UP Block Pramukh Election: जौनपुर में सत्ताधारी दल के दो विधायक आमने सामने, समर्थकों में खूनी संघर्ष

जौनपुर में क्षेत्र पंचायत प्रमुख पद के चुनाव में नामांकन प्रक्रिया के पहले ही बीजेपी के दो जन प्रतिनिधियों के समर्थकों के बीच झड़प हो गयी।

Report :  Kapil Dev Maurya
Published By :  Ashiki
Update: 2021-07-08 16:37 GMT

कई गाड़ियों में भी हुई तोड़फोड़ (फोटो- सोशल मीडिया)

जौनपुर: जनपद में क्षेत्र पंचायत प्रमुख पद के चुनाव में नामांकन प्रक्रिया के पहले ही सत्तारूढ दल के दो जन प्रतिनिधियों के समर्थको के बीच अर्ध रात्रि को खूनी जंग ने जिले की कानून व्यवस्था को सवालों के कटघरे में खड़ा कर दिया है। हलांकि घटना की सूचना के बाद घटना स्थल पर पुलिस का पहरा लगा दिया गया है और पुलिस विधिक कार्यवाई भी कर रही है, लेकिन दो जन प्रतिनिधयों के बीच की जंग के सियासी मायने भी निकाले जा रहे हैं।

यहां बता दें कि जनपद के विकास खण्ड जलालपुर प्रमुख पद अनुसूचित जाति की महिला के लिए आरक्षित है चुनाव लड़ने के लिए दो दावेदार मैदान में है एक भाजपा से केराकत विधायक दिनेश चौधरी के परिवार से कमलेश कुमारी तो दूसरी जफराबाद विधायक हरेन्द्र प्रताप सिंह के सहयोग से जनपद के महा घोटाले बाज शिक्षा माफिया बेदीराम परिवार से बदामा देवी का नाम था। दोनों भाजपा से टिकट के लिए आवेदन किये थे। भाजपा ने केराकत विधायक परिवार की कमलेश कुमारी को अपना अधिकृत प्रत्याशी घोषित कर दिया। पार्टी से टिकट न मिलने से नाराज बेदीराम ने जफराबाद विधायक के सह पर बागी प्रत्याशी बनाकर चुनाव लड़ने का फैसला ले लिया।

बीती रात को किसी सूत्र से बेदीराम और उनके समर्थक शराब माफिया श्रीधर सिंह सहित विधायक जफराबाद को पता चला कि रेहटी गांव थाना क्षेत्र जलालपुर में लाल प्रताप सिंह प्रतिनिध दिनेश चौधरी अपने घर पर कुछ क्षेत्र पंचायत सदस्य (बीडीसी) को अपने घर पर कैद कर रखे है। इस सूचना पर विधायक जफराबाद से बात चीत करने के बाद बेदीराम के टीम एवं शराब माफिया श्रीधर सिंह के परिवार से लोग अर्ध रात्रि को असलहे से लैश होकर आधा दर्जन से अधिक वाहनों से ग्राम रेहटी थाना जलालपुर लाल प्रताप सिंह के घर पर हमला कर दिये और उनके घर पर सभी को जगाते हुए पूछताछ करने लगे।

लाल प्रताप सिंह ने विरोध किया तो हमलावर अमादा फौजदारी हो गये इसके बाद लाल प्रताप सिंह भी हमलावरों से मारपीट शुरू कर दिए। इसके बाद शोर शराबे पर पूरे रेहटी गांव के ग्रामीण जुट गये और बेदीराम के हमलावरों पर धावा बोलते हुए आधा दर्जन लोंगो को मारपीट कर मरणासन्न स्थिति में पंहुचा दिये। पांच वाहन तो ग्रामीण जनों से बचकर भाग निकले लेकिन तीन ग्रामीण जनों की जद में आ गये जिसे गांव की जनता ने कूंच कर बुरी तरह से तोड़कर रख दिया।

घटना की सूचना पर तत्काल थाना जलालपुर की पुलिस भारी पुलिस बल के साथ रेहटी गांव पहुंची तब तक मारपीट करने वाले हट गये थे। पुलिस ने सभी घायलों को उपचार के लिए अस्पताल भेजवाया। इसके बाद दोनों तरफ से राजनैतिक ताकतों आजमाइश शुरू हो गयी। पुलिस घटना स्थल का निरीक्षण कर क्षतिग्रस्त वाहनो को थाने पर ले गयी। तहरीर के आधार पर दोनों पक्षों का मुकदमा तो दर्ज किया है। ऐसी खबर मिली है थाना प्रभारी एवं सीओ दोनों के सरकारी सीयूजी नंबर पर दिन में 10 बजे से सायं 04 बजे तक फोन मिलाने पर एक टोन मोबाइल नेटवर्क क्षेत्र से बाहर होने की सूचना देता रहा जिससे मुकदमा की धारायें एवं पुलिसिया कार्यवाही का पता नहीं चल सका है।

हलांकि घटना की गम्भीरता को देखते हुए प्रशासन व पुलिस के अधिकारी भी घटना स्थल का निरीक्षण किये हैं। इस घटना के बाद पूरे इलाके में तनावपूर्ण स्थिति बन गई है विकास खण्ड जलालपुर में नामांकन की प्रक्रिया कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच कराया गया है। जन चर्चा है कि परिणाम चाहे जो होगा लेकिन घटना चुनाव के बाद भी बड़े खूनी जंग का संकेत दे रही है।

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