SP को सबक सिखाने की तैयारी, पार्टियों का बनेगा मुस्लिम महागठबंधन

Update: 2016-07-06 13:42 GMT

लखनऊ: मुख्तार अंसारी की पार्टी कौमी एकता दल के समाजवादी पार्टी में विलय को भले ही अखिलेश यादव ने अपनी सरकार की छवि के विपरीत मानते हुए रद्द कर दिया हो, लेकिन अब इसका खामियाजा भी उन्हें ही भुगतना होगा। मुख्तार बंधुओं की नई रणनीति तो कुछ ऐसा ही बताती है।

जानकारों की मानें तो यदि यह रणनीति परवान चढ़ गई तो समाजवादी पार्टी से मुस्लिम वोटर छिटक सकते हैं। और अगर ऐसा हुआ तो आने वाले चुनाव में सपा को तगड़ा झटका लग सकता है।

महागठबंधन की तैयारी

सूत्रों की मानें, तो सपा से कौमी एकता दल का विलय रद्द होने के बाद कौमी एकता दल डॉ. अय्यूब की पीस पार्टी और ओवैसी की एआईएमआईएम के साथ मिलकर महागठबंधन बना सकती है, जिससे प्रदेश भर के मुसलामानों को अपने पाले में किया जा सके। इस गठबंधन के लिए सभी पार्टी के नेता आपस में कई दौर की मुलाक़ात भी कर चुके हैं।

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सपा से खिसक सकता है मुस्लिम वोटर

राजनीतिक पंडितों की मानें तो यदि यह गठबंधन कामयाब रहा तो प्रदेश में मुसलमान वोटरों को साध रही राजनैतिक पार्टियों की रणनीति पर पानी फिर जाएगा। इसका सबसे ज्यादा नुकसान समाजवादी पार्टी को हो सकता है।

विलय रद्द होने पर बरसे थे अफजाल

बताते चलें की मुख्तार अंसारी की पार्टी कौमी एकता दल का समाजवादी पार्टी में विलय करने की बात हुई थी। सपा कार्यालय में एक भव्य कार्यक्रम में विलय भी हुआ। लेकिन अखिलेश यादव की नाराजगी के बाद विलय को रद्द कर दिया गया। इसके बाद सपा कार्यकारिणी की बैठक में विलय को खारिज कर दिया गया। विलय रद्द होने के बाद अफजल अंसारी ने कहा था, 'हमारे साथ धोखा हुआ है। इसका जवाब दिया जाएगा।

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ओवैसी पर भी निशाना साध चुके हैं अफजल

कौमी एकता दल के अध्यक्ष अफजाल अंसारी बीते साल एक कार्यक्रम में ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी भी निशाना साध चुके हैं। उस वक्त अंसारी ने उन पर भाजपा के साथ मिलीभगत का आरोप लगाया था। अंसारी का आरोप है कि बिहार विधानसभा चुनाव में ओवैसी ने सीमांचल के मुस्लिम बहुल इलाकों में अपने छह उम्मीदवार उतारे थे, जिसका उद्देश्य भाजपा को फायदा पहुंचाना था। लेकिन बिहार में ओवैसी की पार्टी को एक भी सीट नहीं मिला।

तब बात और थी। अफज़ल अंसारी किसी और समीकरण को दुरुस्त करने की फिराक में थे। लेकिन बदले हालात में पुरानी बातें बेमानी हो जाएंगी और नए समीकरण यूपी में सियासी हलचल मचाएंगे।

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पहले भी गठबंधन की बात कर चुके हैं अंसारी

अफजल अंसारी सांप्रदायिक ताकतों के खिलाफ बिहार जैसा प्रयोग करते हुए महागठबंधन बनाने की पैरवी पहले वही भी कर चुके हैं। ऐसे में बनते-बिगड़ते हालातों के बीच यदि इन तीनों पार्टियों ने एक महागठबंधन बना लिया तो आने वाले चुनाव में कई पार्टियों को अपनी रणनीति पर फिर से विचार

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