Maharashtra Politics: EVM से कनेक्ट था NDA उम्मीदवार के रिश्तेदार का मोबाइल, FIR दर्ज, जानें पूरा मामला

Maharashtra Politics: वनराई पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ निरीक्षक रामपियारे राजभर ने कहा कि हम यह भी जांच कर रहे हैं कि मोबाइल फोन का इस्तेमाल किसी और कारण से तो नहीं किया गया था। हमने अन्य उम्मीदवारों के बयान दर्ज कर लिए हैं और आरोपी मंगेश पंडिलकर और मतदान कर्मी दिनेश गुरव को नोटिस भी भेजा गया है।

Report :  Jugul Kishor
Update:2024-06-16 15:15 IST

प्रतीकात्मक तस्वीर (सोशल मीडिया)

Maharashtra Politics: मुंबई की उत्तर पश्चिम लोकसभा क्षेत्र का नतीजा विवादों में है। इस सीट पर शिवसेना शिंदे उम्मीदवार रवींद्र वायकर ने ठाकरे उम्मीदवार अमोल कीर्तिकर को महज 48 वोटों से हराया। अमोल कीर्तिकर समेत निर्दलीय उम्मीदवारों ने आरोप लगाया है कि वोटों की गिनती के दौरान गड़बड़ी हुई है। अमोल कीर्तिकर ने वोटों की गिनती पर आपत्ति जताते हुए चुनाव आयोग और कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। वहीं इस मामले में रवींद्र वायकर के मंगेश पंडिलकर और दो अन्य के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है। वायकर के एक रिश्तेदार ने बिना अनुमति के मतगणना कक्ष में मोबाइल फोन का इस्तेमाल किया। इसके लिए चुनाव कर्मी ने उन्हें मोबाइल फोन उपलब्ध कराया था। इसके बाद मिली शिकायत के आधार पर दोनों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है।

मामला दर्ज होने के बाद पुलिस की जांच में खुलासा हुआ है कि मंगेश पंडिलकर ईवीएम मशीन से जुड़े फोन का इस्तेमाल कर रहे थे। पुलिस ने आगे कहा कि इस मोबाइल फोन का इस्तेमाल ईवीएम मशीन को अनलॉक करने वाले ओटीपी को जनरेट करने के लिए किया गया था। वनराई पुलिस ने चुनाव आयोग के मतदान कर्मी दिनेश गुरव के साथ मंगेश पंडिलकर को नोटिश भेजा गया है।

शिवसेना शिंदे सांसद रवींद्र वायकर (Pic: Social Media)

लैब भेजा गया फोन

पुलिस ने मोबाइल फोन की जांच के लिए फॉरेंसिक लैब भेज दिया है, ताकि मोबाइल फोन का डेटा मिल सके। साथ ही फोन पर मौजूद फिंगर प्रिंट भी लिए जा रहे हैं। पुलिस अधिकारियों के अनुसार यह घटना 4 जून को मुंबई उत्तर पश्चिम लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र के लिए वोटों की गिनती के दौरान एक केंद्र पर हुई।

अमोल कीर्तिकर (Pic: Social Media)

क्या बोले पुलिस अधिकारी?

वनराई पुलिस स्टेशन के वरिष्ठ निरीक्षक रामपियारे राजभर ने कहा कि हम यह भी जांच कर रहे हैं कि मोबाइल फोन का इस्तेमाल किसी और कारण से तो नहीं किया गया था। हमने अन्य उम्मीदवारों के बयान दर्ज कर लिए हैं और आरोपी मंगेश पंडिलकर और मतदान कर्मी दिनेश गुरव को नोटिस भी भेजा गया है, उन्हें जांच के लिए पुलिस स्टेशन आना होगा। अभी तक वो जांच में सहयोग कर रहे हैं, लेकिन अगर वो आगे सहयोग नहीं करेंगे तो हम गिरफ्तारी वारंट जारी करेंगे।

केवल 48 वोट से जीते रवींद्र वायकर

इस लोकसभा चुनाव में मुंबई उत्तर पश्चिम लोकसभा सीट से रविंद्र वायकर ने शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुट) और महाविकास अघाड़ी के उम्मीदवार अमोल कीर्तिकर को महज 48 वोट से हराया था। इस सीट पर पहले कीर्तिकर को एक वोट से विजयी घोषित किया गया था, लेकिन रीकाउंटिंग करने पर वायकर 48 वोट से जीत गए। रविंद्र वायकर को 4 लाख 52 हजार 644 वोट मिले हैं। वहीं उद्धव गुट के उम्मीदवार अमोल कीर्तिकर को 4 लाख 52 हजार 596 वोट मिले हैं।

रविंद्र वायकर और अमोल कीर्तिकर

सपा अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया प्लेटफार्म एक्स पर लिखा कि ‘टेक्नॉलजी’ समस्याओं को दूर करने के लिए होती है, अगर वही मुश्किलों की वजह बन जाए, तो उसका इस्तेमाल बंद कर देना चाहिए। आज जब विश्व के कई चुनावों में EVM को लेकर गड़बड़ी की आशंका ज़ाहिर की जा रही है और दुनिया के जाने-माने टेक्नोलॉजी एक्सपर्ट्स EVM में हेराफेरी के ख़तरे की ओर खुलेआम लिख रहे हैं, तो फिर EVM के इस्तेमाल की ज़िद के पीछे की वजह क्या है, ये बात भाजपाई साफ़ करें। आगामी सभी चुनाव बैलेट पेपर (मतपत्र) से कराने की अपनी माँग को हम फिर दोहराते हैं।

प्रियंका चुतर्वेदी ने उठाए सवाल

इस मामले को लेकर शिवसेना (उद्धव ठाकरे गुट) की सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने अपने सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा कि कि यह बड़े स्तर पर की गई धोखाधड़ी है, लेकिन फिर भी चुनाव आयोग सोता रहता है। हेरफेर करने वाले विजेता सांसद का रिश्तेदार मतगणना केंद्र पर एक मोबाइल फोन लेकर गया था, जिसमें EVM मशीन को अनलॉक करने की क्षमता थी। अगर भारतीय चुनाव आयोग ने इसमें हस्तक्षेप नहीं किया, तो यह चंडीगढ़ मेयर चुनाव के बाद सबसे बड़ा चुनाव रिजल्ट घोटाला होगा और यह लड़ाई अदालत में जाएगी।  


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