UP News: कौन था चंदन गुप्ता? जिसकी हत्या के बाद यूपी की नहीं देश भर में मच गया था बवाल

UP News: 26 जनवरी 2018 को तिरंगा यात्रा के दौरान बीकॉम के छात्र चंदन गुप्ता की बेरहमी के साथ हत्या कर दी गई थी। यह घटना उस समय हुई जब युवक तिरंगा यात्रा निकाल रहे थे।;

Update:2025-01-03 19:26 IST

UP News: Chandan Gupta murder case (Pic:Social Media) 

Chandan Gupta murder case: 26 जनवरी 2018 को कासगंज में एक ऐसी घटना हुई, जिससे उत्तर प्रदेश में ही नहीं बल्कि देश के लोगों में गुस्सा था। हर लोग इसकी निंदा कर रहे थे। दरअसल सात साल पहले यूपी के कासगंज में 26 जनवरी को तिरंगा यात्रा निकाला जा रहा था और इसी दौरान चंदन गुप्ता नाम के एक युवक की बेरहमी से हत्या कर दी गई। एनआईए कोर्ट ने आज यानी शुक्रवार तीन जनवारी 2025 को इस मामले में दोषी ठहराए गए 28 आरोपियों को उम्र कैद की सजा सुनाई।

26 जनवरी 2018 को तिरंगा यात्रा के दौरान बीकॉम के छात्र चंदन गुप्ता की बेरहमी के साथ हत्या कर दी गई थी। यह घटना उस समय हुई जब युवक तिरंगा यात्रा निकाल रहे थे। इसी दौरान युवकों की मुस्लिम मोहल्ले में लड़कों के साथ किसी बात को लेकर कहा सुनी हो गई जो झड़प में बदल गई और पत्थर चलने लगे। इसी दौरान गोली चली और चंदन गुप्ता इसकी चपेट में आकर बुरी तरह से घायल हो गया। उसे तत्काल अस्पताल ले जाया गया जहां पर इलाज के दौरान उसने दम तोड़ दिया। फिर क्या था इसके बाद कासगंज तो जल ही उठा साथ ही यूपी और देश में इस घटना का लोगों ने जमकर विरोध किया।

एनआईए कोर्ट ने घटना में दोषी ठहराए गए 28 आरोपियों को उम्र कैद की सजा सुनाई। कोर्ट ने जब दोषियों को सजा सुनाई तो चंदन गुप्ता के भाई की आंखों से आंसू छलक आया कि उन्हें अब जाकर अपने भाई की हत्या के मामले में न्याय मिला है। एनआईए कोर्ट ने गुरुवार को ही इस मामले के 30 में से 28 आरोपियों को दोषी करार दिया था। वहीं, दो आरोपी साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिए गए थे।


जानिए कौन था चंदन गुप्ता?

कासगंज का रहने वाला चंदन गुप्ता एक सामान्य घर का युवक था। वह बी कॉम का स्टूडेंट था। वह अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का सदस्य था। चंदन का विश्व हिंदू परिषद और हिंदू युवा वाहिनी के साथ भी जुड़ाव था। इलाके में चंदन की पहचान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कट्टर समर्थक के रूप में थी।

चंदन के पिता सुशील गुप्ता एक अस्पताल में कंपाउंडर थे। सुशील गुप्ता के तीन बच्चों में चंदन सबसे छोटा था। चंदन पढ़ाई के साथ-साथ एक सामाजिक संस्था भी चलता था। 26 जनवरी 2018 को गणतंत्र दिवस के मौके पर चंदन गुप्ता और उसके साथियों ने तिरंगा यात्रा निकालने की घोषणा की थी।


जब 26 जनवरी 2018 को तिरंगा यात्रा निकाली गई तो इसी दौरान टोली की बड्डूनगर इलाके में मुस्लिम युवकों से झड़प हो गई। माहौल इतना गरमा गया कि पत्थरबाजी शुरू हो गई। इसके बाद फायरिंग में चंदन गुप्ता को गोली लग गई जिससे वह बुरी तरह घायल हो गया और अस्पताल में इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। इस मामले में चंदन के पिता ने तीन भाइयों सलीम, वसीम और वकार को मुख्य आरोपी बनाते हुए 29 के खिलाफ मामला दर्ज कराया था।

जल उठा था पूरा कासगंज

चंदन हत्याकांड सोशल मीडिया से लेकर मीडिया जगत में कई दिनों तक छाया रहा। लोगों ने इस घटा की जमकर निंदा की थी। इस घटना के बाद से पूरा कासगंज करीब एक सप्ताह तक आग में जलता रहा था। लोग चंदन की हत्या का जमकर विरोध कर रहे थे और आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने की मांग कर रहे थे। 3 जनवरी को इस मामले एनआईए कोर्ट के अपना फैसला सुनाया है। कोर्ट के इस फैसले से चंदन के शुभचिंतक और उसे चाहने वाले इसे कानून की जीत बता रहे हैं।

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