Supreme Court: आनंद मोहन की रिहाई को IAS जी कृष्णैया की पत्नी ने SC में दी चुनौती, 8 मई को होगी सुनवाई

Supreme Court: आनंद मोहन की जेल से समय से पहले हुई रिहाई के मामले में सुनवाई करने के लिए सुप्रीम कोर्ट तैयार हो गया है। मामले की सुनवाई 8 मई को होगी। सुप्रीम कोर्ट में दिवगंत आएएस अधिकारी जी कृष्णैया की पत्नी उमा कृष्णैया ने दायर की है।

Update: 2023-05-01 14:51 GMT
आईएएस जी कृष्णैया की पत्नी उमा कृष्णैया ( सोशल मीडिया)

Supreme Court: आनंद मोहन की जेल से समय से पहले हुई रिहाई के मामले में सुनवाई करने के लिए सुप्रीम कोर्ट तैयार हो गया है। मामले की सुनवाई 8 मई को होगी। सुप्रीम कोर्ट में दिवगंत आएएस अधिकारी जी कृष्णैया की पत्नी उमा कृष्णैया ने दायर की है। इससे पहले, उमा कृष्णैया ने प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति से आनंद मोहन की रिहाई के मामले में हस्तक्षेप करने की मांग की थी। उन्होंने कहा था कि इससे अपराधियों के हौसले बुलंद होंगे और समाज में एक गलत संदेश जाएगा।

मारे गए आईएएस अधिकारी जी कृष्णैया की पत्नी उमा कृष्णैया ने सहरसा जेल से बिहार के सांसद आनंद मोहन की समय से पहले रिहाई को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया। बता दें, गोपालगंज जिले के आईएएस अधिकारी जी कृष्णैया की 1994 में हत्या कर दी गई थी। इस मामले में बाहुबली नेता आनंद मोहन का सामने आया था। भीड़ को उकसाने के मामले में वह दोषी पाए गए थे, जिसके बाद उन्हें फांसी की सजा सुनाई गई थी। हालांकि, बाद में कोर्ट ने उनकी सजा को बदलकर उम्रकैद में तब्दील कर दिया था।

जेल नियमों में बदलाव करके आनंद मोहन को किया गया रिहा

बिहार की नीतीश सरकार ने बीते 10 अप्रैल को जेल मैनुअल में बदलाव किया था। इस बदलाव के तहत आनंद मोहन समेत 26 कैदियों को सहरसा जेल से रिहा किया गया था। बिहार सरकार ने जिस नियम को बदला था, उसमें पहले ड्यूटी के दौरान हत्या के मामले में जेल से रिहाई का प्रावधान नहीं था। सरकार ने इसे बदल दिया, जिसके बाद आनंद मोहन को रिहा किया गया।

क्या है मामला?

तेलंगाना के रहने वाले आईएएस अधिकी जी कृष्णैया को 1994 में भीड़ ने पीट-पीटकर मार डाला था, जब उनके वाहन ने मुजफ्फरपुर जिले में गैंगस्टर छोटन शुक्ला के अंतिम संस्कार के जुलूस को आगे निकलने की कोशिश की थी। जुलूस का नेतृत्व तत्कालीन विधायक मोहन कर रहे थे।

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