NITI Aayog report: 9 साल में करीब 6 करोड़ यूपी के लोग गरीबी रेखा से बाहर आए

NITI Aayog report: नीति आयोग की रिपोर्ट ने डबल इंजन सरकार के प्रयासों पर लगाई मुहर, खत्म हुआ लीकेज तो अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति तक पहुंचीं योजनाएं, अंत्योदय के संकल्प के साथ करोड़ों लोगों को गरीबी रेखा से बाहर लाने का सपना हो रहा साकार।

Report :  Network
Update:2024-01-15 22:16 IST

CM Yogi (Pic: Social Media)

NITI Aayog report: उत्तर प्रदेश को वन ट्रिलियन डॉलर अर्थव्यवस्था का राज्य बनाने के साथ ही प्रदेश में गरीबी के खिलाफ किए जा रहे सीएम योगी के प्रयास असरकारी साबित हो रहे हैं। नीति आयोग के डिस्कशन पेपर ' मल्‍टीडायमेंशनल पावर्टी इन इंडिया सिन्‍स 2005-06' के निष्कर्ष इसकी गवाही दे रहे हैं। इसके अनुसार उत्तर प्रदेश में पिछले नौ वर्षों के दौरान 5.94 करोड़ लोगों के बहुआयामी गरीबी से बाहर निकलने के साथ गरीबों की संख्या में सबसे बड़ी गिरावट दर्ज की गई है। यह रिपोर्ट पीएम मोदी के कुशल नेतृत्व में सीएम योगी की प्रदेश में अंत्योदय के संकल्प के साथ करोड़ों लोगों को गरीबी रेखा से बाहर लाकर मुख्य धारा में शामिल करने की नियोजित कोशिशों का प्रतिफल है और यह नए यूपी की तस्वीर भी पेश कर रहा है।

डबल इंजन की सरकार में खत्म हुआ लीकेज

रिपोर्ट पर गौर करें तो उत्तर प्रदेश में 2013-14 में जहां 42.59 प्रतिशत लोग गरीबी रेखा से नीचे निवास कर रहे थे तो वहीं 2022-23 में यह आंकड़ा घटकर 17.40 प्रतिशत पर आ गया। इसके अनुसार इन 9 वर्षों में उत्तर प्रदेश के अंदर कुल मिलाकर 593.69 लाख (करीब 5.94 करोड़) लोग गरीबी रेखा से बाहर आए। यह निष्कर्ष डबल इंजन सरकार के बीच समन्वय को दर्शाता है। 2017 से पहले जहां केंद्र और राज्य सरकारों के बीच समन्वय की कमी थी तो वहीं उत्तर प्रदेश में योगी सरकार बनने के बाद डबल इंजन सरकार ने सभी लीकेज बंद कर दिए। केंद्र की योजनाएं प्राथमिकता के साथ प्रदेश में लागू की गईं। उदाहरण के तौर पर पहले आवास की मांग ही नहीं की जाती थी, जबकि डबल इंजन की सरकार ने 2017 से अब तक प्रदेश में लाखों महिलाओं को उनके मकान का मालिक बनाया है। जगह-जगह बेईमान और भ्रष्ट लोग बैठे थे, उन्हें डबल इंजन सरकार ने किनारे किया। भ्रष्टाचार पर प्रहार किया गया, जातिवाद और भेदभाव को खत्म कर योजनाओं को अंतिम पायदान पर बैठे व्यक्ति तक पहुंचाने का काम किया गया। युवाओं को रोजगार के साधन उपलब्ध कराने के ईमानदार प्रयास किए गए, जिससे यूपी विकास की प्रक्रिया के साथ तेजी से आगे बढ़ने में सफल रहा। गरीब कल्याण की योजनाएं पूरे प्रदेश में प्रभावी ढंग से लागू हो रही हैं।

बीमारू राज्य से बाहर आकर बड़ी अर्थव्यवस्था वाला राज्य बना यूपी

नीति आयोग के आंकड़े इस बात के गवाह हैं कि उत्तर प्रदेश बीमारू राज्य की श्रेणी से बाहर आकर देश की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन रहा है। उत्तर प्रदेश में प्रति व्यक्ति आय दोगुनी हुई है। यूपी वन ट्रिलियन डॉलर की इकॉनमी बनने की ओर अग्रसर है। यह एक सामूहिक प्रयास से संभव हो रहा है। आंकड़ों के हवाले से देखें तो, कोविड-19 वैश्विक महामारी के कारण बीते 2-3 वर्ष पूरे विश्व और देश में आर्थिक मंदी रही। इसके बावजूद, प्रदेश की अर्थव्यवस्था सुदृढ़ता के साथ अपनी ग्रोथ को बनाए रखने में सफल रहा। यह डबल इंजन सरकार की नियोजित और समन्वित प्रयासों का परिणाम ही है कि प्रदेश की वार्षिक आय में सतत बढ़ोतरी हो रही है। उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था देश की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन कर उभरी है तो रेवेन्यू सरप्लस स्टेट के रूप में राष्ट्रीय फलक पर यूपी को नई पहचान मिली।

सीएम योगी ने उपलब्धि पर जताई खुशी,की पीएम मोदी की प्रशंसा

उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने भी इस उपलब्धि पर पीएम नरेंद्र मोदी की भूरि-भूरि प्रशंसा की है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के दूरदर्शी नेतृत्व में भारत ने एक बड़ी उपलब्धि हासिल की है। यह समावेशी विकास और परिवर्तनकारी आर्थिक सुधारों के प्रति हमारी अटूट प्रतिबद्धता को प्रमाणित करती है। आपका हार्दिक आभार आदरणीय प्रधानमंत्री जी। इसके साथ ही अगली पोस्ट में उन्होंने लिखा कि यह प्रभावी शासन का एक उत्तम उदाहरण है। बहुआयामी गरीबी उन्मूलन की दिशा में भारत की यात्रा में उत्तर प्रदेश ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। रणनीतिक पहल और नीतियों के साथ, यूपी में 5.94 करोड़ लोगों को बहुआयामी गरीबी रेखा से ऊपर उठाने का कार्य हुआ है, जिसने राष्ट्रीय उपलब्धि में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के सशक्त और समृद्ध भारत के दृष्टिकोण से बिल्कुल मेल खाता है। ये 'मोदी की गारंटी' है, जिस पर पूरा देश भरोसा करता है।'

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