Gandhi Jayanti 2 October: महात्मा गांधी के जीवन और सिद्धांतों को दर्शाती हैं कई फिल्में, आइए जानें
Gandhi Jayanti 2 October 2022: महात्मा गांधी के जीवन और सिद्धांतों (Mahatma Gandhi) के बारे में जिन लोगों ने नहीं पढ़ा हैं। उनके लिए कई फिल्में बनाई गई हैं, जिन्हें देखकर महात्मा गांधी और उनके विचारों को जान सकते हैं।
Gandhi Jayanti 2 October 2022: मोहनदास करमचंद गांधी का जन्म 2 अक्टूबर, 1869 को गुजरात के पोरबंदर में हुआ था। भारत देश को आज़ादी दिलाने में महात्मा गांधी के अहम योगदान को शायद ही कोई भारतीय भुला सके। गांधी जी को सभी प्यार से बापू कहते थे, बापू यानी पिता। पिता जो हमारा मार्गदर्शक भी होता है। हमारी गलतियों को सुधारता भी है। हमारे बापू भी कुछ ऐसे ही थे। सत्य और अहिंसा की लाठी पकड़कर देश को आज़ादी के लिए प्रेरित करते हुए मार्गदर्शन भी दिया। जो लोग गलत तरीके से आज़ादी के लिए आवाज़ उठा रहे थे, उनकी गलतियों को भी सुधारा। आज के समय में सिर्फ हमारा देश ही नहीं बल्कि समूचा विश्व महात्मा गांधी के विचारों को मानता और अपनाता है। गांधी जी ने देश वासियों के भीतर आज़ादी की ललक जगाने के लिए "करो या मरो" का नारा दिया।
आइए आज हम गांधी जयंती के उपलक्ष्य पर महात्मा गांधी के जीवन और विचारों पर आधारित कुछ ऐसी फिल्मों के बारे में जानेंगे जिसे हर भारतीय को देखना चाहिए-
1. गांधी (1982)
अकादमी अवार्ड ऑस्कर विजेता यह फिल्म महात्मा गांधी के जीवन पर आधारित है। इस फिल्म में गांधी का किरदार मशहूर ब्रिटिश कलाकार बेन किंग्सले द्वारा निभाया गया। इस फिल्म को मशहूर हॉलीवुड निर्देशक रिचर्ड अटेनबोरो ने निर्देशित किया था।इस फिल्म के लिए भानु आथिया द्वारा जीता गया सर्वश्रेष्ट परिधान डिज़ाइनर का ऑस्कर किसी भारतीय द्वारा जीता गया पहला ऑस्कर था।
2. द मेकिंग ऑफ महात्मा गांधी (1996)
प्रख्यात भारतीय फिल्म निर्देशक श्याम बेनेगल की इस फिल्म में महात्मा गांधी के दक्षिण अफ्रीका से लेकर भारत की आज़ादी के आंदोलन में उतरने की कहानी दिखाई गयी है। इस फिल्म में अभिनेता रजित कपूर ने गांधी जी का किरदार निभाया था। यह फिल्म लेखिका फातिमा मीर की पुस्तक "द अप्रेंटिसशिप ऑफ महात्मा" पर आधारित है।
3. हे राम (2000)
अनुभवी कलाकार,निर्माता और निर्देशक कमल हासन की यह फिल्म आज़ादी के बाद देश के बंटवारे और महात्मा गांधी की हत्या पर आधारित है। इस फिल्म में महात्मा गांधी का किरदार मशहूर अभिनेता नसीरुद्दीन शाह ने निभाया है तथा कमल हासन ने साकेत राम नामक एक हिन्दू कट्टरपंथी का किरदार निभाया है। व्यावसायिक रूप से इस फिल्म को ज़्यादा सफलता नहीं मिली । लेकिन ऑस्कर में इसे सर्वश्रेष्ट विदेशी भाषा फ़िल्म 2000 के लिए नामित किया गया था।
4. लगे रहो मुन्नाभाई (2006)
राजकुमारी हिरानी निर्देशित इस फिल्म के मुख्य खरीदार संजय दत्त हैं। यह फिल्म ना तो स्वतंत्रता आंदोलन पर केंद्रित है और ना ही गांधी जी के जीवन पर, इस फिल्म का मूल उद्देश्य सिर्फ दर्शकों और देशवाशियों को गांधी जी के आदर्शों और उसूलों से परिचित करवाना है। इस फिल्म में सत्य और अहिंसा जैसे गांधी जी के सिद्धांतों को केंद्र में रखा गया है । दर्शाया गया है कि कैसे आज के समय में भी गांधी जी के विचारों की उतनी ही अहमियत है जितनी गांधी जी के समय में थी। फिल्म में गुंडे का किरदार निभा रहे संजय दत्त गांधी जी की आत्मा से बात करते हैं , उनके सिद्धांतों पर चलते हुए समस्याओं को आसानी से सुलझाते हैं। इस फिल्म के द्वारा दुनिया को एक नया शब्द दिया है जिसे आजकल लोग "गांधीगिरी" कहते हैं।
5. गांधी मॉय फादर (2007)
महात्मा गांधी के जीवन पर आई अन्य फिल्मों से यह फिल्म काफी अलग है। इस फिल्म में महात्मा गांधी और उनके बड़े बेटे हरिलाल गांधी के बीच आपसी संबंधों और विचारों में भिन्नता को दर्शाया गया है। इस फिल्म में मुख्यता गांधी जी के व्यक्तिगत जीवन के बारे में दर्शाया गया है। मशहूर बॉलीवुड अभिनेता अनिल कपूर इस फिल्म के निर्माता हैं।