भाजपा व शिवसेना के रिश्तों में तल्खी बढ़ी

Update:2018-06-01 14:21 IST

मुंबई: महाराष्ट्र में भाजपा व शिवसेना के रिश्तों में खटास बढ़ती जा रही है। शिवसेना भारतीय जनता पार्टी के जले पर नमक छिडक़ने का कोई मौका नहीं छोड़ती। हाल के दिनों में दोनों पार्टियों के बड़े नेता एक-दूसरे के खिलाफ तल्ख बयानबाजी कर रहे हैं जिससे माना जाने लगा है कि अगले आम चुनाव में दोनों के बीच गठबंधन की संभावनाएं खत्म हो गयी सी लगती हैं। दोनों पार्टियों के रिश्ते में अजीब विरोधाभास दिखता है। दोनों साथ तो हैं मगर दोनों दलों के नेताओं के भाषणों से ऐसा लगता नहीं। पिछले कुछ दिनों से भाजपा के खिलाफ कड़े तेवर अपनाने वाले शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने पालघर लोकसभा उपचुनाव में हार के बाद कहा कि भाजपा को अब दोस्त की जरुरत नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि चार सालों में भाजपा ने लोकसभा में बहुमत गंवा दिया है।

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महाराष्ट्र में हुए उपचुनाव के नतीजे भी बीजेपी के लिए ज्यादा अच्छे नहीं रहे हैं। हालांकि राज्य की पालघर लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में बीजेपी ने जीत दर्ज की है,लेकिन भंडारा-गोंदिया सीट पर एनसीपी उम्मीदवार मधुकर कुकुड़े ने बीजेपी का आसमान दिखा दिया। कांग्रेस ने इस सीट पर एनसीपी को समर्थन दिया था। पालघर लोकसभा उपचुनाव में बीजेपी ने शिवसेना को हरा तो दिया,लेकिन उसे यहां भी लड़ाई लडऩी पड़ी। वहीं पलूस काडेगांव विधानसभा सीट पर हुए उपचुनाव में कांग्रेस को निर्विरोध जीत हासिल हो गयी।

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उद्धव बोले-भाजपा पैसे के दम पर जीती

नतीजे की घोषणा के बाद मीडिया से बातचीत में उद्धव ने आरोप लगाया कि बीजेपी ने पैसे के दम पर चुनाव जीता है। उन्होंने दावा किया कि मतदान से एक दिन पहले भाजपा कार्यकर्ताओं को पैसे बांटते हुए देखा गया था। भाजपा ने पैसे बांटकर यह चुनाव जीता है। उन्होंने ईवीएम में आई दिक्कतों को लेकर चुनाव आयोग पर भी निशाना साधा। ठाकरे ने कहा कि चुनाव आयोग के खिलाफ भी करप्ट सिस्टम के लिए केस दर्ज होने चाहिए। उद्धव ने कहा कि हम दुविधा में थे कि उम्मीदवार उतारें या नहीं, लेकिन 2014 के मुकाबले भाजपा के वोट कम हुए हैं। उद्धव ने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि यूपी की जनता ने बीजेपी को गोरखपुर में रिजेक्ट कर दिया मगर योगी आदित्यनाथ ने महाराष्टï्र आकर शिवाजी के बहाने शिवसेना पर हमला किया।

बात पीठ में खंजर भोंकने तक पहुंच गयी

चुनाव प्रचार के दौरान भी भाजपा व शिवसेना नेताओं के बीच तीखे बाण चलते रहे। दोनों दलों के नेताओं ने एक दूसरे पर विश्वासघात तक के आरोप लगाए। मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडऩवीस के शिवसेना पर धोखा देने का आरोप लगाए जाने के कुछ दिन बाद ही शिवसेना ने भाजपा को सनकी खूनी बताते हुए कहा कि इसके रास्ते में जो भी आ रहा है वह उसे खंजर मार रही है। शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामना में कहा कि उत्तर प्रदेश के ढोंगी मुख्यमंत्री ने चुनाव अभियान के लिए पालघर का दौरा किया और कहा कि शिवसेना ने भाजपा की पीठ में खंजर घोंपा। यह दिखाता है कि वह छत्रपति शिवाजी के इतिहास को नहीं समझ पाए हैं। पार्टी ने आरोप लगाया कि आज भाजपा एक पागल हत्यारा बन गई है जो अपने रास्ते में आने वाले किसी को भी खंजर मार रही है। फडऩवीस ने हाल में कहा था कि शिवसेना ने पालघर लोकसभा उपचुनाव में दिवंगत सांसद चिंतामन वनगा के पुत्र को चुनाव मैदान में उतारकर भाजपा को धोखा दिया है। शिवसेना ने कहा कि भाजपा उन लोगों को अवसर दे रही है जिन्होंने बाला साहेब (ठाकरे) की पीठ में खंजर भोंका था।

शिवसेना ने की थी राहुल की बात

गुजरात विधानसभा चुनाव में बीजेपी को मिली जीत के बाद भी शिव सेना ने बीजेपी पर निशाना साधा था। उन्होंने कहा था कि बीजेपी की जीत हुई है,लेकिन चर्चा कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की हो रही है। गुजरात और हिमाचल प्रदेश की जीत के लिए हम बीजेपी का स्वागत करते हैं लेकिन कांग्रेस ने जो सफलता हासिल की है, वो भी महत्वपूर्ण है। गुजरात में बीजेपी को 150 से एक भी कम सीटें नहीं मिलेगी, ऐसा सीना ठोक कर कहा जा रहा था, लेकिन 100 का आंकड़ा छूने में भी पार्टी की सांस फूल गई।

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