Jhansi: 'पीड़ितों की समस्याओं को न सुनने वाले थानेदारों पर होगी कार्रवाई', डीआईजी कलानिधि नैथानी के सख्त निर्देश
Jhansi News: डीआईजी ने महिला संबंधी अपराधों, पॉक्सो एक्ट एवं एससी-एसटी के मामले में की गयी कार्यवाही की समीक्षा के उपरान्त अभियुक्तों के विरूद्ध प्रभावी कार्यवाही किये जाने के निर्देश दिए हैं।
Jhansi News: पुलिस उपमहानिरीक्षक, झांसी परिक्षेत्र कलानिधि नैथानी (DIG Kalanidhi Naithani) ने झांसी पुलिस लाइन सभागार में समस्त राजपत्रित अधिकारियों के साथ अपराध एवं अपराधियों पर नियंत्रण हेतु प्रभावी कार्ययोजना बनाकर परिक्षेत्र की कानून-व्यवस्था सुदृढ़ बनाए रखने हेतु विस्तृत चर्चा।
इस दौरान, डीआईजी ने महिला संबंधी अपराधों, शीतकालीन ऋतु में घटित होने वाले अपराधों, विभिन्न संगीन अपराधों, थानों में आने वाले पीड़ितों की समस्या का तत्काल निराकरण करने, सम्पत्ति सम्बन्धी अपराधों आदि पर अंकुश लगाने एवं शान्ति एवं कानून व्यवस्था बनाये रखने हेतु आवश्यक दिशा-निर्देश दिये गये। बैठक में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजेश एस, एसपी सिटी ज्ञानेंद्र कुमार सिंह, एसपी देहात गोपीनाथ सोनी आदि लोग उपस्थित रहे।
छह माह तक सर्कल में रहेंगे पीआरबी कर्मचारी
गोकशी, डकैती एवं व्यापारियों के साथ 'लूट मिशन लिफ्ट' पिछले 10 साल में जितने भी अपराधी हैं उनकी हिस्ट्रीशीट खोलकर गुंडा गैंगस्टर आदि की कार्रवाई करते हुए तगड़ी निगरानी करने के आदेश दिए। पीआरबी पर नियुक्त कर्मी को 3 माह तक एक थाने, छह माह तक एक सर्कल में रहने दिया जाए। उससे अधिक कदापि ना रहने दिए जाए। किसी थाने पर रिपोस्ट न किया जाए।
... ऐसे निरीक्षक-थानेदारों को परेड में बुलाया जाए
कलानिधि नैथानी बोले, 'प्रत्येक थाने पर कम से कम एक एसआई जरूर रहे। कोतवाली के थाने पर एक अतिरिक्त प्रभारी निरीक्षक जरूर रहे, जो अन्य जिम्मेदारियों के साथ थाने के अभिलेख भी अपडेट करे। सूचनाओं का प्रेषण समय से करवाना सुनिश्चित करें। डीआईजी ने आगे कहा कि, अदालत द्वारा जारी आदेश जैसे कि शमन, वारंट आदि के लिए अलग से रजिस्टर बनवाकर पूरे जिले के इंद्राज उसमें करें और कम तामीला करने वाले निरीक्षक/थानाध्यक्ष को शुक्रवार परेड में बुलाएं'।
गौ तस्करी में लिप्त अपराधियों का हो सत्यापन
डीआईजी ने बताया कि, 'विगत 03 वर्षों में परिक्षेत्र के जिलों में लूट, चैन स्नेचिंग के अपराधों में नामित या प्रकाश में आये अभियुक्तों का सत्यापन कराया जाये। जो अभियुक्त अपराधों में लिप्त पाये जाते हैं उनके विरुद्ध नियमानुसार कार्यवाही करते हुये गुंडा, गैंगस्टर, एनएसए के अन्तर्गत निरोधात्मक कार्यवाही भी सुनिश्चित की जाये। इसके अलावा गौ तस्करी में लिप्त अपराधियों का सत्यापन कराया जाए।'
मादक पदार्थों के तस्करों पर की जाए गैंगस्टर की कार्रवाई
डीआईजी ने बताया कि, 'जनपद में पान की दुकान, ढाबे,आउटर क्षेत्र, रेस्टोरेंट, पार्कों के समीप, आइसक्रीम पार्लर,रेलवे/बस स्टैण्ड, पर्यटक स्थलों तथा विद्यालयों आदि के आस-पास चैकिंग कराकर मादक पदार्थों की बिक्री एवं परिवहन में लिप्त अपराधियों के विरुद्ध अधिक से अधिक कार्यवाही कराकर मादक पदार्थों की बरामदगी की जाए तथा ऐसे अपराधियों के विरूद्ध गैंगस्टर अधिनियम के अन्तर्गत कार्यवाही कर सम्पत्ति जब्तीकरण की भी कार्यवाही की जाये।'
छह माह से अधिक समय तक न रखें लंबित विवेचनाएं
डीआईजी ने महिला संबंधी अपराधों, पॉक्सो एक्ट एवं एससी-एसटी के मामले में की गयी कार्यवाही की समीक्षा के उपरान्त अभियुक्तों के विरूद्ध प्रभावी कार्यवाही किये जाने के निर्देश दिए हैं। डीआईजी ने कहा है कि लंबित विवेचनाओं की स्वयं समीक्षा करें तथा जो विवेचनाएं 06 माह या उससे अधिक समय से लम्बित है उन्हें प्राथमिकता के आधार पर निस्तारण करायें।
सीमाओं पर बैरियर लगाकर की जाए सघन चेकिंग
डीआईजी ने बताया गया कि शीतकालीन सत्र में चोरी एवं नकबजनी की घटनाएं घटित होने की आशंका बनी रहती है अतः हाट स्पॉट चिन्हित कर पिकेट की व्यवस्था के साथ ही साथ निरन्तर पैदल गस्त एवं अन्तर्राज्यीय/अंतर्जनपदीय सीमाओं पर बैरियर लगाकर सघन चेकिंग अभियान जारी रखने के निर्देश दिये गये। चोरी छिपे आवागमन (पोरस बॉर्डर) के मार्गों का चिन्हीकरण कर लिया जाये तथा यू०पी०- 112 के डेटा के आधार पर विगत घटित कतिपय चोरी की घटनाओं के घटनास्थलों पर पीआरवी को निरन्तर क्रियाशील रखने के निर्देश दिये गये।