Meerut News: UP को जल्द ही मिल जाएगा देश का दूसरा सबसे लंबा एक्सप्रेसवे, मात्र 5 घंटे में मेरठ से प्रयागराज का सफर होगा पूरा

Meerut News: भाजपा सांसद राजेन्द्र अग्रवाल का दावा है कि इसके पूरा होने पर, उत्तर प्रदेश में औद्योगिक, कृषि विकास को रफ्तार मिलेगी और विभिन्न क्षेत्रों में निवेश आकर्षित होगा।

Report :  Sushil Kumar
Update: 2024-02-05 08:16 GMT

यूपी को जल्द ही मिल जाएगा देश का दूसरा सबसे लंबा एक्सप्रेसवे (न्यूजट्रैक)

Meerut News: उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने अपने ताजा आठवें बजट में महत्वाकांक्षी परियोजना गंगा एक्सप्रेस वे के लिए 2057 करोड़ 76 लाख रुपये देकर गंगा एक्सप्रेस वे से जुड़े मेरठ समेत तमाम जिलों को विकास की राह दिखाई है। भाजपा सांसद राजेन्द्र अग्रवाल का दावा है कि इसके पूरा होने पर, उत्तर प्रदेश में औद्योगिक, कृषि विकास को रफ्तार मिलेगी और विभिन्न क्षेत्रों में निवेश आकर्षित होगा। सांसद का कहना है कि पूरा होने और यातायात के लिए खुलने के बाद, यह एक्सप्रेसवे राज्य का सबसे लंबा छह-लेन वाला एक्सप्रेसवे बन जाएगा। यह दोनों शहरों के बीच यात्रा के समय को भी काफी कम कर देगा। अनुमान है कि मेरठ और प्रयागराज के बीच की यात्रा का समय लगभग पांच घंटे तक कम हो जाएगा।

चार चरणों में एक्सप्रेस-वे पर चल रहा काम

चार चरणों में एक्सप्रेसवे पर काम चल रहा है। प्रदेश को पूरब से पश्चिम तक जोड़ते हुए यह एक्सप्रेसवे 12 जिलों के 518 गांवों से होकर गुजरेगा। इसके बनने के बाद मेरठ से हापुड़, बुलंदशहर, अमरोहा, संभल, बदायूं, शाहजहांपुर, हरदोई, उन्नाव, रायबरेली और प्रतापगढ़ होते हुए प्रयागराज तक की दूरी को महज कुछ घंटों में तय की जा सकेगी। बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2019 में कुंभ मेले के दौरान गंगा एक्सप्रेसवे के निर्माण की घोषणा की थी। ताजा बजट में गंगा एक्सप्रेसवे को योगी सरकार ने जिस तरह से प्राथमिकता पर लिया है, उससे उम्मीद है कि महाकुंभ 2025 से पहले यह एक्सप्रेसवे आगामी महाकुंभ से पहले चालू हो जाएगा।

गंगा एक्सप्रेसवे की प्रस्तावित लंबाई 594 किमी है, जो मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे के बाद देश का दूसरा सबसे लंबा एक्सप्रेसवे होगा। गंगा एक्सप्रेसवे मेरठ-बुलंदशहर (एनएच 334) पर बिजौली गांव से शुरू होकर प्रयागराज में (एनएच-19) पर जूडापुर दादू गांव के समीप समाप्त होगा। 7467 हेक्टेयर भूमि पर तैयार होने वाले इस एक्सप्रेस-वे परियोजना की लागत 36,230 करोड़ रुपये है।

गंगा एक्सप्रेसवे की खासियत यह भी है कि यह लखनऊ-आगरा एक्सप्रेसवे, पूर्वांचल एक्सप्रेसवे और बलिया लिंक एक्सप्रेसवे के जरिए राज्य के अन्य एक्सप्रेसवे को जोड़ेगा। गंगा एक्सप्रेसवे को शुरुआत में छह लेन, जबकि आगे चलकर आठ लेन में विस्तार किए जाने का प्रस्ताव है। इसकी डिजाइन स्पीड 120 किमी प्रति घंटा होगी। एक्सप्रेसवे पर विभिन्न स्थानों पर नौ जनसुविधा परिसरों को विकसित किया जाएगा। यहां गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश देश में सर्वाधिक एक्सप्रेसवे वाला राज्य है। यहां छह एक्सप्रेसवे संचालित हैं जबकि सात निर्माणाधीन हैं।

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