×

RSS प्रमुख मोहन भागवत ने पूरे किए 70 साल, तीन पीढ़ी से संघ से जुड़ा है परिवार

राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) के सर संघ चालक मोहन मधुकरराव भागवत आज अपना 70वां जन्मदिन मना रहे हैं। बता दें कि भागवत परिवार का RSS से तीन पीढ़ी पुराना नाता है।

Shreya
Published on: 11 Sep 2020 7:34 AM GMT
RSS प्रमुख मोहन भागवत ने पूरे किए 70 साल, तीन पीढ़ी से संघ से जुड़ा है परिवार
X
RSS प्रमुख मोहन भागवत ने पूरे किए 70 साल, तीन पीढ़ी से संघ से जुड़ा है परिवार

नई दिल्ली: राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) के सर संघ चालक मोहन मधुकरराव भागवत आज अपना 70वां जन्मदिन मना रहे हैं। माधवराव सदाशिव गोलवलकर के बाद मोहन भागवत ही संघ के सबसे जवान सरसंघचालक के तौर पर जाने जाते हैं। भागवत ने साल 2009 में महज 59 की उम्र में संघ की कमान संभाली थी। भागवत बीते 11 सालों से संघ का नेतृत्व कर रहे हैं।

परिवार का RSS से तीन पीढ़ी पुराना नाता

आपको बता दें कि भागवत परिवार का RSS से तीन पीढ़ी पुराना नाता है। मोहन भागवत के दादा नारायण भागवत राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के संस्थापक केशव बलिराम हेडगेवार के सहपाठी थे। जब 1925 में संघ की स्थापना हुई, उसके बाद भागवत इस संघ से जुड़ गए। नारायण भागवत के बेटे मधुकर भागवत भी संघ से जुड़े हुए थे और उन्होंने RSS के प्रचारक के तौर पर काम किया। बता दें कि पेशे से मोहन भागवत के पिता और दादा दोनों वकील थे।

यह भी पढ़ें: गांव में बही खून की नदियां: पत्नी, बेटी और बेटे की बेरहमी से हत्या, परिवार में मातम

RSS chief Mohan Bhagwat Mohan Bhagwat आज मना रहे अपना 70वां जन्मदिन (फोटो- सोशल मीडिया)

11 सितम्बर 1950 को हुआ मोहन भागवत जन्म

मोहन भागवत की बात की जाए तो भागवत का जन्म 11 सितम्बर 1950 को महाराष्ट्र के सांगली में हुआ था। उन्होंने अपनी 12वीं तक की पढ़ाई चंद्रपुर से की। उसके बाद मोहन ने अकोला के डॉ. पंजाबराव देशमुख वेटनरी कॉलेज में अपना एडमिशन करा लिया। पढ़ाई पूरी हो जाने के बाद उन्होंने चंद्रपुर में ही एनिमल हसबेंडरी विभाग में वेटनरी ऑफिसर के रूप में नौकरी शुरू कर दी।

यह भी पढ़ें: नड्डा टटोलेंगे बिहार की नब्ज: शुरू की तैयारी, आज करेंगे ये काम

इमरजेंसी के दौरान बने संघ के प्रचारक

जब देश में 1975 में आपातकाल लागू किया गया तो भागवत के माता-पिता को भी जेल में डाल दिया गया। इसी दौरान भागवत ने भी संघ के प्रचारक के रूप में काम किया। वो इमरजेंसी के दौरान अज्ञातवास में रहे। दो साल बाद यानी 1977 के बाद भागवत ने RSS में तेजी से तरक्की की। 1991 में उन्हें RSS में अखिल भारतीय शारीरिक प्रमुख का कार्यभार मिला। इस पद पर वो आठ सालों (1999 तक) तक रहे।

यह भी पढ़ें: कंगना के समर्थन में पूरा कुल्लू: हिमाचल प्रदेश में BJP का धरना प्रदर्शन, दर्ज हुई FIR

Mohan Bhagwat RSS प्रमुख मोहन भागवत ने पूरे किए 70 साल (फोटो- सोशल मीडिया)

सरकार्यवाह तक का सफर

साल 2000 में तत्कालीन सर संघ चालक रज्जू भैया और सर कार्यवाह वीएन शेषाद्री ने स्वास्थ्य कारणों के चलते अपना पद छोड़ दिया। इसके बाद के.एस. सुदर्शन को नया सर संघ चालक चुना गया। दूसरी ओर सरकार्यवाह के लिए मदन दास देवी और मोहन भागवत के नाम पर विचार चल रहा था। लेकिन मोहन भागवत सरकार्यवाह के तौर पर चुना गया। बता दें कि सरसंघचालक के बाद सरकार्यवाह का पद संघ में बेहद खास है। सर कार्यवाह को अगला उत्तराधिकारी माना जाता है।

यह भी पढ़ें: घाटी में हिंसक झड़प: सामने आया वीडियो, सैनिक हाथ-पैर और डंडों से मारपीट करते हुए

संघ प्रमुख बनते ही बीजेपी का किया कायाकल्प

इसके बाद 21 मार्च 2009 को अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की बैठक में मोहन भागवत संघ का सरसंघचालक बनाया गया। के.एस. सुदर्शन ने स्वास्थ्य कारणों के चलते सरसंघचालक पद छोड़ रहे थे। सरसंघचालक बनते ही भागवत ने सर्वप्रथम भारतीय जनता पार्टी का कायाकल्प किया। नितिन गडकरी की बीजेपी के अध्यक्ष के तौर पर ताजपोशी हुई। फिर संघ ने 2013 में गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी की प्रधानमंत्री पद की उम्मीदवारी को सहमति दी।

यह भी पढ़ें: रिया को झटका: कोर्ट ने सुनाया फैसला, अब जेल में गुजरेगी हर रात

दोस्तों देश दुनिया की और खबरों को तेजी से जानने के लिए बनें रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलों करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।

Shreya

Shreya

Next Story