खबर का असर : कमेटी की शुरुआती जांच में रंजीत सिन्हा दोषी पाए गए

Update: 2016-07-12 12:13 GMT

नई दिल्ली: आने वाले दिनों में कोयला घोटाला मामले में पूर्व सीबीआई निदेशक रंजीत सिन्हा की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। सर्वोच्च न्यायालय की ओर से नियुक्त एम.एल. शर्मा कमेटी की तरफ से अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने मंगलवार को बताया कि शुरुआती जांच में समिति ने सिन्हा को कोयला घोटाला मामले को प्रभावित करने का दोषी पाया है।

गौरतलब है कि newztrack.com ने 18 मई को प्रकाशित अपनी खबर में कहा था कि आने वाले समय में कोयला घोटाला मामले में सीबीआई के पूर्व निदेशक रंजीत सिन्हा की मुश्किलें बढेंगी।

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कोर्ट ने क्या कहा कोर्ट में ?

-सुप्रीम कोर्ट में अटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने बताया, 'कमेटी की रिपोर्ट के मुताबिक, रंजीत सिन्हा के घर की विजिटर डायरी में मौजूद एंट्री सही लग रही हैं।

-कमेटी का मानना है कि रजिस्टर में मौजूद एंट्रीज से यह जाहिर होता है कि रंजीत सिन्हा कुछ आरोपियों से मिले थे।

-कोर्ट ने रिपोर्ट सार्वजनिक करने और आगे की कार्रवाई पर आदेश सुरक्षित रख लिया।

रजिस्टर की जांच जरूरी

-रोहतगी ने कोर्ट में केंद्र सरकार का भी पक्ष रखा।

-उन्होंने कहा, अगर इन मुलाकातों को सही मान भी लिया जाए तो इसका घोटाले की जांच पर गलत असर पड़ा, ये साबित नहीं होता।

-रजिस्टर असली है या नहीं, इसकी अभी तक पुष्टि नहीं हुई है क्योंकि इसको लेकर कोई जांच नहीं की गई है।

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मामले की हो एसआईटी जांच

वहीं याचिकाकर्ता के वकील प्रशांत भूषण ने कोर्ट से कहा, 'जब पहली प्रथम दृष्टया यह लग रहा है कि रंजीत सिन्हा ने जांच प्रभावित करने की कोशिश की है तो फौरन रंजीत सिन्हा के खिलाफ मुकदमा दर्ज होना चाहिए। डायरी सही है और जो मुलाकातें हुईं उससे सिन्हा के फैसले प्रभावित हुए। इसलिए इस मामले की विस्तार से एसआईटी जांच होनी चाहिए।'

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