ब्रह्मपुत्र नदी में सुरंग बनाएगी सरकार, ये है पहला ऐसा अंडर वॉटर टनल, क्या करेगा चीन
लद्दाख की गलवान घाटी में भारत और चीन के बीच हुए विवाद के बाद मोदी सरकार ब्रह्मपुत्र नदी के नीचे चीन से भी लंबी सुरंग बनाने की तैयारी कर ली है।
नई दिल्ली: लद्दाख की गलवान घाटी में भारत और चीन के बीच हुए विवाद के बाद मोदी सरकार ब्रह्मपुत्र नदी के नीचे चीन से भी लंबी सुरंग बनाने की तैयारी कर ली है। सरकार ने ब्रह्मपुत्र नदी के नीचे एनएच 54 से एनएच-37 को जोड़ने वाली इस फोर लेन टनल से अरुणाचल प्रदेश की कनेक्टिविटी और मजबूत करने के मकसद प्लान तैयार किया है।
सरकार द्वारा योजना को सैद्धांतिक मंजूरी देने के बाद माना जा रहा है कि टनल का निर्माण कार्य साल के अंत दिसंबर महीने में शुरू कर दिया जाएगा। केंद्र सरकार के उच्च स्तरीय सूत्रों के मुताबिक इस खास सुरंग का ब्रह्मपुत्र नदी के नीचे गोहपुर से नुमालीगढ़ तक निर्माण किया जाएगा।
यह सुरंग चार लेन की होगी जिसमें दो ट्यूब्स के अंदर 70 से 80 किलोमीटर प्रति घंटा के रफ्तार से वाहन दौड़ेंगे। इस सुरंग से अरुणाचल प्रदेश से लगने वाली सीमा तक सैन्य वाहन, रसद और सामरिक वस्तुओं की आपूर्ति आसानी से हो सकेगी।
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नेशनल हाइवेज ऐंड इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन ने अमेरिका की एक कंपनी के साथ इस परियोजना पर काम की शुरुआत हो गई है। प्रोजेक्ट के पूरा होने के बाद ये टनल ऐसी पहली सुरंग होगी, जिसे नदी के नीचे बनाया गया होगा।
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सुरंग में यात्रियों के आने जाने के लिए हवा के इंतजाम के लिए वेंटिलेशन सिस्टम, रोशनी के लिए लाइट्स, फायर फाइटर्स और ड्रेनेज सिस्टम भी लगाया जाएगा। हालांकि प्रोजेक्ट की लागत को लेकर फिलहाल कोई भी आधिकारिक जानकारी नहीं सामने आई है।
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