Corona Warrior: कोरोना काल में लोगों के लिए मसीहा बने शशि कुमार, जरूरतमंदों की 24 घंटे कर रहे मदद
Corona Warrior: बातचीत के दौरान शशि कुमार ने बताया कि जबसे कोरोना की दूसरी लहर का प्रकोप शुरू हुआ है।;
Corona Warriors: कोरोना की दूसरी लहर में जो खौफनाक मंजर लोगों के जेहन में थे। उसे भुलाना शायद किसी के लिए आसान नहीं है। उस दरम्यान गैर तो गैर अपनों ने भी मानवता को ताख पर रखकर मुंह मोड़ लिया। ऐसे में मदद की आस लगाये जरूरतमंद लोगों के लिए उम्मीद की लौ बनकर आये भारतीय जनता पार्टी आईटी विभाग, काशी क्षेत्र के संयोजक शशि कुमार ने न सिर्फ बनारस के लोगों की पीड़ा को समझा अपितु प्रदेश के अन्य जिलों के लोगों की समस्या को अपनी समस्या समझकर हरसंभव मदद निस्वार्थ सेवा भाव से की है।
बताते चलें कि मार्च महीने के मध्य में शुरू हुए कोरोना की दूसरी लहर में आम जन जीवन अस्त व्यस्त हो गया था, लोग अपने सगे संबंधियों के प्राण रक्षा के लिए अस्पतालों में आक्सीजन, बेड और रेमडेसिविर इंजेक्शन के लिए भागदौड़ कर रहे थे। इस परिस्थिति को देखते हुए शशि कुमार ने तेज तर्रार और हमेशा मदद के इच्छुक युवाओं की टीम बनाई और अपना नंबर 24 घंटे चलने वाले हेल्पलाइन नंबर के तौर पर रिलीज किया। हर दिन 100-150 लोगों के कॉल और मैसेज आने लगे। उनकी टीम की पूरी कोशिश होती है कि ज्यादा से ज्यादा लोगों तक मदद पहुंचे। जब वह खुद कोरोना ग्रसित होकर अस्पताल में भर्ती थे तब भी उन्होंने यह व्यवस्था की कि लोगों को मदद पहुंचने में किसी प्रकार की दिक्कत न हो।
बातचीत के दौरान शशि कुमार ने बताया कि जबसे कोरोना की दूसरी लहर का प्रकोप शुरू हुआ है। अनेकों लोग काल के गाल में समा गये। इस विपत्ति के समय कई लोगों ने फोन कॉल और सोशल मीडिया के जरिये मदद की अपील की जिसे तत्परता से लेते हुए कुछ घंटों में ही मदद पहुंचा दी। शशि के मुताबिक, केवल वाराणसी ही नहीं बल्कि बाहर के जिले से भी जहां-जहां मदद मांगी गई उसे पूरा करने की वह पूरी कोशिश करते हैं। उनके सेवा भाव को देखकर बॉलीवुड अभिनेता विनीत कुमार सिंह ने वाराणसी में दवा और अभिनेत्री भूमि पेडनेकर ने मेरठ में कोरोना पेशेंट के लिए वेंटिलेटर के लिए मदद मांगी थी। जिसे एक घण्टे अंदर शशि कुमार ने उपलब्ध कराया। जिसपर दोनों ने ट्विटर पर उनका आभार भी व्यक्त किया। इतना ही नहीं खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के गृहक्षेत्र गोरखपुर से एक कोविड संक्रमित परिवार की ओर से फेबिफ्लू दवा की मदद मांगी गई थी। इसके तुरंत बाद उन्होंने इस दवा की व्यवस्था करा कर कैंट बस स्टेशन से गोरखपुर जाने वाली बस से सफलतापूर्वक परिजन के घर पहुंचा दिया। शशि कुमार ने अपने ट्विटर हैंडल से अब तक इस कोविड के समय में लगभग 200 से ज्यादा लोगों की मदद कर चुके हैं।
अभी हालिया घटना की जिक्र करते उन्होंने बताया कि आजमगढ़ जिले के लालगंज निवासी होनहार छात्र सत्यम जो सिविल सेवा की तैयारी करता है। आर्थिक रुप से बहुत ही कमजोर इस छात्र ने सोशल मीडिया के प्लेटफार्म ट्विटर पर उनसे मदद मांगी। इसका संज्ञान लेते उन्होंने सत्यम से पूरे किताबों की सूची व्हाट्सएप पर मंगाई और उसे आश्वस्त किया कि एक हफ्ते के भीतर आपको किताबें प्राप्त हो जायेंगी, तुम्हारी शिक्षा में किसी प्रकार की रुकावट नहीं होगी। एक हफ्ते के भीतर जब सत्यम को किताबों का पूरा बंडल सौंप दिया।
ऐसा पहली बार नहीं है कि शशि कुमार ने मदद का हाथ पहली बार बढ़ाया है। कोरोना की पहली लहर में भी हर दिन इन्होंने 1000 खाने का पैकेट और राशन लोगों में बांटा। जब गरीब मजदूरों का पलायन शुरू हुआ था तो हाईवे पर स्टाल लगा कर उनके लिए खाना, जूस, पानी और बिस्कुट की व्यवस्था की।
आज इस महामारी में भी लोग सोविल मीडिया का प्रयोग अपने राजनीतिक एजेंडा को आगे बढ़ाने के के लिए कर रहे हैं ऐसे में शशि जैसे लोग भी हैं जो सोशल मीडिया के माध्यम से लोगों तक पहुंच कर मदद पहुंचा रहे हैं और सेवा कार्य कर रहे हैं।