Ukraine: यूक्रेन साइबर हमले की चपेट में, कई घंटे ठप पड़ी रहीं बैंकों की साइट्स
उक्रेन साइबर हमलों की चपेट में आ गया है। यूक्रेन ने कहा है कि उसके बैंक और रक्षा मंत्रालय की वेबसाइट्स साइबर हमले से प्रभावित हुई हैं। उक्रेन ने इन हमलों के लिए रूस पर उंगली उठाई है।
Ukraine: रूस के साथ तनाव के बीच अब उक्रेन साइबर हमलों की चपेट में आ गया है। यूक्रेन ने कहा है कि उसके बैंक और रक्षा मंत्रालय की वेबसाइट्स साइबर हमले से प्रभावित हुई हैं। उक्रेन ने इन हमलों के लिए रूस पर उंगली उठाई है। इस बीच अमेरिकी प्रेसिडेंट जो बिडेन ने कहा है कि अगर रूस हमारी या हमारे सहयोगियों की कंपनियों या महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे के खिलाफ साइबर हमले करता है तो हम जवाब देने के लिए तैयार हैं।
यूक्रेन के साइबर वॉचडॉग ने रूस की कथित भूमिका की ओर इशारा करते हुए कहा - इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता है कि हमलावर ने गंदी और तुच्छ चाल की रणनीति का इस्तेमाल किया क्योंकि उसकी आक्रामक योजनाएं बड़े पैमाने पर काम नहीं कर रही हैं।
सिस्टम बहुत धीमा पड़ गया
यूक्रेनी अधिकारियों ने कहा कि सशस्त्र बलों की वेबसाइट, प्रिवेटबैंक और ओशादबैंक को भी बाधित कर दिया गया था। यूक्रेन के प्रिवेट बैंक के ग्राहकों ने कहा है कि उन्हें भुगतान में समस्या का सामना करना पड़ रहा है, जबकि एक अन्य बैंक ओशादबैंक ने बताया कि उसका सिस्टम बहुत धीमा पड़ गया है। बैंकों की साइट्स कई घंटों तक ठप पड़ी रहीं।
यूक्रेन एक महीने पहले भी साइबर हमले की चपेट में आ गया था। यूक्रेनी अधिकारियों ने उस समय कथित हमले के लिए रूस को दोषी नहीं ठहराया था। उस समय दर्जनों यूक्रेनी सरकारी वेबसाइटों को निशाना बनाया गया था। इस हमले में यूक्रेनी नागरिकों को "डरने और सबसे बुरे की उम्मीद करने" की चेतावनी दी गयी थी।
नया साइबर हमला तब हुआ है जब रूस ने कहा कि वह यूक्रेन की सीमा से कुछ सैनिकों को वापस खींच रहा है। बहरहाल, यूक्रेन के सेंटर फॉर स्ट्रैटेजिक कम्युनिकेशंस एंड इंफॉर्मेशन सिक्योरिटी के एक बयान के अनुसार, बैंकों ने आश्वासन दिया है कि जमाकर्ताओं के धन को कोई खतरा नहीं है। इस बीच रूस ने इस बात से इनकार किया कि यूक्रेन के रक्षा मंत्रालय और दो बैंकों पर साइबर हमलों के पीछे रूस का हाथ था, लेकिन कहा कि यह आश्चर्य की बात नहीं है कि उक्रेन ने मास्को को दोषी ठहराया है।
उधर लिथुआनिया ने कहा है कि आने वाले दिनों में उस पर भी साइबर हमले हो सकते हैं जिससे बिजली आपूर्ति और अन्य सेवाएँ बुरी तरह प्रभावित होने की आशंका है। लिथुआनिया के केंद्रीय बैंक ने चेतावनी दी है कि इस क्षेत्र में भू-राजनीतिक तनाव बढ़ने से साइबर हमलों का खतरा बढ़ जाता है, जिसमें महत्वपूर्ण सूचना बुनियादी ढांचे पर हमले भी शामिल हैं। वैसे, यूरोपीय संघ के नियामकों ने भी बैंकों को संभावित रूसी साइबर हमले के लिए तैयार करने के लिए कहा है।