UP News: रोली और ऋचा के बाद अब किसका नंबर, सपा में उठने लगा सवाल, कई नेता कर चुके हैं स्वामी प्रसाद के बयान का विरोध

Lucknow News: इन दोनों महिला नेताओं रोली तिवारी मिश्रा और ऋचा सिंह ने रामचरित मानस पर की गई टिप्पणी को लेकर स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ मोर्चा खोला था।

Written By :  Anshuman Tiwari
Update: 2023-02-17 07:22 GMT

SP Leaders Roli Tiwari Mishra and Richa Singh expels (photo: social media )

Lucknow News: लखनऊ समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ मोर्चा खोलने वाली पार्टी की दो महिला नेताओं को पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। इन दोनों महिला नेताओं रोली तिवारी मिश्रा और ऋचा सिंह ने रामचरित मानस पर की गई टिप्पणी को लेकर स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ मोर्चा खोला था। हालांकि सपा नेतृत्व की ओर से की गई इस कार्रवाई के बाद दोनों महिला नेताओं ने तीखी प्रतिक्रिया जताई है।

स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ मोर्चा खोलने वाली इन दोनों महिला नेताओं पर कार्रवाई के बाद अब पार्टी में कई सवाल भी उठने लगे हैं। सबसे बड़ा सवाल यह है कि जिन अन्य सपा नेताओं ने भी मौर्य के बयानों को लेकर तल्ख टिप्पणी की थी,क्या पार्टी नेतृत्व की ओर से उनके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी? पार्टी के कई अन्य नेताओं ने मानस के संबंध में स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान का खुलेआम विरोध किया है। सपा विधायक राकेश प्रताप सिंह ने तो स्वामी प्रसाद को विक्षिप्त तक कह डाला था।

रोली और ऋचा ने किया था मौर्य का विरोध

स्वामी प्रसाद मौर्य इन दिनों रामचरित मानस के विरोध को लेकर खासी चर्चाओं में है। उन्होंने मानस पर बैन लगाने तक की मांग कर डाली है। पार्टी की दो महिला नेताओं रोली तिवारी मिश्रा और ऋचा सिंह ने मानस के संबंध में मौर्य की टिप्पणियों का खुलकर विरोध किया था। गुरुवार को समाजवादी पार्टी के ऑफिशियल टि्वटर हैंडल से रोली और ऋचा को पार्टी से निष्कासित करने की जानकारी दी गई। रोली ने कहा था कि कोई कैसे भगवान राम और रामचरितमानस का अपमान बर्दाश्त कर सकता है।

उन्होंने स्वामी प्रसाद मौर्य को बसपा का एजेंट बताते हुए यहां तक कहा था कि वे 2024 के चुनाव से पहले पार्टी छोड़ सकते हैं। स्वामी प्रसाद मौर्य व महंत राजू दास के समर्थकों में टकराव के मुद्दे पर उन्होंने कहा था कि सनातन द्रोहियों ने महंत राजू दास पर हमला किया है।

ऋचा सिंह ने भी स्वामी प्रसाद के बयानों पर सवाल खड़े करते हुए कहा था कि क्या मानस के मुद्दा लेकर सपा फिर प्रदेश में अपनी सरकार बना पाएगी? उनका कहना था कि 2012 में कपड़ा-रोटी सस्ती हो, दवा-पढ़ाई मुफ्त हो, इस नारे के साथ अखिलेश यादव मुख्यमंत्री बने थे मगर अब हमारे धार्मिक ग्रंथ मानस को लेकर विवाद छेड़ दिया गया है। निष्कासन की कार्रवाई के बाद भी दोनों महिला नेताओं ने तीखी प्रतिक्रिया जताते हुए सपा मुखिया अखिलेश यादव को घेरा है।

पार्टी के कई अन्य नेता भी मौर्य के खिलाफ

दरअसल रामचरित मानस के मुद्दे पर स्वामी प्रसाद मौर्य के बयान के बाद पार्टी के भीतर मतभेद उभरते दिख रहे हैं। पार्टी के कई विधायकों और पदाधिकारियों ने मौर्य के बयान से असहमति जताते हुए उनके खिलाफ हमला भी बोला है।

स्वामी प्रसाद मौर्य का विरोध करने वाले नेताओं में पार्टी के मुख्य सचेतक मनोज पांडे, पवन पांडेय, संतोष पांडेय, जूही सिंह, रविदास मेहरोत्रा, आईपी सिंह और सपा विधायक राकेश प्रताप सिंह सहित कई चेहरे शामिल हैं। सपा के इन सभी प्रमुख नेताओं ने मौर्य के बयान पर खुलकर विरोध जताया था।

सपा विधायक ने दिया था तीखा बयान

अमेठी की गौरीगंज विधानसभा सीट से सपा विधायक राकेश प्रताप सिंह ने तो खुलकर मौर्य के खिलाफ हमला बोला था। उनका कहना था कि भगवान श्रीराम के चरित्र पर टिप्पणी करने वाला न तो सनातनी हो सकता है और न समाजवादी। उनका कहना था कि जब भी कोई भगवान श्रीराम के चरित्र पर या धर्म की आस्थाओं पर कुठाराघात करने का काम करेगा तो मैं उसके विरोध में सीना तान कर खड़ा हो जाऊंगा।

उन्होंने स्वामी प्रसाद मौर्य को विक्षिप्त तक बता डाला था। उनका कहना था कि राजनीति रहे या न रहे, विधायक रहूं ना, रहूं आगे टिकट रहे न रहे, लेकिन धर्म को बचाने के लिए और धर्म के साथ खड़े रहने के लिए आपका भाई, आपका बेटा और आपका सेवक हमेशा खड़ा रहेगा।

अब अखिलेश के रुख का इंतजार

सपा की दो महिला नेताओं के खिलाफ निष्कासन की कार्रवाई के बाद पार्टी में यह सवाल उठने लगा है कि आखिर मौर्य के खिलाफ खुलकर बयान देने वाले अन्य पार्टी नेताओं के संबंध में पार्टी नेतृत्व क्या रुख अपनाएगा। इन दोनों महिला नेताओं के खिलाफ कार्रवाई के बाद अभी तक समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने इस मुद्दे पर खुलकर कुछ नहीं बोला है। जानकारों के मुताबिक इस मुद्दे पर अखिलेश यादव के बयान का इंतजार किया जा रहा है। आने वाले दिनों में इस मुद्दे पर पार्टी में हलचल और तेज होने की उम्मीद जताई जा रही है।

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