जल्द ही फर्राटे से दौड़गें दिल्ली मेरठ एक्सप्रेस वे पर वाहन, PM मोदी करेगें लोकार्पण
नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) ने निर्माण कार्य में तेजी लाने के साथ ही टोल वसूली की प्रक्रिया भी तत्काल शुरू किए जाने की दिशा में भी कवायद शुरू कर दी है। एनएचएआई ने दो तरह से टोल वसूलने की योजना बनाई है।
श्रीधर अग्निहोत्री
लखनऊ। उत्तर प्रदेश के कई क्षेत्रों में बन रहे एक्सप्रेस वे की श्रृंखला में बन रहे दिल्ली मेरठ एक्सप्रेस वे भी जनता के लिए तैयार है। इसका काम लगभग पूरा हो चुका है उम्मीद की जा रही है कि प्रधानमंत्री मोदी इसका पांच मार्च को लोकार्पण करेंगे। एमओयू के मुताबिक इसका निर्माण कार्य 31 दिसंबर 2020 को पूरा होना था। लेकिन किसान आंदोलन के चलते इसके काम में देरी हुई। एनएचएआइ ने निर्माण एजेंसी को 31 जनवरी तक समय दिया और अब फरवरी के अंत तक दूसरे चरण का काम पूरा किया जाना होना है। दूसरे चरण का मात्र दो फीसद काम अब शेष बचा है।
टोल वसूली की प्रक्रिया भी तत्काल शुरू होगी
नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) ने निर्माण कार्य में तेजी लाने के साथ ही टोल वसूली की प्रक्रिया भी तत्काल शुरू किए जाने की दिशा में भी कवायद शुरू कर दी है। एनएचएआई ने दो तरह से टोल वसूलने की योजना बनाई है। हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट के आधार पर ऑटोमैटिक तरीक से टोल वसूला जाएगा, जिसमें चलती हुई गाड़ी से टोल कट सकेगा। इसे ऑटोमैटिक नंबर का भी नाम दिया जा रहा है जो आपके फास्टैग नंबर से अटैच हो जाएगा।
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मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी की अध्यक्षता में संपन्न हुई बैठक में दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे, जगदीशपुर-हल्दिया एवं बोकारो-धाम्रा गैस पाइप लाइन प्रोजेक्ट तथा प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत प्राप्त शिकायतों के निस्तारण की प्रगति की समीक्षा की गई।
प्रोजेक्ट को 28 फरवरी तक पूरा करने का लक्ष्य
प्रोजेक्ट की लंबाई 82.047 किमी व लागत 6091.57 करोड़ रुपये है। उक्त प्रोजेक्ट को 28 फरवरी तक पूरा करने का लक्ष्य है तथा अब तक 98 प्रतिशत भौतिक प्रगति हो चुकी है। प्रोजेक्ट के अंतर्गत 5 दीर्घपुल, 19 लघुपुल, 8 फ्लाईओवर्स तथा 3 आरओबी का निर्माण किया जा रहा है। एक्सप्रेसवे का निर्माण 4 पैकेजेज में किया जा रहा है, जिसमें पैकेज-1 एवं पैकेज-3 का कार्य पूरा किया जा चुका है।
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इसके अलावा बैठक में जगदीशपुर-हल्दिया एवं बोकारो-धाम्रा गैस पाइप लाइन प्रोजेक्ट के बारे में बताया गया कि उत्तर प्रदेश के अंतर्गत मुख्य लाइन फूलपुर प्रयागराज से चन्दौली लम्बाई 160 किमी एवं वाराणसी से गोरखपुर लम्बाई 166 किमी को पहले ही पूरा किया जा चुका है तथा इसमें अपने प्रदेश से सम्बन्धित कोई इश्यू शेष नहीं है।
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