Lohiya Hospital: रेगुलेटर बदलने के दौरान सिलेंडर में लीकेज से लगी आग, दरवाजा तोड़कर बाहर निकले लोग

Lucknow News: डीसीपी ईस्ट शशांक सिंह ने बताया कि घटना की सूचना मिली है फोर्स को तत्काल मौके पर भेजा गया है। बताया जा रहा है कि हादसा हॉस्पिटल ब्लॉक में दूसरे नंबर पर स्थित वार्ड में हुआ है।

Report :  Santosh Tiwari
Update: 2024-08-12 06:08 GMT

हादसे के बाद घबराए लोगों ने तोड़ा फायर एग्जिट (Pic: Newstrack)

Lohiya Hospital: गोमती नगर स्थित डॉक्टर राम मनोहर लोहिया अस्पताल में सोमवार की सुबह एक हादसा हो गया। जिसमें एक वार्ड ब्वॉय मामूली रूप से जख्मी हो गया है। उसका इलाज अस्पताल के ही इमरजेंसी वार्ड में चल रहा है।

जानकारी के अनुसार सोमवार की सुबह राम मनोहर लोहिया अस्पताल के पुराने हॉस्पिटल ब्लॉक में दूसरे तल पर स्थित वार्ड के सामने कर्मचारी राकेश ऑक्सीजन सिलेंडर में रेगुलेटर लगा रहा था। इसी बीच तकनीकी फॉल्ट के चलते तेज धमाके के साथ सिलेंडर में आग लग गई। धमाके से घबराए लोग वार्ड छोड़कर बाहर की ओर भागने लगे। इसी बीच घबराहट में कुछ लोगों ने वार्ड में लगा फायर एग्जिट तोड़ दिया और भागकर बाहर कॉरिडोर में आ गए। वहीं, आग लगने के बाद राकेश तत्काल सिलेंडर की आग बुझाने लगा जिससे उसके दोनों हाथ व पेट का कुछ हिस्सा झुलस गया है। सूचना पर तत्काल पुलिस भी मौके पर पहुंच गई और मामले की जांच पड़ताल की। वहीं, धमाके के बाद काफी देर तक अस्पताल में अफरा तफरी मची रही।

इमरजेंसी वार्ड में भर्ती वार्डबॉय राकेश (Pic: Newstrack)

धमाके से सहम गए मरीज और उनके परिजन

न्यूज़ट्रैक से बातचीत में तीमारदार विश्वनाथ ने बताया कि सोमवार की सुबह करीब 11:15 बजे तेज धमाके की आवाज सुनाई दी। धमाका इतना जोरदार था कि सभी लोग सहम गए। इसके बाद लोग इधर उधर भागने लगे। बड़ी संख्या में लोग कॉरिडोर में भी इकट्ठे हो गए। एक और मरीज के परिजन ने बताया कि हादसे की आवाज सुनकर लोग काफी डर गए थे। किसी को समझ नहीं आ रहा था कि क्या करें। इसके बाद वार्ड में करीब 30 मिनट तक अफरा तफरी का माहौल रहा।

झुलसा हुआ वार्डबॉय का हाथ (Pic: Newstrack)

कर्मचारी न बुझाता आग तो हो जाती बड़ी घटना

ऑक्सीजन सिलेंडर में गैस लीकेज के बाद तत्काल आग लग गई। जिसे कर्मचारी राकेश ने हिम्मत करते हुए तत्काल बुझा दिया। हालांकि, इस दौरान उसके दोनों हाथ और पेट झुलस गया है। इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कर्मचारी राकेश ने न्यूज़ट्रैक से बातचीत में बताया कि एक मरीज को ऑक्सीजन की आवश्यकता थी। उसी को लगाने के लिए सिलेंडर तैयार किया जा रहा था। पास में ही दूसरा सिलेंडर भी रखा था। इसी बीच यह हादसा हो गया। गनीमत रही कि तत्काल आग पर काबू पा लिया गया वरना घटना और विकराल रूप ले लेती।

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