UP में बीते साल से 7 प्रतिशत बढ़ी बिजली की डिमांड, सुने ऊर्जा मंत्री AK शर्मा क्या बोले
ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने उपभोक्ताओं से अपील की है कि विद्युत उपयोग में यह सावधानी बरतें की विद्युत का दुरूपयोग न हो। साथ ही, देश एवं प्रदेश के हित में विद्युत की बचत भी करें।
Lucknow: बीते वर्ष की तुलना में इस वर्ष तापमान में अप्रत्याशित वृद्धि (rise in temperature) होने के कारण, विद्युत मांग व खपत में वृद्धि दर्ज की गयी है। ऐसी स्थिति में विद्युत आपूर्ति सामान्य रहे और निश्चित शिड्यूल के अनुरूप सभी क्षेत्रों को विद्युत आपूर्ति (power supply) सुनिश्चित हो, इसके लिये उत्तर प्रदेश पावर कारपोरेशन (Uttar Pradesh Power Corporation) को निर्देशित किया गया है। प्रदेश के सभी जिला मुख्यालयों, महानगरों और मण्डल मुख्यालयों को 24 घण्टे कटौती मुक्त विद्युत आपूर्ति की जा रही है। इसके अतिरिक्त ग्रामीण क्षेत्रों, तहसील मुख्यालयों और बुन्देलखण्ड को भी शिड्यूल के अनुरूप ही विद्युत आपूर्ति की जा रही है।
21000 मेगावाट रोज़ाना प्रदान की जा रही
इस समय उत्तर प्रदेश जल विद्युत से 48, अलकनन्दा से 416, तापीय विद्युत गृहों से 4789 को, जनरेशन से 600, सोलर 1333, रोजा 974, बीइपीएल 365, ललितपुर 1856, बारा 1630, टांडा 375, लैंको 1111 और मेजा से 580 कुल 12633 मेगावाट राज्य सेक्टर से विद्युत प्राप्त हो रही है। इसके अतिरिक्त 8361 मेगावाट विद्युत आयात की जा रही है। वर्तमान में प्रदेश को लगभग 21000 मेगावाट विद्युत की आपूर्ति प्रतिदिन की जा रही है।
7 प्रतिशत बढ़ी मांग
मार्च माह में विगत वर्ष की तुलना में विद्युत की मांग व खपत में लगभग 11 प्रतिशत की वृद्धि के बावजूद सभी श्रेणी को लगभग आधा घंटा अधिक विद्युत आपूर्ति की गयी है। अप्रैल माह में अभी तक विगत वर्ष की तुलना में विद्युत मांग में लगभग 07 प्रतिशत एवं ऊर्जा की खपत में लगभग 20 प्रतिशत अधिक वृद्धि दर्ज की गयी है। उत्तर प्रदेश की बोर्ड परीक्षाओं के सभी परीक्षा केन्द्रों को पोषित करने वाले वितरण पोषकों को परीक्षा अवधि में एसएलडीसी से कटौती मुक्त विद्युत आपूर्ति प्रदान की जा रही है।
क्षतिग्रस्त ट्रांसफार्मर बदले जाएं
ऊर्जा मंत्री एके शर्मा (Energy Minister AK Sharma) ने यह जानकारी देते हुए बताया है कि प्रतिदिन कारपोरेशन के अधिकारियों को विद्युत आपूर्ति की समीक्षा करने के निर्देश दिये गये हैं। वितरण निगमों के प्रबन्ध निदेशकों को निर्देशित किया गया है कि स्थानीय दोषों को कम से कम समय में ठीक करने की व्यवस्था की जाय। निर्बाध विद्युत आपूर्ति के लिए सभी अधिकारी व कर्मचारी अपने-अपने क्षेत्रो की पेट्रोलिंग करते रहें।
सभी कॉल रिसीव करें और फोन 24×7 घंटे चालू रखें, जिससे कोई भी सूचना उनको तुरन्त प्राप्त हो सके। क्षतिग्रस्त ट्रांसफार्मर कम से कम समय में बदले जाये। साथ ही, ट्राली ट्रांसफार्मर भी उपलब्ध रहें, जिससे आवश्यकतानुसार उनका उपयोग किया जा सके। इस प्रकार अप्रत्याशित विद्युत मांग एवं ऊर्जा खपत में वृद्धि के बावजूद भी विगत वर्ष की तुलना में मार्च माह में निर्धारित शिड्यूल से अधिक एवं अप्रैल माह में अब तक लगभग निर्धारित शिड्यूल के अनुसार विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की जा रही है।
बिजली का न करें दुरूपयोग (don't misuse electricity)
ऊर्जा मंत्री ने उपभोक्ताओं से अपील की है कि विद्युत उपयोग में यह सावधानी बरतें की विद्युत का दुरूपयोग न हो। साथ ही, देश एवं प्रदेश के हित में विद्युत की बचत भी करें। उन्होंने यह भी अपील की है कि अपना विद्युत बिल समय से जमा करें, जिससे विद्युत आपूर्ति के लिए आवश्यक संसाधन की कमी न रहे।
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