हिन्दू लड़के की मुस्लिम दुल्हन: क्या कानून देगा ऐसी शादी को सुरक्षा, जानें पूरा मामला

सवाल ये है कि मुस्लिम लड़की और हिन्दू लड़के के विवाह पर कानून क्या कहता है? योगी सरकार के लव जिहाद के खिलाफ बने कानून में ऐसे मामलों में सुरक्षा के लिए कोई उपाय हैं?

Update: 2020-12-26 14:35 GMT

बरेली: उत्तर प्रदेश सरकार ने हाल ही में लव जिहाद के खिलाफ कानून बनाकर दो समुदाय के बीच विवाह और धर्म परिवर्तन का दबाव बनाने के मामले में कठोर कार्रवाई की पहल की। जहां पूरे देश में लव जिहाद पर कानून बनाने के मुद्दे पर बहस जारी है, वहीं यूपी के ही बरेली जिले में एक ऐसा मामला सामने आया, जिसमे विवाह तो अंतर्जातीय हैं लेकिन लव जिहाद कानून के प्रावधान उल्टे पड़ गए।

मुस्लिम लड़की ने हिन्दू लड़के से की शादी

दरअसल, बरेली जिले में एक मुस्लिम लड़की ने हिन्दू लड़के से विवाह किया है। विवाह हिन्दू रीति रिवाज से सम्पन्न हुआ। मुस्लिम लड़की ने पंडित के मंत्रोच्चारण के बीच बकायदा सात फेरे लिए, हिन्दू लड़के ने उसकी मांग भरी और हो गयी शादी। मामला जिले के हाफिजगंज थाना क्षेत्र के रिठौरा कस्बे का है।

ये भी पढ़ेंः लव जिहाद या छल विवाहः निकाह की मजबूरी क्यों, इसे समझना बहुत जरूरी

बरेली के मंदिर में हिंदु रीति रिवाज से मुस्लिम लड़की की शादी

इस पूरे प्रकरण में सनसनी तब फ़ैल गयी जब मुस्लिम दुल्हन ने शादी का पूरा वीडियो बनाया और सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया। लड़की ने अपने पति और उसके दोस्तों की जान को खतरा बताते हुए एसएसपी बरेली से मदद की गुहार लगाई। एक मुस्लिम लड़की का हिन्दू लड़के से शादी करना और हिन्दू रीती रिवाज से उसकी पत्नी बनाना कोई आम बात नहीं।

लड़की ने वीडियो वायरल कर मांगी सुरक्षा

मामला गंभीर है और लड़की ने भी इसकी गंभीरता को भाप लिया। यही वजह है कि लड़की ने वीडियो के जरिये जिले के कप्तान से सुरक्षा मांगते हुए बताया कि वह बालिग़ है और बचपन से ही हिंदू रीति-रिवाजों को मानती आ रही है। उसने कहा, 'मैंने अपनी मर्जी से पंकज शर्मा से शादी की है और पंकज शर्मा के साथ ही अपना जीवन बिताना चाहती हूं।' इसके साथ ही उसने अनुरोध किया कि पंकज और उसके दोस्तों को परेशान ना किया जाए।

ये भी पढ़ेंः शिवराज सरकार का लव जिहाद कानून: एमपी कैबिनेट में मंजूरी, होगी 10 साल की सजा

एसएसपी रोहित सिंह सजवाण बोले- नहीं हुआ केस दर्ज

वीडियो वायरल होने के बाद मामले ने तूल पकड़ा और एसएसपी रोहित सिंह सजवाण तक केस पहुंचा। हालाँकि अब तक इस मामले में पुलिस ने केस दर्ज नहीं किया है। दरअसल, इस तरह के मामले में होता यूँ हैं कि अगर लड़का और लड़की अलग अलग धर्मों के होते हैं तो पुलिस केस दर्ज करती है और लड़की को कोर्ट में पेश कर उसका बयान दर्ज करवाती है। ऐसा उसकी रजामंदी जानने और बहला फुसला कर धर्म परिवर्तन कराने जैसे नौबत न आने के लिए किया जाता है। लेकिन इस मामले में अभी तक ऐसा नहीं हुआ। एसएसपी रोहित सिंह सजवाण ने कहा कि अभी तक एफआईआर दर्ज नहीं की गई है। लेकिन मामले की जांच-पड़ताल की जा रही है।

सवाल ये है कि मुस्लिम लड़की और हिन्दू लड़के के विवाह पर कानून क्या कहता है? योगी सरकार के लव जिहाद के खिलाफ बने कानून में ऐसे मामलों में सुरक्षा के लिए कोई उपाय हैं?

स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी संभव

बता दें कि हिंदू मैरिज एक्ट और मुस्लिम पर्सनल लॉ के अलावा स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत इस तरह की शादी मान्य है। हिंदू मैरिज एक्ट के तहत जहां दो बालिग हिंदू शादी कर सकते हैं, वहीं मुस्लिम पर्सनल लॉ के तहत इस्लाम धर्म को मानने वाले निकाह करते हैं। बरेली में हुई शादी जैसे मामलों को संरक्षण देता है स्पेशल मैरिज एक्ट। इसके तहत किसी भी धर्म के लोग शादी के बंधन में बंध सकते हैं और इसके लिए उन्हें अपना धर्म बदलने की जरूरत नहीं होती। दोनों का अपना-अपना धर्म शादी के बाद कायम रख सकते हैं। शादी चाहे किसी भी तरीके से हो, शादी के बाद पत्नी (वह चाहे हिन्दू हो, मुस्लिम हो या अन्य धर्म की) को तमाम कानूनी अधिकार मिल जाते हैं।

दोस्तों देश दुनिया की और खबरों को तेजी से जानने के लिए बनें रहें न्यूजट्रैक के साथ। हमें फेसबुक पर फॉलों करने के लिए @newstrack और ट्विटर पर फॉलो करने के लिए @newstrackmedia पर क्लिक करें।

Tags:    

Similar News