How to file PIL: दाखिल करना चाहते हैं जनहित याचिका, जानिए क्या होती है प्रक्रिया
How to file Public interest litigation : निजी हित के मामलों को छोड़ ऐसा कोई भी मामला जो सार्वजनिक रूप से लोगों को प्रभावित करता है उसे लेकर भारतीय नागरिक पीआईएल दाखिल कर सकता है।
How to file PIL : आपने खबरों में बहुत बार सुना होगा किसी राजनेता, सामाजिक कार्यकर्ता या किसी आम नागरिक ने सुप्रीम कोर्ट अथवा हाई कोर्ट में कोई जनहित याचिका दायर किया हो या फिर ऐसा मौका जरूर आता होगा जब आप अपने आसपास के घटित हो रहे घटनाओं से परेशान हो और मन में ख्याल आता हो कि क्यों ना जनहित याचिका दायर कर इस मामले को कोर्ट के सामने पेश किया जाए। बता दें अपने मूल अधिकारों के रक्षा के लिए आप अनुच्छेद 226 तथा अनुच्छेद 32 के तहत देश के हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में अपनी जनहित याचिका दायर कर सकते हैं। आइए जानते हैं जनहित याचिका दायर करने की प्रक्रिया क्या होती है।
कैसे दाखिल करें जनहित याचिका (How to File Public Interest Litigation)
आप सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट में एक पत्र लिखकर जनहित याचिका दायर कर सकते हैं। इसके लिए आपको अपने पत्र में आसान शब्दों में और स्पष्ट रूप से या लिखना होगा कि आखिर आप जिस मामले के बारे में कोर्ट को लिख रहे हैं वह आमजन को किस तरह प्रभावित कर रही है। यानी कि यह मामला जनहित से कैसे और कितना जुड़ा है। यदि इस मामले से जुड़ा कोई भी सबूत आपके पास है तो जनहित याचिका के लिए लिखे गए पत्र के साथ उसे भी संलग्न कर कोर्ट में जरूर भेजें इससे आप की याचिका को मजबूती मिलेगी। जनहित याचिका दायर करने के लिए आप किसी वकील से सहायता ले सकते हैं वकील आपको जनहित याचिका का ड्राफ्ट तैयार करने में मदद कर सकता है। इसके अलावा आप खुद भी एक पत्र हाई कोर्ट अथवा सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस के नाम से भेज सकते हैं। बता दें जनहित याचिका दायर करने के लिए फिलहाल भारतीय न्याय व्यवस्था में कोई ऑनलाइन सुविधा नहीं उपलब्ध है। अतः इसे आप खुद पत्र लिखकर या किसी वकील के जरिए ही दाखिल कर सकते है।
पीआईएल दायर करने में कितना शुल्क लगता है (Fees for PIL)
सुप्रीम कोर्ट तथा देश के किसी भी हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करना किसी अन्य अदालती मुकदमों के मुकाबले काफी कम खर्चीला माना जाता है। जनहित याचिका दायर करते हुए आपको 50 रुपये का शुल्क प्रत्येक प्रतिवादी के लिए जमा करना पड़ता है। हालांकि याचिका दायर करने तथा उस पर सुनवाई की प्रक्रिया में कितना खर्च लगता है यह आपके वकील के ऊपर निर्भर करता है।
पीआईएल सुनवाई में कितना समय लग सकता है?
जनहित याचिका की मामलों पर सुनवाई में कोई निश्चित समय नहीं है। सुनवाई में समय इस बात पर निर्भर करता है कि याचिका कौन से मामले से जुड़ा दायर किया गया है। यदि मामला कोई सामान्य है तो इसका निपटारा जल्द ही हो जाता है मगर यदि मामला किसी अति गंभीर मुद्दे से जुड़ा हुआ है तो ऐसे मामलों की सुनवाई में काफी वक्त लग सकता है। हालांकि अब तक के आंकड़ों को देखें तो देश में दायर ज्यादातर जनहित याचिकाओं की सुनवाई में कई साल का समय लग गया है।
कैसे मुद्दों पर नहीं दायर कर सकते हैं पीआईएल?
जनहित याचिका दायर करने के संबंध में सुप्रीम कोर्ट की ओर से एक दिशा निर्देश जारी की गई है जिसमें बताया गया है कि किन मामलों को लेकर जनहित याचिका नहीं दायर किया जा सकता है।
1. सेवाओं से संबंधित मामले में पीआईएस नहीं दाखिल किया जा सकता है।
2. ग्रेच्युटी तथा पेंशन से जुड़े किसी भी मामले को लेकर पीआईएल नहीं दाखिल किया जा सकता है।
3. मकान मालिक तथा किराएदार से जुड़े किसी भी मामले को लेकर कोर्ट में पीआईएल नहीं दायर कर सकते हैं।
4. कोई ऐसा मामला जो पहले से ही देश के किसी अदालत में चल रहा हो उसे लेकर जनहित याचिका नहीं दायर किया जा सकता है।
5. किसी भी शैक्षणिक संस्थान में प्रवेश से संबंधित मामले को लेकर पीआईएल नहीं दायर कर सकते हैं।