यूपी: अचानक से अमीर बनने लोग हो जाएं सावधान, गांव-गांव से जुटाई जा रही कुंडली
एडीजी (इंटेलिजेंस की ओर से जारी इस आदेश में ये भी कहा गया है कि अगर कही पर भी ऐसा कोई विवाद है तो वर्तमान में गांव में क्या स्थिति है और क्या पुलिस ने कोई एक्शन लिया है या नहीं। ऐसी ही जानकारियां जुटाकर अधिकारियों को भेजने को बोला गया है।
लखनऊ: यूपी में अवैध संबंधों के मामले लगातार बढ़ते ही जा रहे हैं। पंचायत चुनाव के वक्त ये मामले हिंसा और दंगों का कारण न बनें, इसलिए योगी सरकार पहले से इस पूरे मामले पर सर्तक है।
एहतियातन जो भी जरूरी कदम हैं, वो उठाए जा रहे हैं। इंटेलिजेंस एजेंसियां ऐसे मामलों की तलाश करने के लिए गांव-गांव जा रही हैं। लोगों से पूछताछ कर ब्यौरा जुटाया जा रहा है।
सरकार को अंदेशा है कि आने वाले पंचायत चुनावों में इस तरह के मामलों को लेकर अराजक तत्व गड़बड़ियां फैला सकते हैं। ऐसे स्थिति से बचने के लिए इस तरह की जानकारी राज्य के गांवों से जुटाई जा रही हैं।
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यूपी के एडीजी (इंटेलिजेंस) एसबी शिरोडकर ने जारी किया है आदेश
इस बाबत यूपी के एडीजी (इंटेलिजेंस) एसबी शिरोडकर की ओर से एक लेटर जारी किया गया है। जिसमें उनकी तरफ से पंचायत चुनावों के मद्देजनर 11 पॉइंट्स पर जानकारी जुटाने का आदेश दिया गया है।
जिन 11 बिन्दुओं पर जानकारियां मांगी गई हैं उसमें से एक अवैध सम्बन्ध भी है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक एलआईयू और इंटेलिजेंस को हर गांव में अवैध सम्बन्धों के बारे में जानकारी एकत्र करनी होगी।
आदेश में ये भी कहा गया है कि अगर कही पर भी ऐसा कोई विवाद है तो वर्तमान में गांव में क्या स्थिति है और क्या पुलिस ने कोई एक्शन लिया है या नहीं।
ऐसी ही अन्य जानकारियां जुटाकर अधिकारियों को भेजने को बोला गया है। बताया जा रहा है कि इस तरह के लेटर जारी करने के पीछे इंटेलिजेंस का मानना है कि ऐसे मामले बाद में तूल पकड़ लेते हैं और आगे चलकर विवाद व हिंसा की बड़ी वजह बनकर सामने आते हैं।
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गांवों में अचानक से अमीर बनने वाले लोगों पर भी रहेगी सरकार की नजर
इस लेटर में एक और खास बात ये भी लिखी हुई है वो ये कि अधिकारियों को ये भी निर्देश दिए गये हैं ऐसे लोगों की भी जानकारी जुटाई जाए जो अचानक से अमीर बन गए।
जातीय विवाद, भूमि विवाद, धार्मिक स्थल विवाद के बारे में भी जानकारी हासिल करने के लिए बोला गया है। इंटेलिजेंस विभाग को अंदेशा है कि आगामी पंचायत चुनाव में ये तमाम बातें विवाद का कारण बन सकती है,इसलिए इसकी आशंका से पहले ही जानकारी मांगी गई है।
बता दें कि यूपी में पंचायत चुनावों को लेकर तैयारियां आरंभ हो गई हैं। पुलिस और इंटेलिजेंस एजेंसियां दोनों को अलर्ट कर दिया गया है। पंचायत चुनावों के ठीक एक साल बाद साल 2022 में यूपी में विधानसभा चुनाव होंगे इसलिए सरकार के लिए इस तरह का कदम उठाना और भी ज्यादा जरूरी हो गया है।
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