लखनऊ: सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद उत्तर प्रदेश के शिक्षामित्रों में हताशा दिख रही है। समायोजन रद होने से शिक्षामित्र नई रणनीति बनाने की कोशिश कर रहे हैं। सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद शिक्षामित्र एक ओर जहां सर्वोच्च न्यायालय के आदेश का सम्मान कर रहे हैं। वहीं कई शिक्षामित्र निराश भी है। इसी रणनीति के तहत प्रदेश भर में सैकड़ों की संख्या में शिक्षामित्रों ने डीएम कार्यालय पर धरना प्रदर्शन किया। सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
आगरा में शिक्षामित्रों की नारेबाजी
- ताजनगरी आगरा में शिक्षामित्रों ने हाई कोर्ट के आदेश को राजनीति से मिलता जुलता बताया। उन्होंने कोर्ट के फैसले का जमकर विरोध किया।
- उनके मुताबिक समायोजन रद्द होने से उनके सामने परिवार चलाने की समस्या सामने आएगी।
- कई शिक्षा मित्रों के घरों में चूल्हा तक नहीं जला है।
- उन्होंने चेतावनी दी है कि प्रदेशभर में शिक्षा मित्र जाम लगाएंगे। मरेंगे या मारेंगे।
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शिक्षामित्र संगीता का कहना है कि ये फैसला कोर्ट की तानाशाही है। कई साल पहले बने शिक्षामित्र टीईटी परिक्षा पास नही कर पाएंगे तो क्या उसको नौकरी से निकाल दिया जाएगा। अगर इस तरह से नौकरी गई तो सभी शिक्षामित्र अपने परिवार सहित आत्महत्या कर लेंगे। सुप्रिम कोर्ट को अपना फैसला बदल लेना चाहिए। उनका कहना है कि अगर उनकी इस धमकी पर ध्यान नही दिया गया तो उनकी मौत का जिम्मेदार सरकार ओर कोर्ट होगी।
आगे की स्लाइड में पढ़ें बहराइच में शिक्षामित्रों ने जताया विरोध...
बहराइच: सुप्रीम कोर्ट के फैसले से नाराज समायोजित शिक्षामित्रों ने बुधवार को प्रदर्शन किया। शिक्षामित्रों ने सड़क जाम करके जमकर नारेबाजी की। जिससे बहराइच- लखनऊ हाइवे मार्ग जाम हो गया। जाम होने के कारण दोनो तरफ लगभग एक किलोमीटर तक वाहनों के लम्बी कतारें लग गई। प्रदर्शन की सूचना पर पहुंची पुलिस ने समझाने का प्रयास किया तो सभी और उग्र हो गए। देखते ही देखते प्रदर्शन के दौरान सभी समायोजित शिक्षामित्र आक्रोशित होकर सड़क जामकर नारेबाजी करने लगे।
गर्मी के चलते बेहोश लोग
- इस दौरान गर्मी के कारण आधा दर्जन से अधिक महिला समेत कई शिक्षामित्र बेहोश हो गए। जिन्हे इलाज के लिए जिला अस्पताल भेजवाया गया।
क्या थी मांगे?
सड़क जाम कर प्रदर्शन कर रहे समायोजित शिक्षामित्रों की मांग है कि प्रदेश के समायोजित शिक्षामित्रों के भविष्य को सुरक्षित रखने हेतु सर्वाेच्च न्यायालय में शीघ्र पुर्न विचार कर याचिका दाखिल करे। उनका कहना है कि बहराइच जिला बेसिक शिक्षा मंत्री अनुपमा जायसवाल का गृह जनपद है। उनको हम लोगों के पास आकर हमारी समस्याएं सुननी चाहिए। इसी मांग को लेकर सभी समायोजित शिक्षामित्र सड़क पर जाम लगाकर प्रदर्शन करते रहे। जब प्रशासन द्वारा ये बताया गया कि अभी वो मिलने आ रही है तब जाकर सभी शांत होकर धरना स्थल पर गए।
आगे की स्लाइड में पढ़ें क्या कहते हैं कानपुर के शिक्षामित्र ...
कानपुर : बीते मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने एतिहासिक फैसला सुनाते हुए शिक्षामित्रो के समायोजन को रद्द कर दियाl हाईकोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट ने बरकरार रखा है l इस फैसले के बाद शिक्षामित्रो में शोक की लहर दौड़ गई है।
कानपुर के 2200 शिक्षामित्रो ने बीएसए कार्यालय का घेराव किया l बीएसए के सभी अधिकारी वहां से रफ्फूचक्कर हो गए l
शिक्षामित्र कीर्ति सिंह के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट ने हमारा समायोजन रद्द कर दिया है तो अब हमारी मांग है कि हमें इच्छा म्रत्यु दे दी जाएl हमने अपनी जिंदगी का सबसे प्राइम टाइम इस नौकरी को दिया है ,अब हम इस स्थिति में कहा जाएंगे और क्या करेंगे ?
आगे की स्लाइड में पढ़ें गोरखपुर में शिक्षामित्रों का प्रदर्शन...
गोरखपुर: सैकड़ो की संख्या में आज शिक्षामित्रों ने सबसे पहले बीएसए दफ्तर पर प्रदर्शन किया। फिर गोरखनाथ मंदिर की तरफ बढने लगे। जब वहां मौजूद पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की तो इनके ना मानने पर मामला गर्म हो गया और इसी बीच एक व्यक्ति को हिरासत में ले लिया गया।