इन राज्यों में हो सकती है बारिश, दिल्ली पर मंडरा रहा ये बड़ा खतरा
बारिश से सराबोर करने के बाद दक्षिण-पश्चिम मानसून की बुधवार को देश से विदाई हो गई। वर्ष 1961 के बाद से सबसे ज्यादा देरी से इस बार मानसून लौटा है। दक्षिण पश्चिम मानसून की सामान्य तौर पर एक सितंबर को वापसी की शुरुआत हो जाती है और 30 सितंबर तक यह पूरी तरह से वापस चला जाता है।
नई दिल्ली: बारिश से सराबोर करने के बाद दक्षिण-पश्चिम मानसून की बुधवार को देश से विदाई हो गई। वर्ष 1961 के बाद से सबसे ज्यादा देरी से इस बार मानसून लौटा है। दक्षिण पश्चिम मानसून की सामान्य तौर पर एक सितंबर को वापसी की शुरुआत हो जाती है और 30 सितंबर तक यह पूरी तरह से वापस चला जाता है।
मानसून की विदाई के बावजूद दक्षिण भारत के कई राज्यों में अगले 24 घंटों के दौरान बारिश होने का अनुमान है। चक्रवाती हवाओं का एक अक्षेत्र दक्षिण पूर्वी अरब सागर पर बन रहा है। मौसम विभाग के मुताबिक इसकी वजह से तमिलनाडु, केरल, तटीय कर्नाटक और दक्षिण आंतरिक कर्नाटक पर हल्की से मध्यम बारिश का अनुमान है।
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इसके अलावा एक दो स्थानों पर भारी बारिश भी हो सकती है। तटीय आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, रायलसीमा और उत्तर आंतरिक कर्नाटक में आने वाली समय में हल्की बारिश हो सकती है।
स्काईमेट के मुताबिक लक्षद्वीप में भी मध्यम से भारी बारिश की संभावना है। मध्य भारत में एक चक्रवाती हवाओं का अक्षेत्र अरब सागर पर बना हुआ है जिसकी वजह से दक्षिणी महाराष्ट्र में हल्की बारिश का अनुमान है। दक्षिणी छत्तीसगढ़ में बारिश का अनुमान है और मध्य प्रदेश, तेलंगाना और गुजरात में मौसम शुष्क रहेगा।
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मौसम विभाग के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में पश्चिमी विक्षोभ देखा गया है। साथ ही मध्य पाकिस्तान पर चक्रवाती हवाओं का अक्षेत्र बना हुआ है जिसकी वजह से जम्मू-कश्मीर में कुछ जगह पर बर्फबारी के साथ बारिश होने की उम्मीद है।
उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में हल्की बारिश की संभावना है। पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, पश्चिमी उत्तर प्रदेश और उत्तरी राजस्थान में मौसम शुष्क रहेगा। दिल्ली में हवा की गुणवत्ता खराब रहेगी। दिल्ली की हवा जहरीली हो चुकी है। गुरुवार को एयर क्वालिटी इंडेक्स 300 पार पहुंच गया है। इस स्तर को बेहद खराब माना जाता है।
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दिल्ली में प्रदूषण सांस के मरीजों और खासकर पांच साल से कम उम्र के बच्चों के लिए हानिकारक साबित हो रहा है। एम्स के डॉक्टरों ने चेतावनी दी है। उनके मुताबिक प्रदूषण बढ़ने पर आंखों में जलन व एलर्जी की समस्या शुरू हो जाती है। ऐसे में आंखों को मसलने से परेशानी बढ़ सकती है। बच्चों की आंखों की कॉर्निया कमजोर होती है।
डॉक्टरों के मुताबिक आंखों को मसलने से कॉर्निया प्रभावित हो सकती है और क्रेटोकोनस नामक बीमारी हो सकती है। इस कारण आंखों की रोशनी प्रभावित हो सकती है।