इंडिया गठबंधन में शामिल होंगे दो और बड़े दल! राज्यसभा में पलट जाएगा नंबर गेम, पीएम मोदी की बढ़ जाएंगी मुश्किलें

Rajya Sabha Seats: मौजूदा समय में उच्च सदन यानी राज्यसभा के अंदर बहुमत का आंकड़ा 113 का है। अभी किसी भी दल या गठबंधन के पास ये बहुमत नहीं है।

Written By :  Ashish Kumar Pandey
Update:2024-07-27 11:54 IST

Rahul Gandhi and PM Modi (photo: social media )

Rajya Sabha Seats: 2024 के लोकसभा चुनाव के जनादेश के बाद से देश की राजनीतिक स्थिति कई मायनों में बदली नजर आई। कई दोस्त आज विरोधी खेमे में नजर आ रहे हैं तो वहीं कई विरोधी अब सत्ता के साथ खड़े दिख रहे हैं। शायद इसी का नाम राजनीति है। राजनीति में कभी कोई किसी का न स्थाई दोस्त होता है और न ही स्थाई दुश्मन। जिसको जहां फायदा दिखता है वह वहां चला जाता है। ऐसा ही इस समय भी हो रहा है। एनडीए सरकार के कार्यकलाप से नाराज वाईएसआरसीपी और बीजेडी इंडिया गठबंधन का हिस्सा बन सकते हैं। अगर ये इंडिया गठबंधन का हिस्सा बनते हैं तो एनडीए और पीएम मोदी की मुश्किलें बढ़ सकती हैं।

कभी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के साथ दोस्ती का रिश्ता रखने वाली बीजू जनता दल (बीजेडी) अब उनकी विरोधी पार्टी बन चुकी है। अटकलें लगाई जा रही हैं कि बीजेडी की नजदीकियां इंडिया गठबंधन के साथ बढ़ रही हैं।

यह हो सकता है कारण

ये अटकलों का बाजार यूं ही गर्म नहीं हुआ है। दरअसल, बीजेडी के अध्यक्ष और ओडिशा के पूर्व मुख्यमंत्री जो कभी बीजेपी के साथी हुआ करते थे उन्होंने हाल ही में आए केंद्रीय बजट को ओडिशा विरोधी बताया। उन्होंने दावा किया कि केंद्र ने राज्य की वास्तविक चिंताओं को नजरअंदाज करने का काम किया, जबकि बीजेपी ने अपने घोषणा पत्र में ओडिशा के लिए कई चुनावी वादे किए थे। इतना ही नहीं, आश्चर्य इस बात का हुआ कि जब वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण बजट भाषण पढ़ रही थीं, उसी समय बीजेडी के सांसदों ने सदन से वॉकआउट कर दिया।


क्या वाईएसआरसीपी और बीजेडी देंगे झटका?

एक ओर बीजेडी एनडीए सरकार को बाहर से समर्थन भी दे रही है तो वहीं केंद्र सरकार के बजट का विरोध भी कर रही है। उधर, आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और वाईएसआरसीपी के अध्यक्ष जगन मोहन रेड्डी ने देश की राजधानी दिल्ली में मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। उनका आरोप है कि सत्ता में आने के बाद टीडीपी ने उनकी पार्टी के खिलाफ हिंसक रूप अपना लिया। जगन मोहन के इस विरोध प्रदर्शन में इंडिया गठबंधन के कई नेता भी शामिल हुए।


अब यहां समझिए राज्यसभा का गणित

जहां लोकसभा में बीजेडी का इस समय कोई भी सदस्य नहीं है तो वहीं वाईएसआरसीपी के 4 सांसद हैं। लोकसभा के अंदर ये दोनों पार्टियां भले ही बीजेपी और एनडीए सरकार को परेशान न कर पाएं लेकिन राज्यसभा में बीजेडी और वाईएसआरसीपी दोनों काफी मजबूत हैं। एक तरफ जहां वाईएसआरसीपी के राज्यसभा में 11 तो बीजेडी के 9 सदस्य हैं। अगर ये अटकलें हकीकत का रूप लेती हैं तो इंडिया गठबंधन संसद में और मजबूत हो जाएगा और सरकार को बिल पास कराने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा।


जानिए राज्यसभा में किसके कितने सदस्य

संसद के उच्च सदन यानी राज्यसभा में कुल 245 सीटें हैं, लेकिन मौजूदा समय में 19 सीटें खाली हैं। इस समय राज्यसभा में सदस्यों की संख्या 226 की है। संसद डॉट इन के मुताबिक जहां बीजेपी के कुल 87 सदस्य हैं तो वहीं कांग्रेस के 26, टीएमसी के 13, वाईएसआरसीपी के 11, आम आदमी पार्टी के 10, डीएमके के 10, बीजेडी के 9, मनोनीत सदस्य 6, आरजेडी के 6, एआईएडीएमके के 4, बीआरएस के 4, सीपीआईएम के 4, जेडीयू के 4, समाजवादी पार्टी के 4, जेएमएम के 3 सदस्यों के अलावा अन्य पार्टियों के एक-एक या दो-दो सदस्य हैं।

ऐसे में देखा जाए तो राज्यसभा में बहुमत का आंकड़ा 113 होता है। जिसमें एनडीए के 101 और विपक्षी गठबंधन के 87 सांसद हैं। अगर इन अटकलों को मानकर बीजेडी और वाईएसआरसीपी के 20 राज्यसभा सांसद इंडिया ब्लॉक में जोड़ दें तो ये आंकड़ा 107 हो जाता है जो एनडीए गठबंधन से ज्यादा है और ऐसे में सरकार को कोई बिल पास कराने में भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। हालांकि अभी वाईएसआरसीपी और बीजेडी दोनों ही पार्टियों की ओर से इस पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है।

राजनीतिक जानकारों की मानें तो बीजेडी का उड़ीसा में अब सीधा मुकाबला भाजपा से है। ऐसे में उसका भाजपा का विरोध करना राजनीतिक मजबूरी है। वहीं वाईएसआरसीपी अब आंध्र प्रदेश की सत्ता में नहीं हैं। 2019 से 2024 तक वह प्रदेश की सत्ता में थी तो भाजपा के साथ थी अब वहां टीडीपी की सरकार है और टीडीपी केंद्र की एनडीए सरकार का हिस्सा है। ऐसे में देखा जाए तो जगन मोहन की विरोधी पार्टी भाजपा के साथ है तो उनका भाजपा से दूरी बनाए रखना लाजमी है।




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