Sonbhadra: चहेतों को थमाया सलेक्शन बांड, किए हुए कार्य का दूसरी फर्म को भुगतान, आरोपों ने मचाई खलबली

Sonbhadra News Today: निर्माण कार्य से जुड़े लोक निर्माण विभाग और ग्रामीण अभियंत्रण विभाग की तरफ से बरती गई कथित गड़बड़ियों को लेकर मुख्यमंत्री से शिकायत की गई है।

Update: 2022-12-25 13:45 GMT

सोनभद्र। (Social Media)

Sonbhadra News: निर्माण कार्य से जुड़े लोक निर्माण विभाग और ग्रामीण अभियंत्रण विभाग की तरफ से बरती गई कथित गड़बड़ियों को लेकर मुख्यमंत्री से शिकायत की गई है। प्रांतीय खंड पर जहां, नियमों को दरकिनार कर, सड़क निर्माण का सलेक्शन बांड चहेतों को थमाए जाने के आरोप लगाए गए हैं।

वहीं ग्रामीण अभियंत्रण विभाग की तरफ से कार्य की जिम्मेदारी किसी दूसरे को देने और भुगतान किसी दूसरे फर्म को कर दिए जाने की शिकायत की गई है।इसको लेकर विभागीय स्तर पर हलचल बढ़ गई है। वहीं ग्रामीण अभियंत्रण विभाग के अधिकारियों ने जहां कैशियर से, मामले को लेकर रिकर्ड तलब कर लिए गए हैं। वहीं प्रांतीय खंड की तरफ से से आरोपों को गलत बताया जा रहा है।

ऐसे गरमाया मामला

भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष धर्मवीर तिवारी ने ट्वीट कर मुख्यमंत्री को शिकायत भेजी कि प्रांतीय खंड ने डीएमएफ कोटे से निर्मित होने वाली 382 लाख के सड़क एवं अन्य कार्य, नियमों को दरकिनार कर सलेक्शन बांड के जरिए कराया जा रहा है। अवगत कराया गया है कि सलेक्शन बांड के लिए जरूरी है कि तीन बार निविदा प्रकाशित कराई जाए लेकिन ऐसा न कर एक से दो बार ही निविदा प्रकाशित कराई गई और टेंडर की मानक संख्या पूरा न होने का कथन करते हुए, चहेते ठेकेदारों को सलेक्शन बांड थमा दिया गया। जो निविदा पड़ी थी, उसकी दर क्या थी, इसको लेकर भी अन्य ठेकेदारों के साथ कोई चर्चा नहीं की गई। वहीं एक्सईएन प्रांतीय खंड गोविंद यादव का फोन पर कहना था कि सलेक्शन बांड की प्रक्रिया नियमों के मुताबिक ही पूरी की गई है। कहीं कोई गड़बड़ी नहीं बरती गई है। जो भी आरोप लगाए जा रहे हैं गलत हैं।

किसी और से निर्मित कराया आंगनबाड़ी भवन

मेसर्स उदयनारायण देव पांडेय की तरफ से ग्रामीण अभियंत्रण विभाग को भेजी गई शिकायत में कहा गया है कि नगांव गांव में वर्ष 2016-17 में आंगनबाड़ी भवन का कार्य कराया गया था जिसका भुगतान हरिओम कंस्ट्रक्सन को 1.05 लाख रूपये कर दिया गया है। इसको लेकर अक्टूबर 2021 में ही शिकायत की जा चुकी है लेकिन अब तक उसका हल नहीं निकल पाया है। उधर, फोन पर एई सूर्यप्रकाश का कहना था कि तीन दिन पूर्व ही मामला उनके संज्ञान में आया है। कैशियर से, संबंधित कार्य के भुगतान से जुड़े रिकार्ड तलब कर लिए गए हैं, जो सही होगा, उसके अनुरूप प्रक्रिया अपनाई जाएगी।

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