Diabetes: डायबिटीज पेशेंट के लिए खास, जानिए क्या करना है क्या नहीं करना

Diabetes: कामख्या हॉस्पिटल के सीनियर डॉक्टर जेपी पांडेय से डायबिटीज को लेकर सवाल जवाब किए आप भी जानिए क्या कहा डॉक्टर ने..

Report :  Rishi Bharadwaj
Published By :  Vidushi Mishra
Update:2022-04-30 12:27 IST

डायबिटीज (फोटो-सोशल मीडिया)

Diabetes: आज सुबह हमारे एक मित्र मिले हट्टे कट्टे हुआ करते थे पिछली मुलाकात तक। आज मिले तो पतले से नजर आए। हमने पूछ लिया ये क्या हाल बना लिए हो? मित्र उदासी के साथ बोले डायबिटीज हो गई है। हमने पूछ लिया मित्र टेंशन में क्यों हो इलाज कराओ सब सही हो जाएगा। फीकी हंसी के साथ बोले लाइलाज है। कुछ नहीं हो सकता है। हमें यकीन नहीं हुआ उनकी बात पर। इसके बाद हमने कामख्या हॉस्पिटल के सीनियर डॉक्टर जेपी पांडेय से डायबिटीज को लेकर सवाल जवाब किए आप भी जानिए क्या कहा डॉक्टर ने..

कामख्या हॉस्पिटल के सीनियर डॉक्टर जेपी पांडेय (फोटो-सोशल मीडिया)

सवाल : क्यों होती है डायबिटीज, शुगर और मधुमेह?

जवाब : पैंक्रियाज शरीर में इंसुलिन हॉर्मोन बनाता है। इसका काम ये होता है कि ये हॉर्मोन ब्लड में ग्लूकोज की मात्रा को नियंत्रित रखता है। पैंक्रियाज जब इंसूलिन कम बनाता है या बनाना बंद कर देता है तो ब्लड में ग्लूकोज बढ़ने लगता है और ये ही डायबिटीज बन जाता है। इसे ही आम बोलचाल की भाषा में शुगर व आयुर्वेद में मधुमेह कहते हैं।

सवाल : कितना खतरनाक है डायबिटीज?

जवाब : ग्लूकोज जब ब्लड में अधिक होने लगता है, तो रेड ब्लड सेल घाव भरने का काम नहीं कर पाती है। वहीँ वाईट ब्लड सेल जो शरीर को बीमारी से बचाती है वो भी अच्छे से काम नहीं करती है। इससे मरीज जल्दी जल्दी बीमार होने लगता है। और सही होने में भी समय लगता है।

सवाल : क्या बदलाव देखने को मिलते हैं?

जवाब : शुगर के मरीजों में हाई ब्लड प्रेशर की समस्या होने लगती है। ग्लूकोज जब ब्लड में अधिक होता है तो ब्लड गाढ़ा हो जाता है। इसे पंप करने में हार्ट को अधिक ताकत लगानी पड़ती है।

इसके साथ ही स्किन पर जलन, इंफेक्शन और डार्क पैचेज बनने लगते हैं। रेटिना कमजोर होने से पीड़ित की आखों की रोशनी कम होने लगती है।

किडनी फिल्टर करना कम कर देती है। जिससे पीड़ित को जल्दी पेशाब होने लगता है।

पीड़ितों के जॉइंट्स टिश्यूज में यूरिक एसिड बढ़ जाता है। इससे गाउट और आर्थराइटिस की समस्या होने लगती है।

वजन भी गिरने लगता है।

सवाल : क्या कई तरह की होती है डायबिटीज ?

जवाब : जी हां ! टाइप-1 और टाइप-2 ये दो प्रकार हैं डायबिटीज के। टाइप-1 अनुवांशिक होती है। वहीँ बिगड़ी लाइफस्टाइल और खाने पीने से जो होती है उसे टाइप-2 कहा जाता है।

सवाल : क्या डायबिटीज ठीक हो सकती है?

जवाब : ये लाइलाज बिमारी है। पीड़ित को जीवन भर संयम से रहना होता है। डॉक्टर के कहे मुताबिक लाइफस्टाइल और खाने पीने में बदलाव करना चाहिए।

सवाल : डायबिटीज रोगी क्या खाएं क्या नहीं ?

जवाब : सुबह पानी के साथ आधा चम्मच मेथी पाउडर पीना चाहिए। भीगे जौ का पानी सुबह छानकर पिए। शुगर फ्री ग्रीन टी, बेक्ड स्नैक्स, रोटी, दाल, सब्जी, दही सलाद खा सकते हैं। इसके साथ ही करेले और टमाटर को भोजन का हिस्सा बनाए। इसके साथ ही चीनी, शरबत, आम, मिठाई, अंगूर, चावल, और आलू नहीं खाना है।

सवाल : कैसे कम कर सकते हैं शुगर के खतरे को ?

जवाब : तुलसी, मीठी तुलसी, जैतून के पत्ते, शलजम के पत्ते और गुड़मार के पत्ते चबाने से शुगर के खतरे को कम किया जा सकता है।

सवाल : विस्तार से बताईए ये पत्ते कैसे खतरे को कम करते है?

जवाब : मीठी तुलसी जिसे हम स्टेविया कहते हैं। इसके पत्ते खाने से लगभग दो घंटे में ब्लड शुगर लेवल कम होने लगता है। इसी तरह जैतून के पत्ते खाने से इंसुलिन रेसिस्टेंट सही होता है। शलजम के पत्तों की बात करें तो इसके सेवन से लिपिड, इंसुलिन और ब्लड शुगर का लेवल सही रहता है। गुड़मार के पत्ते का सेवन करने से भी ब्लड शुगर लेवल में कमी आती है। तुलसी के पत्ते खाने से हाई ब्लड शुगर में राहत मिलती है।

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