लोकसभा चुनाव 2024ः विवादित बयानों से चर्चा में रहे ये बयानवीर, आपत्तिजनक टिप्पणी और भड़काऊ भाषण से खूब गरमाई सियासत

Lok Sabha Election 2024: 2024 के लोकसभा चुनाव में भी बयानवीर चर्चा का केंद्र रहे। उनकी आपत्तिजनक टिप्पणी और भड़काऊ भाषण से सियासत भी जमकर गरमाई है।

Written By :  Ashish Kumar Pandey
Update:2024-06-07 11:17 IST

राहुल गांधी, आकाश आनंद, नवनीत राणा (photo: social media )

Lok Sabha Election 2024 : 2024 के लोकसभा चुनाव में जैसे-जैसे चुनाव के चरण एक के बाद एक आगे बढ़ते गए वैसे-वैसे बयानवीरों के बयान भी बेलगाम होते गए और उनकी भाषा बिगड़ती चली गई। वहीं चुनाव आयोग को भी दलों की तल्ख भाषा पर नसीहत देनी पड़ी।

यहां हम आपको कुछ ऐसे ही नेताओं के बारे में बताने जा रहे हैं जो लोकसभा चुनाव के दौरान अपने विवादित बयानों को लेकर काफी चर्चा में तो रहे ही लेकिन उनकी खूब किरकिरी भी हुई।

आकाश आनंद के बिगड़े बोल, यूपी सरकार को बता दी थी गद्दार व आतंकियों की सरकार-

लोकसभा चुनाव के दौरान उत्तर प्रदेश के सीतापुर में बसपा के राष्ट्रीय कोआर्डिनेटर रहे आकाश आनंद ने प्रदेश सरकार पर विवादित बयान दिया था। आकाश ने अपने बयान में यूपी सरकार को गद्दार व आतंकियों की सरकार बताई थी। वे यहीं नहीं रूके इसके अलावा उन्होंने वोट मांगने आने वाले अन्य दलों के नेताओं-समर्थकों को जूता मारने की बातें कही थी। इस मामले में आकाश आनंद समेत पांच लोगों पर केस दर्ज किया गया था। आकोश के इस बयान पर बीजेपी ने जमकर हमला बोला था। वहीं बसपा सुप्रीमो मायावती ने भी उन्हें राष्ट्रीय कोआर्डिनेटर के पद से हटा दिया है।


राहुल गांधी का ’शक्ति’ से लड़ने का बयान

हालांकि राहुल गांधी ने यह बयान बहुत पहले दिया था कि वह हिंदू धर्म की शक्ति से लड़ना चाहते हैं। लेकिन जब लोकसभा चुनाव की सरगर्मी तेज हुई, तो प्रधानमंत्री मोदी ने इसे मुद्दा बना दिया। राहुल गांधी ने कहा था, हिंदू धर्म में एक शक्ति शब्द होता है, हम शक्ति से लड़ रहे हैं। राहुल गांधी के इस बयान को मुद्दा बनाते हुए पीएम मोदी ने एक सभा के दौरान कहा था कि इंडी अलायंस ने खुलेआम ये घोषणा की है कि हिंदू धर्म की जिस शक्ति में आस्था होती है, उन्हें इस शक्ति का विनाश करना है।


सपा नेता का वोट जेहाद वाला बयान

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व विदेश मंत्री सलमान खुर्शिद की भतीजी मारिया आलम समाजवादी पार्टी की नेता हैं। जब वह फरुखाबाद में चुनाव प्रचार करने पहुंची, तो वोट जेहाद का राग अलापने लगीं। इस दौरान उन्होंने भाजपा पर जमकर हमला बोला और एक समुदाय विशेष को मिलकर एक ही पार्टी को वोट करने की अपील की। मारिया के इस बयान को धर्म के नाम पर मुस्लिम वोटरों को लामबंद करने वाला माना गया। मारिया के के इस बयान पर जहां समाजवादी पार्टी उनका बचाव कर रही थी तो वहीं बीजेपी ने इसको लेकर जमकर हमला बोली थी।


नवनीत राणा विवादित बयान-15 सेकेंड लगेंगे

अमरावती से भाजपा प्रत्याशी रहीं नवनीत राणा ने हैदराबाद में चुनाव प्रचार के दौरान भड़काऊ बयान दिया था। उन्होंने 2013 में अकबरुद्दीन ओवैसी के दिए गए बयान पर पलटवार किया था। राणा ने कहा था कि असदुद्दीन ओवैसी के छोटे भाई ने कहा था कि पुलिस को 15 मिनट के लिए हटा दें, मैं अकबरुद्दीन से कहना चाहती हूं कि आपको 15 मिनट लग सकते हैं, लेकिन हमें सिर्फ 15 सेकेंड लगेंगे। नवनीत राणा का यह बयान काफी सुर्खियों में रहा। वहीं इस बार नवनीत राणा अमरावती से लोकसभा का चुनाव हार गईं।


ओवैसी भी नहीं रहे पीछे

वहीं राणा के बयान पर असदुद्दीन ओवैसी ने कहा था कि मैंने छोटे को बहुत समझा कर रखा है। मेरे सिवाय वह किसी के बाप की नहीं सुनता है। अभी दो दिन बचे हैं, कहो तो छोटे को छोड़ दूं? बोलो कहां आना है 15 सेकेंड में...

विवादों में रही सैम पित्रोदा की नस्लीय टिप्पणी

लोकसभा चुनाव के दौरान ओवरसीज कांग्रेस के अध्यक्ष रहे सैम पित्रोदा ने एक नस्लीय टिप्पणी की थी। इस पर जमकर घमासान मचा था। पीएम मोदी ने पित्रोदा की टिप्पणी पर पलटवार करते हुए कांग्रेस और राहुल गांधी को जमकर घेरा था। लेकिन विवाद बढ़ने पर सैम पित्रोदा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। एक इंटरव्यू में पित्रोदा ने कहा था कि भारत जैसे विविधता से भरे देश को एकजुट रख सकते हैं। जहां पूर्व के लोग चीनी जैसे लगते हैं। पश्चिम क्षेत्र के लोग अरब और उत्तर के गोरों जैसे दिखते हैं। दक्षिण भारतीय अफ्रीकी जैसे लगते हैं। मगर हम सभी भाई-बहन हैं। उनकी यह टिप्पणी चुनाव में काफी चर्चा में भी रही।


फारूक अब्दुल्ला के बयान पर खूब मचा घमासान

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा था कि पीओके का भारत में विलय होगा। उनके इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए नेशनल कांफ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला ने कहा था कि अगर रक्षा मंत्री कह रहे हैं तो आगे बढ़ें, हम रोकने वाले कौन होते हैं? पाकिस्तान ने चूड़िया नहीं पहनी हैं। उसके पास भी परमाणु बम है, जो हम पर गिरेंगे। फारूक अब्दुल्ला के इस बयान पर बीजेपी ने जमकर हमला बोला था।


जब विवादित बयान पर घिरे पटवारी

वहीं मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने पूर्व मंत्री इमरती देवी पर आपत्तिजनक बयान दिया था। हालांकि इस मामले के तूल पकड़ते ही उन्होंने माफी भी मांग ली थी। इस मामले में पटवारी के खिलाफ अशोकनगर कोतवाली में एफआईआर भी दर्ज की गई थी। भाजपा ने पटवारी की टिप्पणी पर जमकर हमला बोला था और इसे महिला विरोधी बताया था।


चर्चा में रही सुरजेवाला की आपत्तिजनक टिप्पणी

हरियाणा के कैथल में कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने मथुरा से भाजपा प्रत्याशी और अभिनेत्री हेमा मालिनी पर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। इस मामले की शिकायत भाजपा ने चुनाव आयोग से की। इसके बाद सुरजेवाला पर 48 घंटे तक प्रचार करने पर रोक लगा दी गई थी। हालांकि सुरजेवाला ने अपनी सफाई में कहा था कि उनका इरादा अभिनेत्री का अपमान करना नहीं था।


सैम पित्रोदा का ’विरासत टैक्स’ वाला बयान पड़ा भारी

कांग्रेस के ओवरसीज विंग के चेयरमैन सैम पित्रोदा ने अमेरिका में बैठकर वहां कि तरह भारत में भी विरासत टैक्स लगाने की बात की थी। लेकिन उनका यह बयान भारत में कांग्रेस के लिए घात बन गया। उन्होंने कहा था, अमेरिका में 55 फीसदी विरासत कर लगता है। सरकार किसी की मृत्यु के बाद उसकी संपत्ति का 55 फीसदी हिस्सा ले लेती है। संपत्ति जनता के लिए छोड़नी चाहिए। अगर किसी व्यक्ति के पास 10 करोड़ डॉलर की संपत्ति है, तो उसके मरने के बाद 45 फीसदी संपत्ति उसके बच्चों को और 55 फीसदी संपत्ति सरकार की हो जाती है। इनहेरिटेंस टैक्स की पैरवी करते हुए पित्रोदा ने कहा कि भारत में ऐसा कानून नहीं है। ऐसे मुद्दों पर चर्चा करनी चाहिए और वे ऐसी नीतियों की बात कर रहे हैं, जो लोगों के हित में हो ना कि केवल अमीरों के हित में।

इसी विरासत टैक्स वाले बयान को लेकर प्रधानमंत्री मोदी ने लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान ऐसा माहौल बनाया कि हाथ का बटन दबाना... अपनी संपत्ति से भी हाथ धोना हो सकता है। पित्रोदा के इस बयान को लेकर पीएम मोदी ने कांग्रेस को जमकर घेरा था

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