्रेस इस सीट पर भाजपा प्रत्याशियों के सामने मुकाबले में रहे। 2002 विधानसभा चुनाव में भाजपा के विद्या सागर गुप्ता ने सपा के रविदास महरोत्रा को कड़े मुकाबले में 339 मतों से हराया था। 2007 में भी भाजपा को कड़ी चुनौती मिली थी। वर्तमान सपा महानगर अध्यक्ष फाखिर सिद्दीकी को 2007 में 631 वोटों से हराकर विद्या सागर गुप्ता तीसरी बार विधायक बने थे। बता दें कि भाजपा के आशुतोष टंडन के निधन से यह सीट रिक्ता हुई है। भाजपा ने ओपी श्रीवास्तव पर भरोसा जताया है। इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी के रुप में कांग्रेस के पूर्व शहर अध्यक्ष मुकेश सिंह चौहान चुनावी मैदान में हैं।
चार बार विधायक रहीं ‘बख्शी दीदी’
लखनऊ पूर्वी विधानसभा से अब तक एक ही उम्मीदवार ने चार बार जीत दर्ज की है। स्वरूप कुमारी बक्शी क्षेत्र से चार बार विधायक रहीं। लोग उन्हें प्यार से ‘बख्शी दीदी’ कहकर बुलाते थे। 2019 में उनका निधन हो गया था। स्वरूप कुमारी बक्शी ने 1974, 1977, 1980 और 1985 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के टिकट पर जीत दर्ज की थी। क्षेत्र से सबसे अधिक बार विधायक बनने का रिकार्ड ‘बख्शी दीदी’ के नाम है।