Hardoi: जनपद में बेकरी उद्योग की होगी स्थापना, लोगों को मिलेंगे रोजगार के अवसर
Hardoi: जिले में ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के बाद लगातार निवेशकों की संख्या बढ़ रही है। जनपद में लगातार उद्योगपति निवेश कर रहे हैं।;
Hardoi News: जिले में ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के बाद लगातार निवेशकों की संख्या बढ़ रही है। जनपद में लगातार उद्योगपति निवेश कर रहे हैं। एक समय में हरदोई उद्योगों में राइस और फ्लोर मिल के लिए जाना जाता था। हरदोई से बड़े पैमाने पर आटा और चावल निर्यात होते थे लेकिन समय के साथ व प्रदेश में भाजपा की सरकार आने के बाद निवेशकों ने उत्तर प्रदेश की ओर रुख किया। वहीं जनपद के उद्योगपति भी उद्योग को लगाने के लिए प्रेरित हुए।
हाल ही में जी-20 समिट में उद्योगपतियों को प्रदेश में उद्योग लगाने के लिए शासन के अधिकारियों द्वारा प्रेरित किया गया था तथा उद्योगपतियों को उद्योग लगाने को लेकर हर संभव मदद का आश्वासन भी दिया गया था। हरदोई में लगातार उद्योग को बढ़ावा मिल रहा है। ग्राउंड ब्रेकिंग सेरेमनी के बाद कई नए उद्योग जनपद में स्थापित हुए हैं साथ ही कुछ नए उद्योग लगाने पर कार्य चल रहा है। हरदोई में जल्द ही बेकरी से संबंधित फैक्ट्री की स्थापना होगी। इस फैक्ट्री के संचालन से सैकड़ों लोगों को रोजगार के अवसर भी प्राप्त होंगे।
10 करोड़ का होगा निवेश
हरदोई जनपद के माधवगंज में 10 करोड़ का निवेश कर बेकरी उत्पाद का उद्योग लगाया जा रहा है। कंपनी के निर्देशक शुभम पटेल ने बताया कि उनकी फ़र्म पटेल इंडस्ट्रीज उमेश पटेल की अगुवाई में हरदोई में 1996 से राइस मील व वर्ष 2003 से फ्लोर मिल का संचालन करती आ रही है। दोनों उद्योगों से सैकड़ों लोगों को रोजगार भी उपलब्ध कराया गया है। कंपनी अब नए क्षेत्र में कार्य करना चाह रही है। इसके लिए कंपनी 10 करोड़ का निवेश हरदोई जनपद में करेगी।
पटेल इंडस्ट्री हरदोई जनपद के माधवगंज क्षेत्र में बेकरी प्रोडक्ट का उत्पादन करेगी। इस इकाई में रस्क, ब्रेड, बिस्किट, कुकीज समेत अन्य प्रकार की बेकरी उत्पाद बनाए जाएंगे। पटेल इंडस्ट्री बघौली रोड पर अपना उद्योग लगा रही है। उद्योग लगाने का कार्य शुरू हो चुका है। वर्ष 2025 की शुरुआत में बेकरी उत्पादन का काम शुरू हो जाएगा। शुभम पटेल ने बताया कि इस बेकरी उत्पादन के शुरू होने से सैकड़ो लोगों को रोजगार के अवसर प्राप्त होंगे। कंपनी कृषि उपज से बेकरी उत्पाद बनाएगी जिससे क्षेत्र के किसानों को भी अपनी उपज के लिए बेहतर बाजार उपलब्ध हो सकेगा।