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राणा कपूर हुए कंगाल! ED ने की बड़ी कार्रवाई, 2000 करोड़ की संपत्ति कुर्क
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने यस बैंक (Yes Bank) मनी लॉन्ड्रिंग मामले में बैंक के पूर्व प्रमुख राणा कपूर और DHFL के प्रमोटर्स कपिल वधावन और धीरज वधावन बंधुओं की 2,203 करोड़ रुपये की संपत्तियां अटैच की हैं।
नई दिल्ली: प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने यस बैंक (Yes Bank) मनी लॉन्ड्रिंग मामले में बैंक के पूर्व प्रमुख राणा कपूर और DHFL के प्रमोटर्स कपिल वधावन और धीरज वधावन बंधुओं की 2,203 करोड़ रुपये की संपत्तियां अटैच की हैं। इस बात की जानकारी अधिकारियों ने गुरुवार को दी है।
विदेशी संपत्तियों पर भी लगी रोक
अधिकारियों ने बताया कि प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पीएमएलए के तहत जारी अंतरिम आदेश के तहत यस बैंक के सह-संस्थापक राणा कपूर और DHFL के प्रवर्तकों कपिल और धीरज वाधवन की भी संपत्तियां कुर्क की हैं। इसके अलावा ईडी ने राणा कपूर की कुछ विदेशी संपत्तियों पर रोक भी लगाई है।
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इन प्रॉपर्टीज को भी किया गया अटैच
इसके अलावा राणा कपूर के दिल्ली के पॉश इलाके अमृता शेरगिल मार्ग पर स्थित बंगले को भी ईडी ने अटैच किया है। वहीं मुंबई के पेडर रोड, लंदन और न्यूयॉर्क में स्थित कई प्रॉपर्टी को भी कुर्क किया गया है। वहीं वधावन बंधुओं की जो प्रॉपर्टी अटैच की गई है, उसमें पुणे में जमीन, 12 अपार्टमेंट, आस्ट्रेलिया और न्यूयॉर्क में स्थित प्रॉपर्टी भी शामिल है।
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मार्च में दर्ज हुआ था मनी लॉन्ड्रिंग का केस
सीबीआई ने 7 मार्च को यस बैंक के को-फाउंडर राणा कपूर, वधावन बंधुओं समेत अन्य के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया था। कपूर को केंद्रीय जांच एजेंसी ने मार्च में गिरफ्तार किया था। फिलहाल वह न्यायिक हिरासत में है। बता दें कि यस बैंक धोखाधड़ी मामले में दीवान हाउसिंग फाइनेंस लिमिटेड (डीएचएफएल) की भूमिका की जांच की जा रही है।
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जांच एजेंसी ने लगाया है ये आरोप
जांच एजेंसी ने आरोप लगाया है कि कपूर (62) ने खुद को और अपने परिवार को उनके मालिकाना हक वाली कंपनियों के मार्फत अनुचित फायदा पहुंचाने के एवज में यस बैंक के जरिए डीएचएफएल को वित्तीय सहायता उपलब्ध कराई थी।
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2 साल पहले हुआ था घोटाला
सीबीआई की प्राथमिकी के मुताबिक यह घोटाला अप्रैल से जून 2018 के बीच हुआ था, जब यस बैंक ने घोटाला प्रभावित डीएचएफएल के अल्प अवधि के रिणपत्र में 3,700 करोड़ रुपये निवेश किये थे।
इसके एवज में वधावन ने कथित तौर पर कपूर और उनके परिवार के सदस्यों को रिण के रूप में 600 करोड़ रुपये की कथित तौर पर रिश्वत दी थी। सीबीआई के अलावा प्रवर्तन निदेशालय भी यस बैंक घोटाले के सिलसिले में दोनों भाइयों की संलिप्ता की इन्वेस्टीगेशन कर रहा है।
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