महागठबंधन सीटों का बंटवारा आखिरी दौर में, BSP को होगा सब से ज्यादा फायदा

Update:2018-07-13 10:08 IST

शारिब जाफरी

लखनऊ : लोकसभा चुनाव 2019 को लेकर महागठबंधन के बीच सीटों के बटवारे को लेकर बातचीत आखिरी दौर में है। सीटों के बटवारे में बहुजन समाज पार्टी सब से ज़्यादा 38 सीटों पर चुनाव लड़ने की तैयारी कर रही है। जबकि समाजवादी पार्टी को 30 सीटों पर ही संतोष करना पड़ सकता है। गठबंधन में काँग्रेस बमुश्किल दहाई के आँकड़े तक पहुँच सकती है। 2014 के लोकसभा चुनाव और 2017 के विधान सभा चुनावों में खराब प्रदर्शन के बावजूद गठबंधन में सब से ज़्यादा फायदा बसपा का होना तय है। सीटों के बटवारे में कैराना और बागपत सीट राष्ट्रीय लोक दल के खाते में जा सकती है। गठबंधन में शामिल सभी दलों के मुखिया भी चुनावी मैदान में होंगे।

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2014 के आम चुनावों में खाता नहीं खोल पाने वाली बहुजन समाज पार्टी का 2017 के विधान सभा चुनावों में भी प्रदर्शन बेहद खराब रहा। पार्टी 2012 के 80 सीटों के मुक़ाबले महज़ 19 सीटों पर सिमट गई थी। बावजूद इस के गठबंधन में बसपा को सब से ज़्यादा फायदा होने जा रहा है। लोक सभा की 80 सीटों में से 38 सीटों पर बसपा ने अपना दावा ठोक दिया है। बातचीत के दौरान समाजवादी पार्टी 30 सीटों पर संतोष कर सकती है। सपा 2012 के विधान सभा चुनावों में मिली 224 सीटों के मुक़ाबले सपा 2017 के विधान सभा चुनाव में 47 सीट जीत सकी थी। 2014 के लोक सभा चुनाव की अगर तुलना की जाए तो बसपा जहां खाता नहीं खोल सकी थी। वहीँ समाजवादी पार्टी कन्नौज, फ़िरोज़ाबाद, आज़मगढ़, इटावा और मैनपुरी सीट जीतने में सफल हुई थी। सपा के बाद काँग्रेस रायबरेली और अमेठी सीट जीती थी।

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2014 के लोक सभा चुनावों और 2017 के विधान सभा चुनावों में जीती सीटों और मिले मतों के प्रतिशत के विपरीत बहजन समाज पार्टी गठबंधन के दूसरे दलों के मुक़ाबले फायदे में रहेगी। सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव के त्याग वाले बयान के बाद बसपा मुखिया मायावती ने गठबंधन में सीटों के बंटवारें के बढ़त बना ली है। पार्टी ने 38 सीटों पर अपना दावा ठोका है। बसपा ने अधिकतर उन्ही सीटों पर दावा ठोका हैं जहाँ मुस्लिम दलित विनिंग कॉम्बिनेशन सॉलिड है। जिन सीटों पर बसपा ने दावा ठोंका है। उन में शाहजहांपुर, अम्बेडकरनगर, बिजनौर, सीतापुर, भदोही, फतेहपुर, बाँदा, मुज़फ्फरनगर, मेरठ, ग़ाज़ियाबाद, बुलन्दशहर, अलीगढ, हाथरस, मथुरा, आगरा, लखीमपुर खीरी, हरदोई, मिश्रिख, मोहनलालगंज, प्रतापगढ़, अकबरपुर, जालौन, बाँदा, फतेहपुर, डुमरियागंज, संतकबीरनगर, महाराजगंज, देवरिया, बासगावं, घोसी, सलेमपुर, जौनपुर, मछलीशहर, चंदौली, मिर्ज़ापुर और राबर्ट्सगंज से बसपा उम्मीदवार अपनी क़िस्मत आज़मायेंगे। किसी भी क़ीमत पर गठबन्धन के साथ चुनाव लड़ने के मक़सद से समाजवादी पार्टी ने लगभग सहमति भी जता दी है।सपा गठबंधन में 30 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है। सपा के खाते में नगीना, मुरादाबाद, रामपुर, संभल, अमरोहा, गौतमबुद्धनगर, एटा, बदायूं, आवँला, बरेली, पीलीभीत, उन्नाव, इटावा, कन्नौज, हमीरपुर, कौशाम्बी, फूलपुर, गोरखपुर, आज़मगढ़, इलाहाबाद, फैज़ाबाद, बहराइच, कैसरगंज, श्रावस्ती, गोण्डा, बस्ती, लालगंज, बलिया, ग़ाज़ीपुर और वाराणसी सीट आ सकती है।

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जबकि काँग्रेस के खाते में 10 सीटें आ सकती हैं। हालांकि काँग्रेस 15 सीटों पर पर दावा ठोंक रही है। गठबंधन में काँग्रेस कोरायबरेली, अमेठी, सुल्तानपुर, कानपुर, बाराबंकी, धहरौरा, सहारनपुर, कुशीनगर, झाँसी, फरुखाबाद और फतेहपुर सीकरी सीट देने पर सहमति बन गई है। जबकि काँग्रेस वाराणसी और मेरठ समेत 5 और सीटों पर दावा ठोक रही है। काँग्रेस आला कमान की तरफ से सुल्तानपुर से अमिता सिंह, कानपुर से श्रीप्रकाश जायसवाल, बाराबंकी से पीएल पुनिया, धहरौरा से जितिन प्रसाद, कुशीनगर से आर पी एन सिंह, झाँसी से प्रदीप जैन आदित्य, फरुखाबाद से सलमान खुर्शीद और फतेहपुर सीकरी से काँग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर को चुनावी तैयारियों में जुटने को कहा गया है। जबकि अमेठी से राहुल गाँधी और रायबरेली से सोनिया गाँधी चुनाव लड़ेंगी।

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गठबंधन के सभी दलों के मुखिया चुनावी मैदान में होंगे। काँग्रेस अध्यक्ष राहुल गाँधी अमेठी से मैदान में होंगे तो समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव कन्नौज से चुनावी मैदान में होंगे। इस सीट से डिम्पल यादव सपा साँसद हैं। बसपा सुप्रीमो मायावती भी लोकसभा चुनाव मे मैदान में होंगी। पार्टी कार्यकर्ताओं में जोश भरने की रणनीति के तहत मायावती अम्बेडकरनगर या फिर बिजनौर से अपनी क़िस्मत आज़मा सकती हैं।

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