UP Election 2022: क्या आजम खां पहली बार जेल में रहकर चुनाव लडेंगे, आइये जाने इस चुनाव रिपोर्ट में

UP Election 2022: पूर्व कैबिनेट मंत्री एंव लोकसभा सदस्य आजम खां राजनीति में 1977 से ही सक्रिय रहे हैं। पहली बार जनता पार्टी के टिकट पर 1980 में वह चुनाव जीते थें।

Published By :  Divyanshu Rao
Update: 2022-01-18 14:56 GMT

आजम खान की तस्वीर 

UP Election 2022: समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) संस्थापक मुलायम सिंह यादव (Mulayam Singh Yadav) के हमसफर और उनके बेटे अखिलेश यादव (Akhiesh Yadav) की सरकार में सबसे ताकतवर कैबिनेट मंत्री मो आजम खां (Azam Khan) इन दिनों जेल में हैं। रामपुर विधानसभा सीट से नौ बार विधायक रहे मो आजम खां के राजनीतिक कैरियर में यह पहला अवसर होगा जब वह जेल के अंदर रहकर चुनाव लडेंगे। इस समय वह लोकसभा के सदस्य हैं पर यूपी की राजनीति में एक बड़ा कद होनेके कारण एक बार फिर वह विधानसभा चुनाव लड़ने की तैयारी में हैं।

पूर्व कैबिनेट मंत्री एंव लोकसभा सदस्य आजम खां राजनीति में 1977 से ही सक्रिय रहे हैं। पहली बार जनता पार्टी के टिकट पर 1980 में वह चुनाव जीते थें। इसके बाद चौ चरण सिंह के लोकदल से  दूसरी बार 1985 में विधायक बने। फिर  1989 में जनता दल से चुनाव जीतकर तीसरी बार विधायक बने। राममंदिर आंदोलन के समय  1991 में चौथी बार जनता जनता दल से चुनाव में विजय हासिल कर फिर 1996 से 2017 तक उनकी जीत का सफर जारी है। 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने हिस्सा लिया और रामपुर लोकसभा सीट से चुनाव जीतकर संसद पहुंचे। जबकि रिक्त हुई सीट पर अपनी पत्नी तंजीम फातिमा को चुनाव जिताकर विधानसभा पहुंचाने का काम किया।

आजम खान की तस्वीर 

उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ की 2017 में सरकार बनने के बाद से  पूर्व कैबिनेट मंत्री मो आजम खां के ऊपर दर्जनों मुकदमें हैं जिसके चलते वह 26 फरवरी 2020 से जेल में हैं। इससे पहले मो आजम खान, उनकी पत्नी विधायक पत्नी तंजीम फातिमा भी जेल में थी पर वह जमानत के बाद जेल से बाहर आ चुकी हैं। लेकिन मो आजम खां अभी भी जेल हैं।  

आजम खां के बेटे अब्दुल्लाह आजम खान ने पिछला विधानसभा का चुनाव स्वार टांडा से लड़ा था और वे विजय घोषित हुए थे। उसमें जो जन्म प्रमाण पत्र को लेकर मामला कोर्ट में पहुंचा। इसके बाद उन्हे जेल भी जाना पड़ा । यही नहीं  16 दिसंबर 2019 को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अब्दुल्लाह आजम खान की विधानसभा की सदस्यता रद्द कर दी थी। तब से यह सीट खाली चल रही है। अब जब विधानसभा चुनाव की घोषणा हो चुकी है तो अब्दुल्ला इस सीट से चुनाव मैदान में उतरने को तैयार हैं। समाजवादी पार्टी में आजम खां सबसे बडे मुस्लिम चेहरा हैं। उनके ही प्रभाव से समाजवादी पार्टी के प्रति मुस्लिम वोट बैंक का रूझान रहा है।

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