9वें दौर की वार्ता फेल: नहीं निकला कोई हल, अगली बैठक 19 जनवरी को

सरकार और किसान संगठनों की बैठक खत्म हो गई है। बता दें कि ये नौवें दौर की बातचीत थी। आज की बैठक भी बेनतीजा रही। अब 19 जनवरी को दोपहर 12 बजे सरकार और किसानों की फिर बैठक होगी।

SK Gautam
Published on: 15 Jan 2021 5:55 AM GMT
9वें दौर की वार्ता फेल: नहीं निकला कोई हल, अगली बैठक 19 जनवरी को
X
LIVE: तोमर बोले 'कानून वापस नहीं लेंगे, किसानों ने कहा- 'वापस तो लेने पड़ेंगे'

नई दिल्ली: कृषि कानून के विरोध में बैठे किसान संगठनों का आज 51वें दिन भी दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन जारी है। सुप्रीम कोर्ट, केंद्र सरकार के तीनों कृषि कानूनों के लागू करने पर रोक लगा चुका है, इसके बावजूद किसानों का धरना प्रदर्शन और तेज़ होता जा रहा है। सरकार और किसान संगठनों की बैठक खत्म हो गई है। बता दें कि ये नौवें दौर की बातचीत थी। आज की बैठक भी बेनतीजा रही। अब 19 जनवरी को दोपहर 12 बजे सरकार और किसानों की फिर बैठक होगी।

सरकार और किसान संगठनों की बैठक खत्म, नहीं निकला कोई हल

सरकार और किसान संगठनों की बैठक खत्म हो गई है। बता दें कि ये नौवें दौर की बातचीत थी। आज की बैठक भी बेनतीजा रही। अब 19 जनवरी को दोपहर 12 बजे सरकार और किसानों की फिर बैठक होगी।

कृषि मंत्री बोले- सरकार बातचीत से हल निकालना चाहती है

कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि कृषि कानूनों को लेकर सरकार और किसानों के बीच जारी बैठक में लंच ब्रेक के पहले तक कोई समाधान नहीं निकला। एमएसपी गारंटी पर चर्चा ब्रेक के बाद होगी। उन्होंने कहा कि सरकार किसानों के आंदोलन को लेकर सुप्रीम कोर्ट के आदेश का स्वागत करती है। सरकार कमेटी के सामने अपना पक्ष रखेगी। हम बातचीत से हल निकालना चाहते हैं।

किसानों और सरकार में कानून को लेकर ठनी

9वें दौर की बातचीत में सरकार और किसानों के बीच तीनों कानूनों को लेकर गतिरोध अभी बना हुआ है। कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि हम तीनों कानूनों को वापस नहीं लेंगे, लेकिन हम संशोधन करने को तैयार है। जबकि बैठक में किसानों ने सख्त रुख अपनाया और कहा कि तीनों कानून तो वापस लेने पड़ेंगे उससे कम हम मानेंगे नहीं।

kisan neta tikait-narendra singh tomar-2

बैठक में कृषि मंत्री की ओर से किसानों को गिनाया गया कि देश में बड़े स्तर पर किसान कानून के समर्थन में हैं, जबकि किसानों ने कहा कि फिर भी देशभर में प्रदर्शन हो रहा है। कृषि मंत्री के अलावा पीयूष गोयल ने भी बैठक में कृषि कानूनों से जुड़े फायदों को गिनाया।

हालांकि, अब किसानों की ओर से पंजाब में हुई छापेमारी, हरियाणा में किसानों पर लिए गए एक्शन का मसला उठाया गया। किसानों की मांग है कि सभी मुकदमे वापस लिए जाने चाहिए। अब बैठक में लंच के बाद एमएसपी पर चर्चा होनी है।

ये भी देखें: किसानों का बड़ा फैसला: 26 जनवरी को नहीं होगी ट्रैक्टर रैली, सूत्रों से आई ये खबर

किसान एक भी कदम आगे नहीं बढ़े हैं

केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किसानों ने बैठक में कहा कि किसान मीडिया में कहते हैं कि सरकार जिद पर अड़ी है, लेकिन हमने किसानों की बातें मान ली हैं। किसान एक भी कदम आगे नहीं बढ़े हैं। दूसरी ओर बैठक में पीयूष गोयल ने किसानों ने FCI से जुड़ी जानकारी दी। हालांकि, किसान लगातार बैठक में कानूनों को रद्द करने के मसले पर अड़े हुए हैं।

ram das aathwale

किसानों के मुद्दे पर बोले रामदास अठावले

केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने बयान दिया है कि देश के किसान नेता किसानों को तकलीफ दे रहे हैं, इस ठंड में उन्हें बर्बाद करने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि किसानों की आमदनी दोगुनी करना सरकार का मकसद है और ये कानून उसी से जुड़ा है।

सरकार किसान बिल में संशोधन करने को तैयार है और इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट का जो भी निर्णय आएगा केंद्र सरकार उसे मानेगी और किसानों को भी उनका निर्णय मानना चाहिए।

ये भी देखें: Delhi में मौत का तांडव: राख हो गए अमेजन कर्मचारी, लाशें भी पहचाना हुआ मुश्किल

कांग्रेस की ओर से किसान अधिकार दिवस

कृषि कानून के मसले पर कांग्रेस पार्टी आज एक बार फिर देशव्यापी प्रदर्शन कर रही है। कांग्रेस की ओर से किसान अधिकार दिवस मनाया जा रहा है, जिसके तहत दिल्ली में राजभवन को घेरने के लिए राहुल गांधी और प्रियंका गांधी वाड्रा की अगुवाई में कांग्रेस कार्यकर्ताओं का हुजूम रवाना हो गया है।

rahul priyanka in kisan protest

किसान संगठनों की मांग है कि तीनों कानून वापस लिए जाएं

सरकार के साथ बैठक में किसान संगठनों ने सरकार के प्रस्ताव को फिर से नकार दिया है। किसान संगठनों की मांग है कि तीनों कानून वापस लिए जाएं।दूसरी ओर सिख फॉर जस्टिस संगठन की ओर से चीफ जस्टिस बोबड़े को चिट्ठी लिखी गई है, जिसमें उन्होंने अपील की है कि किसानों को 26 जनवरी को केसरी ट्रैक्टर रैली निकालने से ना रोका जाए।

ये भी देखें: हादसे से मचा कोहराम: उड़ते हुए खाई में गिरी कार, युवकों की दर्दनाक मौत

टिकैत ने कहा- सुप्रीम कोर्ट का आदेश होगा तो नहीं निकालेंगे ट्रैक्टर रैली

किसान नेता राकेश टिकैत ने बयान दिया है कि अगर सुप्रीम कोर्ट कहेगा तो किसान अपनी रिपब्लिक डे वाली ट्रैक्टर परेड को वापस ले लेंगे। आपको बता दें कि किसानों ने कृषि कानून के खिलाफ 26 जनवरी को ट्रैक्टर रैली निकालने का ऐलान किया है, जो लालकिले तक होगी।

kisan neta tikait

विज्ञान भवन पहुंचे किसान नेता

-कृषि कानून के मसले पर किसान संगठनों और सरकार के बीच अब से कुछ देर में बातचीत शुरू होगी। किसान नेता विज्ञान भवन पहुंच चुके हैं। यहां किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार को इन तीन कानूनों को वापस लेना होगा और एमएसपी पर लिखित गारंटी देनी होगी।

-दूसरी ओर केंद्र सरकार की ओर से कषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी ने एक बार फिर उम्मीद जताई गई है कि आज की बातचीत के जरिए समाधान निकलेगा।

-किसान संगठनों के ग्रुप में शामिल किसान नेता अभिमन्यु का कहना है कि जब तक तीनों कानून रद्द नहीं होते हैं और एमएसपी गारंटी कानून नहीं बनता है, तबतक हमारा आंदोलन जारी रहेगा। जहां तक सुप्रीम की कमेटी का मामला है, उसमें तो वही लोग सदस्य बनाए गए हैं जो इन कानूनों के समर्थन करते रहे हैं।

12 बजे होनी है बैठक

किसान संगठनों और सरकार के बीच दोपहर 12 बजे विज्ञान भवन में बैठक होनी है। किसान नेता सिंघु बॉर्डर से थोड़ी देर में ही रवाना होंगे। आज ही किसानों के समर्थन में कांग्रेस का प्रदर्शन शुरू हो रहा है।

ये भी देखें: कल वैक्सीनेशन के साथ PM मोदी Co-Win App करेंगे लॉन्च, जानिए कैसे करेगा काम

भूपिन्दर सिंह मान हुए समिति से अलग

समिति के लिये शीर्ष अदालत ने भूपिन्दर सिंह मान के साथ शेतकरी संघटना के अध्यक्ष अनिल घनवट, दक्षिण एशिया के अंतरराष्ट्रीय खाद्य नीति एवं अनुसंधान संस्थान के निदेशक डॉ प्रमोद जोशी और कृषि अर्थशास्त्री अशोक गुलाटी के नामों की घोषणा की थी। जिसमें से ताज़ी जानकारी के अनुसार भूपिन्दर सिंह मान ने इस समिति से अपने आपको अलग कर लिया है और कहा है कि “मैं किसान संगठनों के समर्थन में खड़ा हूं।

bhupindar-singh-man

दोस्तों देश दुनिया की और खबरों को तेजी से जानने के लिए बनें रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलों करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।

SK Gautam

SK Gautam

Next Story