Roli Tiwari Mishra And Richa Singh: जानें कौन हैं सपा से निष्कासित रोली तिवारी मिश्रा और ऋचा सिंह?
Roli Tiwari Mishra And Richa Singh: लोग जानना चाह रहे हैं कि आखिर में रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह कौन हैं जिनको समाजवादी पार्टी ने निष्काषित कर दिया है। इसलिए आइये जानते हैं कौन हैं रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह?
Roli Tiwari Mishra And Richa Singh: समाजवादी पार्टी ने पूर्व प्रवक्ता रोली तिवारी मिश्रा व इलाहाबाद यूनिवर्सिटी की पूर्व छात्रसंघ ऋचा सिंह को पार्टी को निष्काषित कर दिया है। उनके निष्काष्न पर पार्टी ने कोई खास वजह नहीं बतायी है। रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह ने रामचरितमानस पर स्वामी प्रसाद मौर्य द्वारा दिए गये बयान के खिलाफ आवाज उठायी थी। ऐसे में माना जा रहा है कि पार्टी लाइन से हटकर बयानबाजी करने के कारण रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह को पार्टी से निष्काषित कर दिया गया है।
रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह सपा की तेजतर्रार महिला नेताओं में शामिल थी किसी भी मुद्दे पर मुखर होकर राय रखती थीं। अब लोग जानना चाह रहे हैं कि आखिर में रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह कौन हैं जिनको समाजवादी पार्टी ने निष्काषित कर दिया है। इसलिए आइये जानते हैं कौन हैं रोली तिवारी मिश्रा व ऋचा सिंह?
कौन हैं रोली तिवारी मिश्रा?
सपा की पूर्व प्रवक्ता रोली तिवारी मिश्रा मूल रूप से आगरा की रहने वाली हैं। उन्होने समाजवादी पार्टी के टिकट पर दक्षिण विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा था। रोली मिश्रा उत्तर प्रदेश राज्य महिला आयोग की पूर्व सदस्य रह चुकी हैं। सोशल मीडिया पर चर्चित रोली तिवारी मिश्रा समाजवादी पार्टी में ब्राम्हणों के मुद्दों को लेकर अकसर सवाल उठाती रही हैं। रोली मिश्रा स्वतंत्र पत्रकार के तौर पर भी काम करती हैं।
कौन हैं ऋचा सिंह?
इलाहाबाद विश्वविद्यालय की पूर्व अध्यक्ष और समाजवादी पार्टी के टिकट पर 2017 और 2022 में प्रयागराज पश्चिमी विधान सभा क्षेत्र से चुनाव लड़ चुकी रिचा सिंह को पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। दो विधनसभा चुनाव में हार के बाद वह लगातार पार्टी के खिलाफ बयानबाजी कर रही थीं। इसी तरह पूर्व प्रवक्ता और आगरा दक्षिण से पार्टी प्रत्याशी रहीं रोली तिवारी मिश्रा भी अपनी पार्टी के खिलाफ बयानबाजी कर रही थी। जिन दोनों महिला सदस्यों को समाजवादी पार्टी से निकाल दिया गया है।
रिचा सिंह का राजनीतिक करियर
ऋचा सिंह ने समाजवादी पार्टी ने निष्कासन के बाद अपने अगले राजनीतिक स्टैंड को लेकर साफ किया कि वह संघर्ष करके यहां तक पहुंची हैं। इसलिए वह अपने लोगों से बातचीत करके आगे भविष्य की राजनीती को लेकर फैसला करेंगी। आपको बता दें कि ऋचा सिंह आजादी के बाद पहली बार इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र संघ चुनाव में महिला के रूप में 2015 में अध्यक्ष पद के लिए चुनी गई थी। जबकि दो बार समाजवादी पार्टी के टिकट पर 2017 और 2022 में प्रयागराज पश्चिमी विधान सभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा लेकिन उनके हाथ दोनों बार खाली रहे और जीत नहीं मिली।