Dhananjay Singh News: बाहुबली धनंजय सिंह जेल से रिहा, बरेली से जौनपुर रवाना

Dhananjay Singh News: : हाई कोर्ट से जमानत मिलने के बाद बाहुबली धनंजय सिंह बरेली सेंट्रल जेल से रिहा हो गए हैं।

Written By :  Jugul Kishor
Report :  Kapil Dev Maurya
Update:2024-05-01 09:21 IST

धनंजय सिंह जेल से रिहा (फोटो: Newstrack)

Dhananjay Singh News: इलाहाबाद हाईकोर्ट से जमानत मिलने के बाद पूर्व सांसद धनंजय सिंह आज यानि बुधवार को बरेली सेंट्रल जेल से रिहा हो गये हैं। जेल से रिहाई के बाद मीडिया से बातचीत में धनंजय सिंह ने कहा कि उन्हे फर्जी मुकदमों में फंसाकर जेल भेजा गया था। धनंजय सिंह जेल से रिहा होने के बाद बरेली सेंट्रल जेल से अपने काफिले के साथ जौनपुर के लिए रवाना हो गए हैं। देर शाम तक वे जौनपुर पहुंचेंगे। जौनपुर आकर वह अपनी पत्नी जो कि बसपा के टिकट पर लोकसभा सीट से प्रत्याशी हैं, उनके लिए प्रचार करेंगे। चार मई को श्रीकला सिंह अपने पति धनंजय सिंह के साथ नामांकन करेंगी।

जेल से बाहर निकलते ही धनंजय सिंह मीडिया से रूबरू होते हुए कहा कि वर्ष 2020 में मुझे फर्जी मुकदमे फंसाया गया और उसी फर्जी मुकदमे में मुझे चुनाव से रोकने के लिए छह मार्च 2024 को सजा करा दी गई। लेकिन, उच्च न्यायालय हाईकोर्ट ने रिहाई का आदेश दे दिया है। पत्नी बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ रही है अब जौनपुर पहुंच कर पत्नी के चुनाव प्रचार की कमान संभालेंगे।


 अब पत्नी के लिए प्रचार करेंगे धनंजय सिंह 

पूर्व सांसद धनंजय सिंह ने कहा, कि मुझे फर्जी मामले में सजा दी गई थी, माननीय उच्च न्यायलय ने मुझे बेल दिया है, आप लोगों को बहुत-बहुत धन्यवाद। आप लोगों ने सकारात्मक पहलुओं को समाज के सामने रखने का काम किया है। अभी मेरी पत्नी बीएसपी से चुनाव लड़ रही हैं और यहां से निकलते ही मैं अपने क्षेत्र जाऊंगा। 


बता दें कि बीते शनिवार को पूर्व सांसद धनंजय सिंह को जौनपुर जिला जेल से बरेली सेंट्रल जेल रेफर किया गया था। हाईकोर्ट से उनको जमानत मिल गई है, हालांकि धनंजय की सजा बरकरार है। वह जेल से बाहर तो आ गए हैं। लेकिन, वह चुनाव नहीं लड़ पाएंगे। धनंजय सिंह की पत्नी श्रीकला रेड्डी बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर चुनाव लड़ रही हैं।   

इस मामले में धनंजय सिंह को हुई थी सजा

धनंजय सिंह को नमामि गंगे प्रोजेक्ट के मैनेजर के अपहरण व रंगदारी के मामले में जौनपुर दीवानी न्यायालय की एमपी-एमएलए कोर्ट के तत्कालीन जज शरद चन्द त्रिपाठी ने छह मार्च को सात साल की सजा सुनाई थी। उस मामले में वादी अभिनव सिंघल ने 10 मई 2020 को लाइन बाजार थाने में पूर्व सांसद धनंजय सिंह समेत दो के खिलाफ अपहरण व रंगदारी की प्राथमिकी दर्ज कराई थी। पुलिस ने विवेचना करके तीन माह के अंदर कोर्ट में आरोप पत्र दाखिल कर दिया। कोर्ट ने दो अप्रैल 2022 को धनंजय व सहयोगी पर आरोप तय किया था। इसके बाद 130 तारीखों की सुनवाई के बाद पांच मार्च 2023 को धनंजय सिंह सहित दो को दोषी पाया। इसके बाद छह मार्च 2024 को सजा सुनाई गई थी।   

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