कोर्ट ने मनी लांड्रिग के इस केस में लिया संज्ञान, अभियुक्तों को भेजा समन
सत्र न्यायाधीश एसके यादव ने मनी लांड्रिग के एक मामले में मेसर्स ब्राइट एरिकान कान्सोरटियम, नई दिल्ली व इस कंपनी के डायरेक्टर बलदेव राज अरोड़ा तथा धीरेंद्र सिंह के खिलाफ दाखिल आरोप पत्र पर सोमवार को संज्ञान लिया। केार्ट ने इन सभी अभियुक्तों को समन के जरिए 30 जनवरी को तलब किया है।
लखनऊ: सत्र न्यायाधीश एसके यादव ने मनी लांड्रिग के एक मामले में मेसर्स ब्राइट एरिकान कान्सोरटियम, नई दिल्ली व इस कंपनी के डायरेक्टर बलदेव राज अरोड़ा तथा धीरेंद्र सिंह के खिलाफ दाखिल आरोप पत्र पर सोमवार को संज्ञान लिया। केार्ट ने इन सभी अभियुक्तों को समन के जरिए 30 जनवरी को तलब किया है।
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प्रवर्तन निदेशालय(ईडी) के विशेष वकील कुलदीप श्रीवास्तव के मुताबिक मनी लांड्रिग का यह मामला लाल बहादुर शास्त्री एयरपोर्ट, वाराणसी में हुए करोड़ों के घोटाले से जुड़ा है। अभियुक्तों पर एयरपोर्ट में रन-वे, टैक्सी-वे और अन्य संबधित कार्यो में सब-स्टैंडर्ड मैटेरियल का इस्तेमाल करने व फर्जी बिल के जरिए लाखों का भुगतान लेने का आरोप है। यह मामला वर्ष 2008 का है। ईडी ने अभियुक्तों की कुल 93 लाख 63 हजार 712 रुपए की संपति भी जब्त की है।
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गौरतलब है कि 15 जुलाई, 2011 को एयरपोर्ट घोटाले के इस मामले में सीबीआई ने एफआईआर दर्ज कर अपनी जांच शुरु की थी। सीबीआई ने अपनी जांच में 23 करोड़ 66 लाख का घोटाला पाया था। 22 दिसंबर, 2015 को सीबीआई ने लाल बहादुर शास्त्री एयरपोर्ट, वाराणसी के तत्कालीन सीनियर मैनेजर (इंजीनियरिंग सिविल) जीआर शर्मा, मैनेजर भूपेंद्र कुमार, जोनस लाल भंडारी, तत्कालीन असिस्टेंट मैनेजर दिलीप कुमार व जूनियर एक्जक्यूटिव प्रभात चंद गोपालन के साथ ही मेसर्स ब्राइट एयरएरिकान कान्सोरटियम के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था।
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30 सितंबर, 2013 को ईडी ने भी करोड़ों के इस घोटाला मामलों में मनी लांड्रिग एक्ट के तहत सूचना दर्ज कर जांच शुरु की। 30 जून, 2018 को विवेचना के बाद इस मामले मंे मुकदमा कायम कर कम्पनी व इसके निदेशकों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया।