Drugs in Odisha: ओडिशा सरकार के खिलाफ भाजपा और कांग्रेस एकजुट हमलावर

Drugs in Odisha: विधानसभा में भाजपा के विपक्षी मुख्य सचेतक मोहन मांझी ने राज्य सरकार पर दोहरा मापदंड अपनाने का आरोप लगाया है।

Written By :  Neel Mani Lal
Update: 2022-07-07 08:53 GMT

सीएम नवीन पटनायक (photo: social media ) 

Drugs in Odisha: ड्रग्स की समस्या को लेकर ओडिशा (Drugs in Odisha) की नवीन पटनायक (Naveen Patnaik)  सरकार के खिलाफ भाजपा (BJP) और कांग्रेस (Congress) एक साथ हमलावर हो गए हैं। भाजपा और कांग्रेस ने राज्य के लोगों में शराब और नशीली दवाओं (illegal drugs) की लत के लिए ओडिशा सरकार (Odisha government) को जिम्मेदार ठहराया है।

विपक्षी भाजपा और कांग्रेस ने राज्य में शराब और नशा करने वालों की संख्या में वृद्धि के लिए बीजद सरकार की नीतियों को जिम्मेदार ठहराया है। राज्य विधानसभा में एक बहस में भाग लेते हुए विपक्षी सदस्यों द्वारा यह आरोप लगाया गया था। दूसरी ओर विपक्ष के दावों को खारिज करते हुए, सत्तारूढ़ बीजद ने राज्य सरकार द्वारा नशीली दवाओं और शराब की लत के खतरे को रोकने के लिए उठाए गए कदमों के बारे में विस्तार से बताया।

विधानसभा में भाजपा के विपक्षी मुख्य सचेतक मोहन मांझी ने राज्य सरकार पर दोहरा मापदंड अपनाने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री (नवीन पटनायक) महात्मा गांधी की विचारधाराओं के कट्टर अनुयायी होने का दावा करते रहे हैं। फिर, उनकी सरकार राज्य में शराब की बिक्री को कैसे प्रोत्साहित करती है? राज्य कैसे प्रतिबंधित दवाओं से भरा हुआ है और भांग की खेती का केंद्र बन गया है। मांझी ने दावा किया कि नशीली दवाओं के उपयोग के मामले में ओडिशा देश में तीसरे स्थान पर है। उन्होंने कहा कि राज्य में, 10 से 75 वर्ष की आयु के 31 प्रतिशत लोग शराब या किसी अन्य नशे के आदी हैं, जबकि कुल आबादी का 10.4 प्रतिशत शराब के सेवन का आदी है। दूसरी ओर, राज्य में गांजा और ब्राउन शुगर की तस्करी बदस्तूर बढ़ रही है।आबकारी अधिकारियों और अपराधियों के बीच गठजोड़ का आरोप लगाते हुए मांझी ने कहा कि शराब और नशीले पदार्थों के सेवन ने युवाओं के भविष्य को अंधकार में धकेल दिया है। उन्होंने बताया कि 2021-22 में उत्पाद राजस्व के रूप में 7,600 करोड़ रुपये एकत्र किए गए थे, राज्य ने 2022-23 में शराब से 8,500 करोड़ रुपये उत्पन्न करने का लक्ष्य रखा है। उन्होंने दावा किया कि युवाओं के बीच शराब और अन्य मादक पदार्थों की लत को रोकने के उद्देश्य से राज्य सरकार के कार्यक्रम विफल हो गए हैं।

कांग्रेस ने सुर में सुर मिलाया

कांग्रेस विधायक तारा प्रसाद बहिनीपति ने आरोप लगाया है कि राज्य में गांजा का व्यापार बेरोकटोक चल रहा है और यह सत्ताधारी पार्टी के नेताओं के समर्थन के कारण संभव हुआ है।।कांग्रेस विधायक दल के नेता नरसिंह मिश्रा ने आरोप लगाया कि शराब और नशीले पदार्थों का इस्तेमाल बढ़ रहा है क्योंकि आबकारी विभाग भ्रष्टाचार में लिप्त है।

सरकार ने दी सफाई

राज्य सरकार का बचाव करते हुए आबकारी मंत्री अश्विनी पात्रा ने कहा कि माफियाओं पर नकेल कसने के लिए राज्य में चार आबकारी खुफिया एजेंसियां काम कर रही हैं। इसके अलावा, विभिन्न स्तरों पर टीमें हैं जो चौबीसों घंटे काम कर रही हैं। पात्रा ने कहा कि वर्ष 2021-22 में अवैध शराब के कारोबार में कुल 3,359 लोगों को गिरफ्तार किया गया जबकि इस दौरान 1.97 लाख किलोग्राम गांजा और 61,636 ग्राम ब्राउन शुगर जब्त की गई है। 11 मामलों में 21.09 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की गई है।

बड़ी समस्या

मादक पदार्थों के उपयोग पर 2019 की एक रिपोर्ट बताती है कि ओडिशा में शराब का उपयोग देश के औसत से अधिक है। 10-75 वर्ष के आयु वर्ग के 31.8 फीसदी पुरुष शराब का सेवन करते हैं। 2018 में ओडिशा शराब की समस्या के लिए मदद की ज़रूरत वाले लोगों की संख्या के मामले में शीर्ष दस राज्यों में था। इस वर्ष 21 लाख लोगों को मदद की ज़रूरत थी।

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