UP Politics: पल्लवी पटेल ने दिया अखिलेश यादव को बड़ा झटका, सपा के राज्यसभा प्रत्याशियों को नहीं देंगी वोट, PDA की उपेक्षा को बताया कारण
UP Politics: अखिलेश यादव अपने हर बयान में पीडीए का मुद्दा उठाते रहे हैं मगर अब पलवी पटेल ने उनके रुख पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं।
UP Politics: अपना दल (कमेरावादी) की नेता और समाजवादी पार्टी की विधायक पल्लवी पटेल ने राज्यसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के प्रत्याशियों को वोट न देने का ऐलान किया है। पल्लवी पटेल ने कहा कि समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव हमेशा पीडीए( पिछड़ा,दलित और अल्पसंख्यक) की बात करते हैं मगर राज्यसभा के लिए उम्मीदवारों के चयन में पीडीए कहीं नहीं दिखा। एक समाचार चैनल से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि पीडीए की झंडाबरदार बनी सपा द्वारा जया बच्चन और सेवानिवृत्त आईएएस अधिकारी आलोक रंजन को प्रत्याशी बनाकर राज्यसभा चुनाव में पीडीए का हक मारा गया है।
सिराथू से सपा विधायक पल्लवी पटेल का यह बयान राज्यसभा चुनाव से पहले सपा मुखिया अखिलेश यादव के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है। अखिलेश यादव अपने हर बयान में पीडीए का मुद्दा उठाते रहे हैं मगर अब पलवी पटेल ने उनके रुख पर ही सवाल खड़े कर दिए हैं। इससे पहले मंगलवार को स्वामी प्रसाद मौर्य ने सपा के राष्ट्रीय महासचिव पद से इस्तीफा देकर अखिलेश को बड़ा झटका दिया था।
उम्मीदवार चयन में पीडीए का ख्याल नहीं
सपा विधायक पल्लवी पटेल ने कहा कि पीडीए के नाम पर जया बच्चन और आलोक रंजन को राज्यसभा भेजा जा रहा है। सपा मुखिया अखिलेश यादव के फैसले पर सवाल खड़ा करते हुए उन्होंने कहा कि अगर बात पिछड़ा,दलित और अल्पसंख्यक वर्ग की जाती है तो राज्यसभा चुनाव के दौरान इन वर्गों से जुड़े नेताओं को उम्मीदवार क्यों नहीं बनाया गया।
सपा विधायक ने कहा कि राज्यसभा प्रत्याशियों के चयन के बारे में सपा ने उनसे कोई सलाह मशविरा नहीं किया। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने पीडीए की भावना के विपरीत तीनों उम्मीदवार तय किए हैं। ऐसे में वे सपा प्रत्याशियों के पक्ष में वोट नहीं डालेंगी।
सपा प्रत्याशियों को वोट न देने का ऐलान
यह पूछे जाने पर कि क्या वे अपनी मां कृष्णा पटेल के लिए राज्यसभा का टिकट मांग रही थीं, पल्लवी पटेल ने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं है। उन्होंने कहा कि यदि मैं अपनी मां के लिए राज्यसभा का टिकट मांग रही होती तो सभी लोगों को इस संबंध में पता चल गया होता। उन्होंने कहा कि तकनीकी रूप से वे भले ही समाजवादी पार्टी की विधायक हों मगर राज्यसभा चुनाव के दौरान वे सपा प्रत्याशियों को वोट नहीं देगी। यह पूछे जाने पर कि क्या उनकी कहीं और बात चल रही है, उन्होंने कहा कि नहीं, गठबंधन में वे पूरी तरह सपा के साथ हैं।
उन्होंने कहा कि गठबंधन के बारे में जो भी फैसला लेना होगा, वह उनकी मां कृष्णा पटेल लेंगी। 2022 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान पल्लवी पटेल ने सिराथू विधानसभा क्षेत्र में भाजपा के कद्दावर नेता केशव प्रसाद मौर्य को हराने में कामयाबी हासिल की थी। राज्यसभा चुनाव में पल्लवी पटेल का यह रुख सपा मुखिया अखिलेश यादव के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है।
स्वामी प्रसाद मौर्य ने भी दिया था झटका
इससे पूर्व विवादित बयानों को लेकर अक्सर चर्चा में रहने वाले स्वामी प्रसाद मौर्य ने मंगलवार को समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव पद से इस्तीफा देकर अखिलेश को बड़ा झटका दिया था। उन्होंने राष्ट्रीय महासचिव के पद पर भेदभाव होने का बड़ा आरोप लगाया था। उनका कहना था कि पार्टी का जनाधार बढ़ाने के लिए मेरी ओर से दिए गए बयानों पर पार्टी के वरिष्ठ नेता चुप रहने के बजाय उसे मेरा निजी बयान बता देते हैं।
दूसरी ओर सुभासपा नेता ओम प्रकाश राजभर ने स्वामी प्रसाद मौर्य के इस्तीफे को ड्रामा बताया है। उन्होंने कहा कि असली इस्तीफा तो तब माना जाएगा जब स्वामी प्रसाद मौर्य विधानपरिषद की सदस्यता से इस्तीफा देंगे। सपा मुखिया अखिलेश यादव पर निशाना साधते हुए राजभर ने कहा कि वे अपरिपक्व नेता हैं। इस्तीफे का जो ड्रामा किया गया है,उसमें अखिलेश यादव और स्वामी प्रसाद मौर्य मिले हुए हैं।