मायावती ने सीएम योगी से की मांग, बीजेपी के इस सांसद को तत्काल करें गिरफ्तार

बसपा सुप्रीमो मायावती ने कन्नौज के भाजपा सांसद द्वारा दलित तहसीलदार के साथ मारपीट की घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए गिरफ्तारी की मांग की है। उन्होंने कहा है कि मुख्यमंत्री को सांसद के खिलाफ तुरंत सख्त कार्रवाई करनी चाहिए।

Update: 2020-04-09 10:19 GMT
मायावती

लखनऊ: बसपा सुप्रीमो मायावती ने कन्नौज के भाजपा सांसद द्वारा दलित तहसीलदार के साथ मारपीट की घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए गिरफ्तारी की मांग की है। उन्होंने कहा है कि मुख्यमंत्री को सांसद के खिलाफ तुरंत सख्त कार्रवाई करनी चाहिए।

मायावती ने ट्वीट कहा है कि कन्नौज में ईमानदारी से ड्यूटी कर रहे एक दलित तहसीलदार के साथ भाजपा सांसद द्वारा मारपीट की घटना शर्मनाक है। दुख की बात यह है कि सांसद जेल में जाने की बजाय बाहर घूम रहा है। इससे पूरे प्रदेश में दलित कर्मचारियों में नाराजगी है।

ऐसे में मुख्यमंत्री को चाहिए कि वे इस मामले में जरूर सख्त कदम उठाएं, ताकि सांसद आगे कभी भी ऐसी हरकत न कर सकें। इसके साथ ही पूरे प्रदेश में खासकर दलित कर्मचारियों के साथ आगे ऐसा कोई बर्ताव न हो इसके लिए भी कठोर कार्रवाई करनी चाहिए।

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यह है पूरा मामला

कन्नौज सदर तहसीलदार अरविंद कुमार पर भाजपाइयों ने मंगलवार दोपहर उनके ही घर में घुसकर पत्नी और आठ साल की बच्ची के सामने हमला कर दिया। दो लेखपालों को भी दौड़ाया। तहसीलदार को काफी चोटें लगी हैं। एक लेखपाल भी घायल है। मौके पर दो बाइकें मिली हैं। एक पर भाजपा के झंडे के रंग का निशान और जिला मीडिया प्रभारी लिखा है।

तहसीलदार ने तहरीर देकर 20-25 हमलावरों में भाजपा सांसद सुब्रत पाठक को भी शामिल बताया है। मामले में रिपोर्ट दर्ज कर ली गई है। सांसद ने आरोपों से इनकार किया है।

एडीएम और एसडीएम सदर की मौजूदगी में तहसीलदार का जिला अस्पताल में मेडिकल परीक्षण कराया गया है। तहसीलदार ने बताया कि सांसद सुब्रत पाठक की ओर से उन्हें अनाज वितरण की सूची भेजी गई थी। उन्होंने नायब तहसीलदार को सूची देकर जल्द वितरण को कह दिया था।

दोपहर 12:59 बजे सांसद का फोन आया और राशन न पहुंचने की बात कही। अरविंद कुमार ने नायब तहसीलदार को सूची दे देने की बात बताई। आरोप है कि सांसद गाली-गलौज कर तहसीलदार को धमकी देने लगे। बोले, वह कार्यालय पहुंच रहे हैं।

परिवार के साथ तहसीलदार को बेरहमी से पीटा

तहसीलदार ने बताया कि धमकी से डरकर उन्होंने डीएम, एडीएम और एसडीएम सदर को इसकी जानकारी दी। फिर एसडीएम सदर के कहने पर अपने आवास पर आ गए थे।

करीब सवा दो बजे सांसद 20-25 लोगों के साथ उनके आवास पर पहुंचे और दरवाजा पीटने लगे। पत्नी और बच्ची रोने लगी तो तहसीलदार बाहर आए। तहसीलदार के मुताबिक आवास में ही बने उनके कार्यालय में सांसद उनकी कुर्सी पर बैठे थे।

सांसद के राशन न देने की वजह पूछने पर वह सफाई देने लगे तो मोबाइल छीनकर हमला कर दिया। साथ आए लोग भी उन्हें जमीन पर गिराकर लात-घूसे बरसाने लगे। बचाने आए लेखपाल रामबरन और अमित राय को दौड़ा लिया। रामबरन बच गए। अमित राय को पीटकर घायल कर दिया।

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