Haldwani Encroachment: सिर पर छत के लिए दुआओं में उठे मासूमों के हाथ, किसके हक में होगा SC का फैसला
Haldwani Encroachment: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने जब से 45,00 परिवारों को बेदखल करने के लिए आदेश दिया तब से हल्द्वानी उबल रहा है। सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई होगी।
Haldwani Encroachment: उत्तराखंड हाईकोर्ट ने रेलवे द्वारा दावा की गई भूमि से 4,000 से अधिक परिवारों को बेदखल करने के लिए आदेश दिया। तब से हल्द्वानी उबल रहा है, सुप्रीम कोर्ट आज गुरुवार 5 जनवरी 2023 को हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ याचिकाओं पर सुनवाई करेगा। जस्टिस संजय किशन कौल और अभय ओका की दो जजों की बेंच इस चुनौती पर सुनवाई कर सकती है।
बुधवार को भारत के मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली पीठ ने मामले में तत्काल सुनवाई की मांग करने वाली याचिका की अनुमति दी थी। बता दें कि वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण ने इस मामले में कल 4 जनवरी को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल की है, जिस पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई करने के लिए तैयार हो गया है। बता दें कि अतिक्रमण हटाने संबंधी उत्तराखंड हाईकोर्ट के हालिया फैसले के खिलाफ कांग्रेस विधायक सुमित हृदयेश की अगुवाई में भी सुप्रीम कोर्ट में 2 जनवरी को याचिका दायर की गई है, जिसके बाद आज बुधवार को प्रशांत भूषण की ओर से भी याचिका दायर की गई है। सुप्रीम कोर्ट ने दोनों याचिकाओं पर कल गुरूवार 5 जनवरी 2023 को सुनवाई करने के लिए कहा है।
प्रशासन कर रहा अतिक्रमण हटाने की तैयारी
कुमाऊं के आईजी नीलेश आनंद भरणे ने बताया उत्तराखंड हाईकोर्ट के आदेश का पालन किया जाएगा। हमने लोगों के साथ में बैठक करके कोर्ट के आदेश का पालन करने के लिए कहा है। आईजी ने कहा कि हमने अखबारों में जमीन खाली करने के लिए नोटिस दिया है। अतिक्रमण हटाने के लिए 14 कंपनी सेंट्रल पैरामिलेट्री फोर्स और 5 कंपनी रैपिड एक्शन फोर्स की डिमांड की है। इसके अलावा गढ़वाल मंडल से लगभग 1000 पुलिस के सिपाही और होमगार्ड की भी डिमांड की गई है। अतिक्रमण हटाने के दौरान 4000-5000 पुलिसकर्मियों की तैनाती रहेगी। फोर्स 8 जनवरी तक हल्द्वानी पहुंच जाएगी। इसके अलावा जिला प्रशासन से जेसीबी, पोकलैंड, ड्रोन कैमरा, वीडियो कैमरा, बैरिकेट्स और अन्य चीजों जिला प्रशासन से मांगी गई हैं।
अतिक्रमण क्षेत्र में क्या-क्या निर्माण हुआ है?
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक 2.2 किमी के इस इलाके में गफूर बस्ती, ढोलक बस्ती और इंदिरा नगर की झोपड़पट्टी आती है। ये पूरा इलाका हल्द्वानी के बनभूलपुरा में आता है। इस अतिक्रमण क्षेत्र में तीन सरकारी स्कूलों के साथ 11 प्राइवेट स्कूल, 10 मस्जिदें, 12 मदरसे, एक मंदिर और एक पीएचसी भी मौजूद है।
क्या है मामला
बता दें कि पिछले साल 20 दिसंबर को, न्यायमूर्ति आरसी खुल्बे और न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा की उच्च न्यायालय की खंडपीठ ने बनभूलपुरा गफूर बस्ती में रेलवे की 29 एकड़ भूमि पर किए गए अतिक्रमण को ध्वस्तीकरण करने के आदेश दिए थे। इस जगह पर करीब 4365 अतिक्रमणकारी हैं। आदेश के बाद से ही लोग आशियाना बचाने के लिए हर संभव कोशिश कर रहे हैं।