Amarnath Yatra 2024: अमरनाथ यात्रा के लिए यात्रियों का पहला जत्था रवाना, मनोज सिन्हा ने दिखाई हरी झंडी

Amarnath Yatra 2024: अमरनाथ यात्रा के लिए जम्मू कश्मीर बेस कैंप से यात्रियों का पहला जत्था रवाना किया गया। जम्मू कश्मीर के एलजी मनोज सिन्हा ने यात्रा को हरी झंडी दिखाई।

Newstrack :  Network
Update: 2024-06-28 02:57 GMT

उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने दिखाई हरी झंडी। (Pic: Social Media)

Amarnath Yatra 2024: अमरनाथ बाबा बर्फानी के दर्शन का इंतजार करने वाले श्रद्धालुओं का इंतजार आज खत्म हुआ। अमरनाथ यात्रा 2024 के लिए श्रद्धालुओं का पहला जत्था आज जम्मू कश्मीर के बेस कैंप से रवाना किया गया। ये जत्था आज सुबह तड़के चार बजे अमरनाथ दर्शन के लिए रवाना किया गया। यात्रा को जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने हरी झंडी दिखाई। हरी झंडी दिखाने से पहले मनोज सिन्हा ने भगवान की पूजा अर्चना भी की। यात्रियों को जम्मू के भगवती नगर स्थित कैंप से पहलगाम और बालटाल के लिए रवाना किया गया है। इस दौरान यात्रियों की सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किया गया है। 

पहले जत्थे में दो हजार से ज्यादा श्रद्धालु

बाबा अमरनाथ के दर्शन के लिए बेस कैंप में भारी भीड़ लगी है। देश के कोने से कोने से लोग अमरनाथ के दर्शन के लिए पहुंच रहे हैं। अधिकारियों के मुताबिक कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच 1600 तीर्थयात्री कश्मीर के बेस कैंप में पहुंच चुके हैं। यहीं से उनके आगे की सफर की शुरुआत होगी। सभी श्रद्धालु दक्षिण कश्मीर हिमालय में 3,880 उंचे स्थित पवित्र अमरनाथ गुफा में शिवलिंग के दर्शन करने के लिए उत्साहित हैं। हालांकि पहले जत्थे में दो हजार श्रद्धालुओं को रवाना किया गया है। इस दौरान बेस कैंप में बम-बम भोले के नारे लगते रहे। महिलाओं सहित 800 से ज्यादा साधु पारंपरिक राम मंदिर और गीता भवन पहुंचे। यहां पहुंच रहे श्रद्धालु दक्षिण कश्मीर हिमालय में 3,880 मीटर ऊंचे पवित्र गुफा मंदिर, में प्राकृतिक रूप से बने बर्फ के शिवलिंग के दर्शन करने के लिए उत्साहित हैं। 

यात्रियों का रखा जाएगा ख्याल

अमरनाथ यात्रा को जाने वाले यात्रियों का खास ख्याल रखा जाएगा। पहला जत्था रवाना होने से पहले गुरुवार को तैयारियों को पूरा कर लिया गया। इसमें इस बात का खास ध्यान रखा गया है कि यात्रियों को किसी प्रकार की परेशानी न हो। साथ ही प्रशासन ने सुरक्षा व्यवस्था से लेकर यातायात, सफाई व्यवस्था, लंगर सुविधा आदि की चाक चौबंद व्यवस्था की है। यात्रा के दौरान बारिश होने की भी संभवाना जताई जा रही है। इस दौरान भी किसी तरीके की परेशानी न हो इसका पूरा ध्यान रखा जा रहा है। जम्मू-श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग पर भूस्खलन आदि होने पर भी श्रद्धालुओं को ज्यादा देर न रुकना पड़े, इसके लिए भी विशेष व्यवस्था की गई है। 

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