BMC elections 2025: शिंदे का बड़ा ऐलान,महायुति के साथ मिलकर लड़ेंगे,अकेले ताल ठोक सकती है उद्धव सेना

BMC elections 2025: सीएम एकनाथ शिंदे ने बीएमसी चुनाव को लेकर अपना रुख साफ कर दिया है। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन के साथ मिलकर बीएमसी चुनाव लड़ेगी।;

Report :  Anshuman Tiwari
Update:2024-12-13 10:12 IST

BMC चुनाव को लेकर शिंदे का बड़ा ऐलान,महायुति के साथ मिलकर लड़ेंगे,अकेले ताल ठोक सकती है उद्धव सेना (न्यूजट्रैक)

BMC elections 2025: महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव के बाद अब सबकी निगाहें अगले साल होने वाले बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) चुनाव पर लगी हुई हैं। इस बीच महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम एकनाथ शिंदे ने बीएमसी चुनाव को लेकर अपना रुख साफ कर दिया है। उन्होंने कहा कि उनकी पार्टी सत्तारूढ़ महायुति गठबंधन के साथ मिलकर बीएमसी चुनाव लड़ेगी। उन्होंने कहा कि मुंबई को देश का सबसे बड़ा और विकसित नगर निगम बनाने के लिए एकजुट होकर लड़ाई लड़ना जरूरी है।

दूसरी ओर महाविकास अघाड़ी गठबंधन में शामिल शिवसेना का उद्धव गुट बीएमसी चुनाव में अकेले ताल ठोक सकता है। पार्टी के कई नेताओं ने इसके लिए पार्टी मुखिया उद्धव ठाकरे पर दबाव बढ़ा दिया है।

बीएमसी चुनाव को लेकर साफ कर दिया रुख

दरअसल महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन के समय से ही शिंदे की नाराजगी की बात सामने आती रही है। इसके बाद बीएमसी चुनाव में उनके पार्टी के रुख को लेकर भी सवाल खड़े किए जा रहे थे मगर शिंदे ने अब अपना रुख साफ कर दिया है। उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य दोनों जगह पर सत्तारूढ़ गठबंधन की ही सरकार है। अब बीएमसी पर नियंत्रण स्थापित करना जरूरी है ताकि इसे सबसे विकसित नगर निगम बनाया जा सके।

शिंदे ने कहा कि उनकी सरकार के समय मुंबई के विकास और सड़कों को गड्ढा मुक्त बनाने के लिए कई बड़े कदम उठाए गए जिसका असर विधानसभा चुनाव में दिखा था। हाल में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान महायुति ने मुंबई की 36 में से 22 सीटों पर जीत हासिल करके अपनी ताकत दिखाई है। अब बीएमसी चुनाव में भी हम अपनी ताकत दिखाने के लिए तैयार हैं।

उद्धव की शिवसेना पर बोला हमला

शिंदे ने कहा कि बीएमसी में लंबे समय तक उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाली शिवसेना का कब्जा रहा है मगर उनकी पार्टी ने कभी मुंबई की हालत सुधारने की दिशा में कोई काम नहीं किया। बीएमसी में 25 वर्षों तक प्रभुत्व होने के बावजूद पार्टी विकास कार्यों को लेकर उदासीन बनी रही। इसलिए अब हम इस दिशा में मजबूती से काम करने के लिए आगे आए हैं। उन्होंने पार्टी पदाधिकारियों और जनप्रतिनिधियों को संगठन को मजबूत बनाने और मुंबई नगर निगम के हर वार्ड में सदस्यता अभियान चलाने का निर्देश भी दिया।

अलग चुनाव लड़ सकती है उद्धव की शिवसेना

सत्तारूढ़ महायुति भले ही एकजुट होकर बीएमसी चुनाव लड़ने की तैयारी में जुटी हुई हो मगर महाविकास अघाड़ी गठबंधन में बिखराव के संकेत मिल रहे हैं। सियासी जानकारों का कहना है कि इस बार के चुनाव में उद्धव ठाकरे की शिवसेना अलग चुनाव लड़ सकती है।

दरअसल विधानसभा चुनाव में एमवीए के शर्मनाक प्रदर्शन के बाद उद्धव ठाकरे पर एक बार फिर हिंदुत्व की ओर लौटने का दबाव बढ़ गया है। पार्टी के कई नेता उद्धव ठाकरे पर बीएमसी चुनाव अकेले लड़ने के लिए दबाव बना रहे हैं।

हालांकि उद्धव ठाकरे ने अभी तक अपना रुख साफ नहीं किया है मगर इस तरह के संकेत मिल रहे हैं कि पार्टी अकेले चुनावी अखाड़े में उतर सकती है। बीएमसी को देश की सबसे बड़ी म्युनिसिपल बॉडी माना जाता है और इसका सालाना बजट करीब 60 हजार करोड़ रुपए का है। बीएमसी में मौजूदा समय में शिवसेना के उद्धव गुट का प्रभुत्व है। ऐसे में पार्टी आने वाले दिनों में भी बीएमसी में अपना प्रभुत्व बनाए रखना चाहती है।

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