केरल के राज्यपाल के साथ अभद्रता, यूजर्स ने इतिहासकार हबीब को किया जमकर ट्रोल
केरल के राज्यपाल आरिफ मुहम्मद खान के साथ कन्नूर विश्वविद्यालय में एक कार्यक्रम के दौरान कल यानि शनिवार को अभद्रता की गई। जिसकी जानकारी राज्यपाल खान ने ट्वीट करके दी है
तिरुवनंतपुरम: केरल के राज्यपाल आरिफ मुहम्मद खान के साथ कन्नूर विश्वविद्यालय में एक कार्यक्रम के दौरान कल यानि शनिवार को अभद्रता की गई। जिसकी जानकारी राज्यपाल खान ने ट्वीट करके दी है। राज्यपाल ने कहा कि, प्रख्यात इतिहासकार इरफान हबीब ने भारतीय इतिहास कांग्रेस (आइएचसी) में उनके उद्घाटन भाषण को रोकने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि, अलग विचारों को लेकर उनकी “असहिष्णुता अलोकतांत्रिक” थी।
वहीं राज्यपाल के साथ इस तरह के व्यवहार किए जाने को लेकर ट्वीटर पर यूजर्स इतिहासकार इरफान हबीब की जमकर आलोचना कर रहे हैं। राज्यपाल द्वारा फोटो डाले जाने और ट्वीट किए जाने के बाद यूजर्स हबीब की क्लास ले रहे हैं। बता दें कि राज्यपाल के इस संबंध में किए गए ट्वीट को हजारों की संख्या में रीट्वीट किया गया किया गया है।
इतिहासकार हबीब के बारे में एक यूजर ने ट्वीट किया है कि, अयोध्या के फैसले के बाद से हबीब निराश हैं। वहीं दूसरे यूजर ने लिखा कि, यह इरफ़ान हबीब एक तीसरे दर इतिहासकार हैं। हम बौद्धिक आतंकवाद की ओर बढ़ रहे हैं। वहीं एक अन्य यूजर ने लिखा है कि, इस व्यक्ति ने अपने चाटुकारों के साथ मिलकर झूठ फैलाने के लिए इतिहास को तोड़-मरोड़ कर रख दिया और झूठ के आधार पर एक धारणा स्थापित की। एक यूजर ने लिखा, ऐसे लोगों के खिलाफ केस दर्ज कर और उन्हें गिरफ्तार कर जेल में डाल देना चाहिए।
क्या है पूरा मामला
दरअसल, राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान विश्वविद्यालय में आयोजित एक कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल हुए थे। आरिफ मुहम्मद खान ने अपने ट्वीटर हैंडल पर कार्यक्रम के फोटो और कई ट्वीट किए। उन्होंने ट्वीट में बताया कि, आइएचसी के दौरान मंच पर उपस्थित और सामने बैठे लोगों की तरफ से उनके भाषण को रोकने का प्रयास किया गया।
राज्यपाल ने एक अन्य ट्वीट में कहा कि, इरफान खान राज्यपाल को रोकने के लिए मंच से उठकर उनके पास चले गए। उन्होंने मौलाना अबुल कलाम आजाद का हवाला दिया तो इतिहासकार हबीब ने चिल्लाकर कहा कि उन्हें गोडसे का हवाला देना चाहिए।
साथ ही उन्होंने इतिहासकार पर अपने एडीसी और सुरक्षा अधिकारी को धक्का देने का भी आरोप लगाया है। राज्यपाल के दफ्तर से जारी बयान में कहा गया कि, इतिहासकार हबीब ने सीएए को लेकर कुछ सवाल उठाए थे। लेकिन जब माननीय गवर्नर ने इन मुद्दों को संबोधित किया, हबीब ने सीट से उठकर शारीरिक रूप से उन्हें रोकने का प्रयास किया जिसे वीडियो में देखा जा सकता है।