Azam Khan Political Journey: जानिये सपा नेता आजम खान का अर्श से फर्श तक का सफर
Azam Khan Political Journey: समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के वरिष्ठ नेता आजम खान (SP Leader Azam Khan) पर आज भड़काऊ भाषण मामले में अदालत ने दोषी करार दिया है।
Azam Khan Political Journey: समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान को भड़काऊ भाषण मामले में रामपुर की एमपी एमएलए अदालत ने दोषी करार दिया है। हेट स्पीच केस में अदालत ने आजम खान को 3 धाराओं में दोषी करार दिया गया है। इसी के साथ आजम खान को तीन साल की सजा और 25 हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनायी गयी है। सपा नेता को अदालत के आदेश पर हिरासत में ले लिया गया। हालांकि बाद में उनको जमानत मिल गई लेकिन दोषी ठहराए जाने के साथ दो साल से अधिक की सजा का एलान होते ही उनके राजनीतिक करियर पर ग्रहण लग गया।
आजम खान का जन्म उत्तरप्रदेश के रामपुर जनपद में 14 अगस्त 1948 को हुआ था। उन्होंने अपनी शुरुआती पढ़ाई रामपुर के बकर स्कूल से पूरी करने के बाद रामपुर के सुंदरलाल इंटर कॉलेज से स्नातक और फिर 1974 में अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से एलएलबी की पढ़ाई पूरी की। आजम खान की शादी तंजीन फातिमा से हुई थी और उनके दो बेटे अदीब खान और अब्दुल्लाह खान हैं।
आजम खान ने राजनीतिक करियर की शुरुआत पढ़ाई के दौरान अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी से की थी। वे वहां विद्यार्थी संघ के सचिव थे। आजम खान ने 1976 में जनता दल ज्वाइन करने के बाद जिला स्तर की राजनीति की। राजनीतिक अन्याय के खिलाफ आवाज उठाने के लिए अलीगढ़, फैजाबाद, उन्नाव और वाराणसी में तीन साल के लिए कई बार जेल भी गए। इसके अलावा आपातकाल के दौरान आंतरिक सुरक्षा रखरखाव अधिनियम (मीसा) के तहत भी उन्हें गिरफ्तार किया गया था।
आजम खान 1980-1985 तक रामपुर से जनता पार्टी (एस) से पहली बार विधायक रहे। 1985-1989 रामपुर से ही लोक दल से विधायक के रूप में दूसरा कार्यकाल पूरा किया। 1989-1991 तक जनता दल विधायक का तीसरा कार्यकाल रामपुर से पूरा किया और यूपी सरकार में मंत्री रहे। 1991-1992 में जनता पार्टी से रामपुर से विधायक रहते हुए चौथा कार्यकाल रहा। यूपी जनता पार्टी की सरकार में मंत्री रहे। 1993-1995 विधायक रहते हुए पांचवां कार्यकाल रामपुर से पूरा किया। सपा सरकार में मंत्री रहे। 1996-2002 सांसद के रूप में पहला कार्यकाल रहा। उत्तर प्रदेश सपा से राज्यसभा में सदस्य रहे। 2002-2007 तक रामपुर से विधायक क रूप में छठा कार्यकाल रहा। इस दौरान वह यूपी विधानसभा में 2002-03 तक विपक्ष के नेता रहे। 2003-07 तक यूपी सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे। 2007-2012 तक रामपुर से सपा विधायक का सातवां कार्यकाल रहा। 2012-2017 तक सपा विधायक के रूप में रामपुर से 8वां कार्यकाल रहा। इस दौरान वह यूपी सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे।
2017-2019 रामपुर से विधायक के रूप में नौवें कार्यकाल में 2019 में इस्तीफा दिया। 2019-2022 सांसद पहला कार्यकाल रहा। रामपुर से 17वीं लोकसभा में 2022 में इस्तीफा दे दिया। 2022 वर्तमान विधायक 10वां कार्यकाल) रामपुर से चल रहा है। जिस पर अब संकट के बादल मंडरा रहे हैं।
समाजवादी पार्टी ने 2009 ने रामपुर संसदीय क्षेत्र से जया प्रदा को टिकट दे दिया, जिसके बाद में आजम खान निर्दलीय प्रत्याशी बनकर चुनाव लड़े और हार गये। इसके बाद सपा ने आजम खान को 6 साल के लिए पार्टी से बाहर कर दिया था। 4 दिसंबर 2010 को समाजवादी पार्टी ने आजम खान का निलंबन रद्द करते हुए पार्टी में शामिल कर लिया।
2012 में समाजवादी पार्टी की सरकार बनी और आजम खान को फिर से कैबिनेट मंत्री की जिम्मेदारी दी गई। 2017 के विधान सभा चुनाव में आजम खान रामपुर विधान सभा से विधायक बने। 2019 के लोक सभा चुनाव में भाजपा प्रत्याशी जया प्रदा को हराकर सांसद बने। 2022 के विधान सभा चुनाव में आजम खान ने जेल के अंदर से चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की।