डिप्टी सीएम का दावा- दिल्‍ली से भेजी पाई-पाई पहुंचती है यूपी के गरीब की जेब में

Update: 2018-09-14 16:25 GMT
गुजरात चुनाव से पता चलेगा ! कौन नेता 'जबरदस्त' कौन 'जबरदस्ती' : केशव

लखनऊ: विपक्षी दल एक साथ लोकतंत्र बचाने की छद्म दुहाई देकर मोदी विरोधी ऐजन्डे को लगातार हवा दे रहे हैं। भ्रष्टाचारी व्यवस्था को बदलने का जो बीड़ा मोदी सरकार ने उठाया है। उससे इन सभी को लगातार कष्ट हो रहा है। किसी को अपना जातिगत साम्राज्य बचाना है तो किसी को अपना आर्थिक साम्राज्य बचाना है। अब दिल्ली से यदि किसी गरीब के लिए एक रूपया चलेगा तो उसे पूरा-पूरा एक रूपया मिल रहा है। डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्या ने राजधानी के विश्वशरैया हाल में आयोजित पिछड़ा वर्ग मोर्चा के सामाजिक प्रतिनिधि सम्मेलन में शुक्रवार को यह बात कही।

सपा-कांग्रेस केवल कुछ का साथ-कुछ का कर रहीं विकास

केशव मौर्या ने कहा कि सपा-बसपा-कांग्रेस ‘कुछ का साथ-कुछ का विकास’ के सिद्धान्त पर हमेशा से काम करती रही हैं। जनता ने इस तिकड़ी को नकार दिया। जबकि भाजपा ‘सबका साथ-सबका विकास’ की नीति पर काम कर रही है। उन्होंने कहा कि मात्र दो सांसदों से भाजपा का राजनैतिक सफर शुरू हुआ जो आज विश्व की सबसे बड़ी पार्टी तक पहुंचा है। सबसे अधिक सांसद, विधायक, नगर निगम के अध्यक्ष और पार्षद से होते हुए पंचायत तक अपने कार्यकर्ताओं को सामाजिक प्रतिनिधि के रूप में पाते हैं। भाजपा में ही संभव है कि एक सामान्य कार्यकर्ता पार्टी अध्यक्ष, प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री बन सकता है। दूसरी ओर समाजवादी पार्टी, कांग्रेस, बसपा, लोकदल में कुछ भी होने के लिए आप को परिवार का सदस्य होना पडता है, यह कितना हास्यापद और पीड़ादायक है, इसे एक राजनैतिक कार्यकर्ता ही समझ सकता है।

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