West Bengal News: पश्चिम बंगाल में ममता की मुश्किलें बढ़ीं, BJP के हिंदुत्व कार्ड से TMC के लिए पैदा हुई बड़ी चुनौती
West Bengal News: पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव अगले साल होने वाले हैं। मगर भारतीय जनता पार्टी ने राज्य में हिंदुत्व कार्ड चलते हुए ध्रुवीकरण की कोशिशें शुरू कर दी हैं।;
West Bengal News: पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव अगले साल होने वाले हैं। मगर भारतीय जनता पार्टी ने राज्य में हिंदुत्व कार्ड चलते हुए ध्रुवीकरण की कोशिशें शुरू कर दी हैं। रामनवमी के मौके पर भाजपा ने पूरे पश्चिम बंगाल में बड़ी यात्राएं निकालीं और इन यात्राओं में हजारों लोगों ने शिरकत की है। भाजपा ने रामनवमी की शोभायात्रा पर हमले का आरोप लगाकर मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की घेरेबंदी भी की है। हिंदुत्व के मुद्दे पर भाजपा को विश्व हिंदू परिषद और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से भी पूरी मदद मिल रही है। ग्रामीण इलाकों में भी भाजपा संघ और विहिप की मदद से अपना आधार मजबूत बनाने में जुटी है।
पश्चिम बंगाल के भाजपा के प्रमुख चेहरे शुभेंदु अधिकारी ने नंदीग्राम में अयोध्या की तर्ज पर भव्य राम मंदिर बनाने का ऐलान किया है। यह पश्चिम बंगाल का सबसे बड़ा राम मंदिर होगा। रामनवमी के मौके पर इस बार भाजपा की रणनीति काफी आक्रामक रही है। इससे साफ हो गया है कि भाजपा अभी से ही राज्य में हिंदू वोटो को गोलबंद करने की मुहिम में जुट गई है। भाजपा की यह मुहिम टीएमसी मुखिया और राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के लिए बड़ी चुनौती साबित हो सकती है।
पिछले चुनाव में दोनों प्रमुख दलों की स्थिति
पश्चिम बंगाल में हिंदू आबादी करीब 70 फ़ीसदी है जबकि मुसलमानों की संख्या करीब 27 फीसदी है। पिछले कुछ विधानसभा चुनावों से ममता बनर्जी मुस्लिम मतदाताओं का बड़ा समर्थन पाने में कामयाब रही हैं जबकि अन्य वर्गों में भी उन्हें समर्थन मिलता रहा है। इसी के दम पर वे लगातार विधानसभा चुनाव जीतने में कामयाब रही हैं। यदि 2021 में हुए पिछले विधानसभा चुनाव की बात की जाए तो भाजपा 38.15 फ़ीसदी वोट शेयर के साथ 77 सीटों पर जीत हासिल करने में कामयाब हुई थी।
दूसरी ओर ममता बनर्जी की पार्टी टीएमसी को करीब 48 फ़ीसदी वोट मिले थे और पार्टी ने 215 सीटों पर जीत हासिल करते हुए भाजपा को करारी शिकस्त दी थी। दोनों पार्टियों के वोट शेयर में करीब 10 फीसदी का अंतर था।
ऐसे में भाजपा नेताओं का मानना है कि इस अंतर को पाटने के लिए हिंदू मतदाताओं की गोलबंदी जरूरी है। भाजपा नेताओं को मानना है कि यदि पार्टी हिंदू मतों के पांच से सात फ़ीसदी अतिरिक्त मतों को जुटाने में कामयाब रही तो पश्चिम बंगाल में सत्ता की बाजी पलट सकती है।
70 फीसदी हिंदू मतदाताओं पर निगाहें
यही कारण है कि भाजपा ने बड़ी सोची समझी रणनीति के तहत राज्य में हिंदू कार्ड चला है। वक्फ संशोधन विधेयक पर चर्चा के दौरान टीएमसी के एक सांसद की ओर से टोका-टाकी करने पर गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था कि सीना ठोक कर बताएंगे, दिल्ली जीत लिया, अब पश्चिम बंगाल भी जीतेंगे।
भाजपा नेताओं की ओर से बंगाल में खुलेआम 70 फ़ीसदी हिंदू राम की सेना का बयान दिया जा रहा है। रामनवमी के मौके पर पश्चिम बंगाल के विभिन्न हिस्सों में जो नजारा दिखा, वह निश्चित रूप से मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की धड़कनें बढ़ाने वाला साबित हो रहा है।
रामनवमी पर भाजपा और विहिप का शक्ति प्रदर्शन
रामनवमी पर निकाले गए जुलूस और शोभायात्राओं में काफी संख्या में लोगों ने हिस्सा लिया। राज्य में भाजपा, विश्व हिंदू परिषद और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की ओर से दो हजार से अधिक शोभायात्राएं निकाली गईं। पश्चिम बंगाल में भाजपा के वरिष्ठ नेता शुभेंदु अधिकारी ने दावा किया है कि रामनवमी के मौके पर निकाली गई शोभायात्राओं में एक करोड़ से अधिक लोगों ने हिस्सा लिया है। इसे हिंदू ध्रुवीकरण की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है और भाजपा का यह कदम निश्चित रूप से ममता बनर्जी की चिंताएं बढ़ाने वाला साबित हो रहा है।
पश्चिम बंगाल भाजपा के अध्यक्ष सुकांत मजूमदार का कहना है कि रामनवमी जैसे त्योहार के मौके पर भारी पुलिस बल की तैनाती इस बात का सबूत है कि राज्य सरकार की ओर से हिंदुओं को दबाने की कोशिश की जा रही है।
राज्य के 70 फ़ीसदी से अधिक हिंदू आबादी को अपना त्यौहार मनाने के लिए भी कोर्ट की मदद लेनी पड़ रही है। राज्य सरकार के इस कदम ने राज्य के लोगों को बहुत कुछ सोचने पर मजबूर कर दिया है।
हिंदुओं को परेशान करने का विहिप का आरोप
विश्व हिंदू परिषद का भी आरोप है कि पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु में हिंदुओं को परेशान किया जा रहा है। विहिप के नेता आलोक कुमार ने कहा कि पश्चिम बंगाल की टीएमसी सरकार की ओर से बांग्लादेशी घुसपैठियों की मदद की जा रही है। सरकार की और से इन घुसपैठियों को वोटर और राशन कार्ड बनाने में मदद की जा रही है। दूसरी और हिंदुओं के अधिकारों को कुचलने का प्रयास किया जा रहा है। अब इसे आगे और बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। विहिप नेता का यह बयान भी हिंदू मतों की गोलबंदी के लिए की जा रही कोशिशों का संकेत देता है।
भाजपा की मदद के लिए संघ भी सक्रिय
भाजपा और विहिप के साथ ही संघ ने भी पश्चिम बंगाल में सक्रिय भूमिका निभानी शुरू कर दी है। संघ ने अपने कैडर से 2026 के विधानसभा चुनाव के लिए तैयार रहने को कहा है। जमीनी स्तर पर काम करने वाले संघ की मदद से भाजपा के लिए वोट जुटाने का काम आसान साबित हो सकता है।
संघ के मुखिया मोहन भागवत भी जल्द ही पश्चिम बंगाल का दौरा करने वाले हैं। इससे साफ है कि हिंदुत्व के मुद्दे पर मतदाताओं को एकजुट बनाने की तैयारी की जा रही है। इसके साथ ही भाजपा विहिप और संघ की मदद से ग्रामीण इलाकों में भी अपना आधार मजबूत बनाने की कोशिश में जुटी हुई है।